नयी दिल्ली 29 फरवरी, वर्ष 2016-17 के लिए कुल 3.41 लाख करोड़ रूपये के रक्षा बजट की घोषणा की गयी है जिसमें 82 हजार करोड़ रूपये की भारी भरकम राशि पूर्व सैनिकों की एक रैंक एक पेंशन (ओआरओपी) के लिए रखी गयी है। वित्त मंत्री अरूण जेटली ने आज लोकसभा में पढे गये अपने भाषण में रक्षा क्षेत्र के लिए बजटीय प्रावधान की घोषणा नहीं की। पिछले कई वर्षों में यह पहला मौका है जब बजट भाषण में रक्षा क्षेत्र का उल्लेख नहीं किया गया। बाद में जारी आधिकारिक आंकडों में कहा गया है कि यदि ओआरओपी के पैसे को अलग रखा जाये तो रक्षा क्षेत्र के लिए 2.57 लाख करोड़ रूपये का प्रावधान किया गया है। पिछले बजट में यह राशि 2.46 लाख करोड़ थी।
रक्षा क्षेत्र का कुल बजट 3,40,921.98 करोड रूपये रखा गया है जिसमें से 82 हजार 232 करोड़ रूपये ओआरओपी के लिए रखे गये हैं। रक्षा क्षेत्र के लिए आवंटित राशि कुल सकल घरेलु उत्पाद का 2.18 प्रतिशत के बराबर है। रक्षा मंत्रालय से सबंद्ध संसद की स्थायी समिति की रक्षा बजट को कुल सकल घरेलू उत्पाद (जीडीपी)के ढाई से तीन प्रतिशत करने की निरंतर सिफारिशों के बावजूद इस बार भी यह जीडीपी के 2.18 फीसदी के बराबर है।
रक्षा क्षेत्र के लिए वर्ष 2011-12 में 1,64,415 करोड़ , 12-13 में 1,78,503 करोड़, 13-14 में 2,03672 करोड़ और 2014-15 में 2,29000 करोड रूपये का प्रावधान किया गया था। रक्षा मंत्रालय ने मौजूदा वित्त वर्ष के लिए आवंटित राशि में से 11 हजार करोड रूपये की राशि लौटा दी है जो रक्षा मंत्री के लिए राहत की बात है।
सशस्त्र सेनाओं के आधुनिकीकरण के लिए इस बार 89,819 करोड रूपये की राशि रखी गयी है। यह अलग बात है कि सेनाएं इस मद की राशि को पूरी तरह खर्च नहीं करती हैं।
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