पटना, 13 सितंबर, पटना उच्च न्यायालय ने भागलपुर जिले में करोड़ों रुपये की सरकारी राशि के गबन से जुड़े सृजन घोटाले को लेकर दायर एक जनहित याचिका को आज खारिज कर दिया। मुख्य न्यायाधीश राजेंद्र मेनन और न्यायमूर्ति ए. के. उपाध्याय की खंडपीठ ने संक्षिप्त सुनवायी के बाद आज उक्त जनहित याचिका को खारिज कर दिया। दिवाकर यादव नामक एक व्यक्ति की ओर से दायर इस जनहित याचिका में उक्त घोटाले की सीबीआई जांच की मांग गयी थी। सुनवायी के दौरान महाधिवक्ता ललित किशोर ने अदालत को बताया कि राज्य सरकार पहले ही इस मामले की जांच सीबीआई को सौंप दी है और जांच प्रगति पर है। इस दलील पर खंडपीठ ने याचिका की संक्षिप्त सुनवायी के बाद उसे खारिज कर दिया। भागलपुर जिला में सरकारी खातों से जालसाजी एवं षडयंत्रपूर्ण तरीके से करीब 900 करोड़ रुपये की राशि का अवैध हस्तांतरण सृजन महिला सहयोग समिति नामक संस्था को किए जाने का मामला नौ अगस्त को सामने आने के बाद राज्य सरकार ने इसकी सीबीआई जांच की अनुशंसा की थी। राजद अध्यक्ष लालू प्रसाद ने आरोप लगाया है कि मुख्यमंत्री नीतीश कुमार और उपमुख्यमंत्री सुशील कुमार मोदी को इस घोटाले की पहले से जानकारी थी। आरोप लगाते हुए उन्होंने दोनों से इस्तीफा देने तथा इसकी जांच उच्चतम न्यायालय की निगरानी में कराने की मांग की है।
बुधवार, 13 सितंबर 2017
सृजन घोटाले को लेकर दायर जनहित याचिका को पटना उच्च न्यायालय ने खारिज किया
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