मधुबनी के सूड़ी स्कूल के प्रांगण में वृहस्पतिवार 25 मई 2017 को इप्टा की 74वीं वर्षगांठ मनाई गई। विश्व की सबसे बड़ी सांस्कृतिक संस्था इप्टा(इंडियन पीपुल थिएटर एसोसिएशन) की मधुबनी इकाई के अध्यक्ष अरविंद प्रसाद ने कहा कि अगले एक साल तक जनसंवाद, गीत और नुक्कड़ नाटक का लगातार प्रदर्शन किया जाएगा। आज़ादी से पहले से ही इप्टा ने आज़ादी में लागों को एकजुट करने का काम किया और अभी भी कर रही है। गरीबी, समाजवाद, और प्रगति की सोच को लेके इप्टा चला है और आगे भी करता रहेगा। इप्टा के प्रदेश सचिव इन्द्र भूषण रमण बमबम ने किया। उन्होंने कहा कि हम 25 मई 1943 से जनता की आवाज़ हैं, जो जनता की बात जनता तक जनता पहुचाती रही है। उन्होंने कहा कि इप्टा का नामांकन डॉ०होमी जहांगीर भाभा ने किया था। "सारे जहां से अच्छा" गीत की धुन जो आज भारतीय सेना भी गाती है उसे इप्टा के सेंटल सांस्कृतिक जत्था के लिए पंडित रविशंकर ने तैयार किया था। सुभाष चंद्र बोस, सरोजनी नायडू, प्रोफेसर हिरेन मुखर्जी, अहमद अब्बास, बलराज साहनी, पृथ्वीराज कपूर, संजीव कुमार, नर्गिस, नंदिता दास, सबाना आज़मी, हसरत जयपुरी आदि इप्टा से जुड़ी हुई प्रमुख हस्ती में से हैं। इस अवसर पर एक नुक्कड़ नाटक "मन में है विश्वास" का मंचन रमेश, श्रीप्रसाद, धीरज, अभिषेक, रंजीत, रौशन, दीपक ठाकुर, हरिनारायण, मिन्नी कुमारी, जूही कुमारी, रजनी, अंजलि, सपना, सरिता, जमुना, संतोष कुमार, कौशल और अन्य लोगों ने मिल कर किया। मंच का संचालन श्री प्रसाद दास ने किया।
शुक्रवार, 26 मई 2017
मधुबनी : इप्टा की 74वीं वर्षगांठ मनाई गई
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