वेटिकन सिटी, 26 अक्टूबर, अमेजन पर तीन हफ्तों की वेटिकन सभा में हिस्सा लेते हुए कैथोलिक ननों ने पोप फ्रांसिस से उन्हें अंतिम दस्तावेज पर मतदान करने की इजाजत देने का शनिवार को अनुरोध किया। फ्रांसिस से इसकी इजाजत मिलना एक ऐतिहासिक घटनाक्रम होगा। हालांकि, वेटिकन ने सार्वजनिक रूप से इस अनुरोध का जवाब नहीं दिया है लेकिन एक विशेषज्ञ ने कहा कि जब सभा या चर्च परिषद की बैठक चल रही होती है तब मतदान नियमों में बदलाव करना असमान्य होगा। सिर्फ ‘साइनोड फादर्स या परिषद के फादर’--बिशप कार्डिनल और विशेष रूप से नियुक्त पुरूष प्रतिनिधियों--को ही अंतिम दस्तावेज पर मतदान करने की इजाजत होगी। फ्रांसिस आगामी महीनों में जब अपना खुद का दस्तावेज तैयार करेंगे, तब वह इन सिफारिशों पर विचार करेंगे। मताधिकार रखने वाले करीब 184 बिशप या कार्डिनल -- अखिल अमेजन क्षेत्र से आने वाले करीब दो तिहाई -- इसमें भाग ले रहे हैं। इस क्षेत्र में नौ लातिन अमेरिकी देश आते हैं। शनिवार को दस्तावेज के प्रत्येक पैराग्राफ पर मतदान होगा। यह बैठक रविवार को संपन्न होगी। इसमें मताधिकार नहीं रखने वाले पर्यवेक्षक, ऑडिटर और विशेषज्ञ भी शामिल होंगे। इनमें 35 महिलाएं शामिल हैं। इक्वाडोर की नन इनेस अजुसेना जामब्रानो जारा ने शुक्रवार को कहा कि पोप को एक पत्र भेजा गया है। उन्होंने संवाददाताओं से कहा कि महिलाएं परिषद में सक्रिय रूप से भाग ले रही हैं, जिनमें कुछ खुद को साइनोड मदर्स कहती हैं। इस बीच वेबसाइट ‘रिलिजन डिजिटल’ ने कहा है कि 35 महिलाओं ने मताधिकार की मांग करने वाली एक पिटिशन पर हस्ताक्षर किए हैं।
शनिवार, 26 अक्तूबर 2019
महिलाओं ने पोप फ्रांसिस से चर्च परिषद में मताधिकार देने का अनुरोध किया
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