नयी दिल्ली 10 मई, केंद्र सरकार प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के महत्वकांक्षी अभियान ‘वर्ष 2022 तक सबसे के लिए आवास’ का लक्ष्य प्राप्त करने के लिए ‘राष्ट्रीय शहरी किराया मकान नीति’ बना रही है जिसकी घोषणा जल्दी की जाएगी। केंद्रीय आवास एवं शहरी गरीबी उन्मूलन मंत्रालय के सूत्रों ने यहां इसकी जानकारी देते हुए बताया कि शहरों में बड़ी संख्या में लोग किराए के मकान में रहते हैं। यह क्षेत्र असंगठित क्षेत्र है जिसमें कोई निर्धारित कायदा कानून नहीं है। इसके कारण मकान मालिक अौर किराएदार में अक्सर विवाद होता है। सरकार का मानना है कि किराए के मकानों की उपलब्धता से ‘सबको अावास’ के लक्ष्य में मदद मिल सकती है। सूत्रों के अनुसार राष्ट्रीय शहरी किराया मकान नीति पर कई स्तरों पर विचार विमर्श किया जा रहा है। राज्यों और नगर प्रशासन निकायों से भी सलाह ली जा रही है। सरकार संबंधित नीति को जल्दी से जल्दी से घोषित करना चाहती है जिससे मकानों की उपलब्धता बढ़ाई जा सके। इससे पहने केंद्रीय आवास एवं शहरी गरीबी उन्मूलन मंत्री एम. वेंकैया नायडू ने कहा था कि शहरीकरण की निरंतर प्रक्रिया होने और प्रवासन के मामले में आवास आवश्यकताओं को पूरा करने के लिए किराये के मकानों को भी प्रोत्साहित करने की जरूरत है। उन्होंने कहा था शीघ्र ही राष्ट्रीय शहरी किराया मकान नीति की घोषणा की जाएगी ताकि प्रवासी श्रमिकों, विद्यार्थियों और अकेली कामकाजी महिला की आवश्यकताएं पूरी हो सके।
गुरुवार, 11 मई 2017
जल्द घोषित होगी राष्ट्रीय शहरी किराया मकान नीति
Tags
# देश
Share This
About आर्यावर्त डेस्क
देश
Labels:
देश
सदस्यता लें
टिप्पणियाँ भेजें (Atom)
Author Details
सम्पादकीय डेस्क --- खबर के लिये ईमेल -- editor@liveaaryaavart.com
कोई टिप्पणी नहीं:
एक टिप्पणी भेजें