न्यूयॉर्क, 15 जुलाई, अमेरिका के एक वरिष्ठ रक्षा अधिकारी ने कहा है कि भारत और अमेरिका के बीच रक्षा संबंध का मार्ग बेहद सकारात्मक है लेकिन रक्षा व्यापार के मुद्दे पर दोनों देशों के नौकरशाहों के बीच अच्छा समन्वय नहीं है। दक्षिण और दक्षिण पूर्व एशिया के लिए उप सहायक रक्षा मंत्री कारा एबरक्रोम्बी ने कहा कि भारत और अमेरिका को यह सुनिश्चित करने के लिए एक साथ काम करने की जरूरत है कि कही अधिग्रहण नीतियां भारत के हितों को देखते हुए अमेरिकी कंपनियों को गलत तरह से अयोग्य न ठहरा दें। एबरक्रोम्बी ने कहा कि भारत अमेरिका रक्षा संबंध का मार्ग बेहद सकारात्मक है और दोनों देशों की रक्षा और सुरक्षा के क्षेत्र में जो क्षमता है उन्होंने अभी उसकी बस शुरूआत ही की है और बहुत काम किया जाना बाकी है। उन्होंने कहा, ‘‘ जैसा कि लगता है कि इसमें अनेक बाधाएं होंगी, लेकिन हमें अपनी पीठ थपथपानी होगी कि हमने वास्तव में कितना अच्छा काम किया है।’’ उन्होंने फिक्की-आईफा ग्लोबल बिजनेस फोरम में कल कहा, ‘‘ हमने विशाल प्रगति की है, हमने इस संबंध :रक्षा और सुरक्षा: की जो क्षमता है अभी केवल उसकी शुरूआत भर की है। भारत और अमेरिका के बीच सामरिक साझेदारी का काफी व्यापक आधार है और यह हमारे साझा मूल्यों पर आधारित है। एबरक्रोम्बी ने कहा कि भारत स्वाभाविक रूप से यह सोचता है कि एक खरीददार के तौर पर उसको नियम निर्धारित करने का हक है लेकिन यह सोच अमेरिकी निर्यात नियम से ‘‘मूलरूप’’ से अलग है। इस लिए हम इस पर सावधानी से काम कर रहे हैं।
शनिवार, 15 जुलाई 2017
‘रक्षा व्यापार को लेकर भारत, अमेरिका की नौकशाही के बीच अच्छा समन्वय नहीं ’
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