नयी दिल्ली, 25 नवंबर, प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने समाज में कुपोषण के बारे में जागरुकता फैलाने पर जोर देते हुए कहा है कि इससे निपटने के लिए केंद्र और राज्य सरकारों की सभी योजनाओं तथा कार्यक्रमों में समन्वय किया जाना चाहिए। आधिकारिक विज्ञप्ति के अनुसार कुपोषण से निपटने के लिए उठाए गए विभिन्न कदमों की समीक्षा के लिए कल देर शाम बुलाई गयी उच्च स्तरीय बैठक में प्रधानमंत्री ने कहा कि पोषण के संबंध में समाज में व्यापक स्तर पर जागरुकता फैलाई जानी चाहिए और इसके लिए अनौपचारिक तरीके अपनाए जाने चाहिए। बैठक में प्रधानमंत्री कार्यालय, नीति आयोग और संबद्ध मंत्रालयों के अधिकारियों ने हिस्सा लिया। बैठक में देश में कुपोषण की मौजूदा स्थिति और इससे निपटने में आ रही विभिन्न समस्याओं पर चर्चा की गयी। इस समस्या के समाधान के लिए विकासशील देशों में चल रहे विभिन्न कार्यक्रमों पर भी विचार विमर्श किया गया। श्री मोदी ने कुपोषण, अल्पपोषण, कम वजन जन्म और रक्ताल्पता से निपटने के लिए एकजुट होेने पर भी बल दिया। उन्होेंने कहा कि वर्ष 2022 में आजादी की 75 वीं वर्षगांठ पर इन समस्याओं से निपटने के उपायों का असर जमीन पर दिखना चाहिए।
शनिवार, 25 नवंबर 2017
कुपोषण पर जागरुकता जरूरी: मोदी
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