दुमका-राॅची (अमरेन्द्र सुमन) मुख्यमंत्री रघुवर दास ने ठाकुर विश्वनाथ शाहदेव की जयंती पर एचईसी गोलंबर (राॅची) स्थित उनकी प्रतिमा पर माल्यार्पण कर श्रद्धा सुमन अर्पित किया। मुख्यमंत्री श्री दास ने कहा कि 1857 की क्रांति में अंग्रेजों के विरुद्ध संघर्ष में ठाकुर विश्वनाथ शाहदेव ने अद्वितीय राष्ट्रभक्ति का परिचय दिया था। वर्ष 1858 में जब ठाकुर विश्वनाथ शाहदेव चतरा तालाब के निकट युद्ध कर रहे थे, तभी धोखे से उन्हें घेर कर पकड़ लिया गया। 16 अप्रैल 1858 को ठाकुर विश्वनाथ शाहदेव को रांची जिला स्कूल गेट के निकट एक कदंब पेड़ पर फांसी दे दिया गया। मुख्यमंत्री श्री दास ने कहा कि उनकी शहादत को हम व्यर्थ नही जाने देंगे। झारखण्ड की गरीबी दूर कर और विकास की राह में खड़े अंतिम व्यक्ति के चेहरे पर मुस्कुराहट लाकर ही झारखण्ड के स्वतंत्रता सेनानियों के प्रति अपनी सच्ची श्रद्धांजलि दे सकते हैं।
शनिवार, 12 अगस्त 2017
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अंतिम व्यक्ति के चेहरे पर मुस्कुराहट लाकर ही स्वतंत्रता सेनानियों को दी जा सकती है सच्ची श्रद्धांजलि-रघुवर दास
अंतिम व्यक्ति के चेहरे पर मुस्कुराहट लाकर ही स्वतंत्रता सेनानियों को दी जा सकती है सच्ची श्रद्धांजलि-रघुवर दास
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