श्रीनगर : मध्य कश्मीर के बड़गाम जिले के चदूरा इलाके में एक मुठभेड के दौरान एक आतंकी मारा गया जबकि मुठभेड़ स्थल के निकट पथराव कर रहे प्रदर्शनकारियों के खिलाफ सुरक्षा बलों की कार्रवाई में तीन नागरिकों की मौत हो गयी. सेना के एक अधिकारी ने बताया, ‘एक आतंकी मारा गया और मुठभेड़ स्थल के पास से एक हथियार बरामद किया गया है.' सीआरपीएफ के डीआईजी संजय कुमार ने कहा कि ग्रामीणों की ओर से की जा रही पत्थरबाजी में सीआरपीएफ के 43 जवान घायल हो गये हैं. जबकि पुलिस के 20 जवान भी घायल हुए हैं. उन्होंने कहा कि कुछ लोग हमारे ऑपरेशन में रुकावट डालने का प्रयास कर रहे थे, वे पत्थर फेंक रहे थे. उन्होंने कहा कि हमें दानों तरु निपटना पड़ रहा था. एक तरफ आतंकवादी और दूसरी तरफ स्थानीय लोग. पुलिस के एक अधिकारी ने बताया कि मुठभेड़ खत्म हो गयी है. उन्होंने साथ ही बताया कि इस दौरान अर्धसैनिक बल का एक जवान घायल हो गया. मुठभेड़ स्थल पर छिपे हुए आतंकी को भगाने की कथित कोशिश के क्रम में पथराव कर रहे प्रदर्शनकारियों के खिलाफ सुरक्षा बलों की कार्रवाई में तीन नागरिकों की मौत हो गयी और 18 अन्य लोग घायल हो गये. मारे गये नागरिकों में सभी युवा हैं और सबकी उम्र 20 वर्ष के आसपास है. पुलिस के एक अधिकारी ने बताया कि सुरक्षा बलों ने आतंकवादियों की मौजूदगी की सूचना मिलने के बाद चदूरा क्षेत्र के दरबाग इलाके को तड़के घेर लिया और तलाशी अभियान शुरू किया. अधिकारी ने बताया कि तलाशी अभियान के दौरान आतंकवादियों ने सुरक्षा बलों पर गोलीबारी की, जिसके बाद मुठभेड शुरू हो गयी. इस पूरे घटनाक्रम में मारे गये युवकों की पहचान जाहिद डार, सादिक अहमद और इशफाक अहमद वानी के रूप में हुई है.
कांग्रेस और माकपा ने इस दौरान आम लोगों की मौत की निन्दा की और सुरक्षाबलों से प्रदर्शनकारियों से निपटते समय संयम बरतने का आग्रह किया. जम्मू-कश्मीर प्रदेश कांग्रेस कमेटी (जेकेपीसीसी) के प्रवक्ता फारुक अंद्राबी ने एक बयान में कहा, ‘हम इस दुर्भाग्यपूर्ण घटना की निंदा करते हैं और बलों से आग्रह करते हैं कि वे प्रदर्शनकारियों से निपटते समय संयम बरते.' अंद्राबी ने कहा कि आम लोगों की मौत से ‘निश्चित तौर पर घाटी का माहौल खराब होगा. सुरक्षा बलों को केवल गोलियों पर निर्भर नहीं रहना चाहिए बल्कि प्रदर्शनकारियों को तितर-बितर करने के लिए अन्य सामान्य तरीके अपनाने चाहिए.' उन्होंने लोगों से शांत और मुठभेड़ स्थलों से दूर रहने की सलाह दी. लोगों की मौत पर आश्चर्य और दुख व्यक्त करते हुए माकपा नेता और कुलगाम के विधायक मोहम्मद युसूफ तारिगामी ने कहा कि सुरक्षा बल अगर ‘अधिकतम संयम का परिचय दें' तो इस प्रकार की घटनाओं से बचा जा सकता है. उन्होंने कहा कि ‘कानून प्रवर्तन एजेंसियां पूर्व के अनुभवों से सबक नहीं ले रही हैं.'
कोई टिप्पणी नहीं:
एक टिप्पणी भेजें