पटना 23 जनवरी, बिहार में विभिन्न राष्ट्रीयकृत बैंकों के कर्मचारियों ने संसद में पेश वित्तीय समाधान एवं जमा बीमा (एफआरडीआई) विधेयक 2017 को बैंकों में आम आदमी की जमाराशि को असुरक्षित करने वाला ही नहीं बल्कि देश की अर्थव्यवस्था के लिए भी हानिकारक बताते हुए कल इसके विरोध में धरना देने का निर्णय लिया है। बैंक इम्प्लॉयज फेडरेशन की बिहार ईकाई के महासचिव जय प्रकाश दीक्षित ने आज यहां संवाददाता सम्मेलन में कहा कि फेडरेशन से जुड़े सभी राष्ट्रीयकृत बैंकों के कर्मचारी एफआरडीआई विधेयक 2017 को वापस लेने की मांग को लेकर कल यहां डाकबंगला चौराहे के निकट धरना देंगे । उन्होंने कहा कि यह विधेयक सिर्फ बैंकों में आम आदमी की जमाराशि को ही असुरक्षित नहीं करता है बल्कि देश की अर्थव्यवस्था के लिए भी हानिकारक है । इसलिए इस विधेयक को तुरंत वापस लिया जाना चाहिए। श्री दीक्षित ने कहा कि इस विधेयक में एक ‘रेज़ोल्यूशन कॉरपोरेशन’ के गठन का प्रस्ताव है जिसके बोर्ड में सिर्फ सरकार के प्रतिनिधि ही सदस्य होंगे। इसे भारतीय स्टेड बैंक (एसबीआई) समेत अन्य किसी भी राष्ट्रीयकृत बैंक, क्षेत्रीय ग्रामीण बैंक, सहकारिता बैंक, बीमा कम्पनी और गैर बैंकिंग वित्तीय संगठन को एकीकरण, विलय, परिसमापन और अधिग्रहण के संबंध में आदेश देने का अधिकार होगा । उन्होंने कहा कि कॉरपोरेशन को ऐसे संस्थानों को किसी अन्य संस्थान सरकारी या निजी को सौंपने का भी अधिकार होगा । बैंक इम्प्लॉयज फेडरेशन की बिहार ईकाई के महासचिव ने कहा कि कॉरपोरेशन को किसी भी कर्मचारी की सेवा समाप्त करने, वेतन कम करने या तबादला करने का भी अधिकार होगा । उन्होंने कहा कि एफआरडीआई विधेयक के प्रस्ताव में सबसे खतरनाक बात बैंकों में राशि जमा करने वालों के लिए है। इसमें कॉरपोरेशन को अधिकार दिया गया है कि वह बैंकों में आम आदमी की जमा राशि का उपयोग उन आद्योगिक घरानों के ..बेल इन और बेल आउट.. पैकेज के लिए कर सकती है जिन्होंने राष्ट्रीयकृत बैंकों से ऋण के रूप में ली गयी लगभग 11 लाख करोड़ रूपये की राशि गटक ली है । इतना ही नहीं बैंकों में जमा आम आदमी के रुपये को शेयर बाजार में भी लगा सकती है।
मंगलवार, 23 जनवरी 2018
बिहार में बैंक कर्मचारी कल एफआरडीआई विधेयक 2017 का विरोध करेंगे
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