कोलकाता स्थित एक गैर सरकारी संगठन ने नॉर्वे से दो बच्चों को वापस लाने के प्रयास में सहयोग के लिए विदेश मंत्री एसएम कृष्णा से इजाजत मांगी है।
गैर सरकारी संगठन इंडियाज स्माइल का कहना है कि वह दोनों बच्चों अभिज्ञान (3) और ऐश्वर्या (1) की 18 साल की उम्र तक परवरिश करने का पूरा खर्च वहन करने के लिए तैयार हैं। इस संगठन के सचिव राजीव सरकार ने बताया कि उनके संगठन ने ही सबसे पहले दोनों बच्चों की पीड़ा के बारे में प्रवासी भारतीय मंत्रालय को सूचित किया था।
उन्होंने दावा किया कि इसके बाद विदेश मंत्रालय के अवर सचिव एमके पांडे ने उन्हें संपर्क किया था और सूचित किया कि सरकार संयुक्त राष्ट बाल अधिकार संधि के अनुसार कदम उठाएगी। बीते साल मई में दोनों बच्चों को नॉर्वे की बाल कल्याण सेवा ने देखभाल में कोताही का हवाला देते हुए अपने नियंत्रण में ले लिया था।
सरकार ने कहा कि उनके संगठन को बच्चों के दादा मोनोतोश चक्रवर्ती के एक रिश्तेदार से पता चला कि बच्चों की मां सागरिका अपने पति के साथ मतभेद के कारण एक या दो दिनों में देश लौट आएंगी। इस बारे में जब चक्रवर्ती से बात करने का प्रयास किया गया तो उनका मोबाइल फोन बंद मिला। सरकार ने कृष्णा को लिखे एक पत्र में कहा कि बच्चों की देखभाल को लेकर वह भारत सरकार की सभी शर्तों को स्वीकार करने के लिए तैयार हैं।
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