युवराज जल्दबाजी में वापसी से बच रहे हैं. - Live Aaryaavart (लाईव आर्यावर्त)

Breaking

प्रबिसि नगर कीजै सब काजा । हृदय राखि कौशलपुर राजा।। -- मंगल भवन अमंगल हारी। द्रवहु सुदसरथ अजिर बिहारी ।। -- सब नर करहिं परस्पर प्रीति । चलहिं स्वधर्म निरत श्रुतिनीति ।। -- तेहि अवसर सुनि शिव धनु भंगा । आयउ भृगुकुल कमल पतंगा।। -- राजिव नयन धरैधनु सायक । भगत विपत्ति भंजनु सुखदायक।। -- अनुचित बहुत कहेउं अग्याता । छमहु क्षमा मंदिर दोउ भ्राता।। -- हरि अनन्त हरि कथा अनन्ता। कहहि सुनहि बहुविधि सब संता। -- साधक नाम जपहिं लय लाएं। होहिं सिद्ध अनिमादिक पाएं।। -- अतिथि पूज्य प्रियतम पुरारि के । कामद धन दारिद्र दवारिके।।

बुधवार, 20 जून 2012

युवराज जल्दबाजी में वापसी से बच रहे हैं.


कैंसर से उबर रहे भारतीय क्रिकेटर युवराज सिंह को उम्मीद है कि वह सितंबर में होने वाली विश्व ट्वंटी-20 चैंपियनशिप से मैदान पर वापसी करने में सफल रहेंगे हालांकि वह इसे खुद के लिए बड़ी चुनौती मानते हैं।

युवराज ने आईसीसी क्रिकेट 360 कार्यक्रम में कहा कि भारत के लिए खेलना मेरे लिए बहुत बड़ी चुनौती है क्योंकि मेरा शरीर कई झटकों से उबर रहा है जिन्हें केवल मैं ही समझ सकता हूं। केवल कैंसर का मरीज ही समझ सकता है कि वह किस दशा से गुजरा है। इसलिए वापसी करना और फिर से भारत के लिए खेलना मेरे लिए बड़ी चुनौती होगी।

बाएं हाथ के इस बल्लेबाज ने सीधे तौर पर यह नहीं कहा कि वह कब तक क्रिकेट मैदान पर वापसी करेंगे। उन्होंने साफ किया कि वह जल्दबाजी में वापसी करने से बच रहे हैं। उन्होंने कहा कि मैंने वास्तव में इसके लिए समयसीमा तय नहीं की है लेकिन मुझे यह देखना होगा कि मेरा शरीर कैसा है और मैं मैदान पर कितना जल्दी आ सकता हूं। वास्तव में मुझे जल्दबाजी नहीं है और मैं 75 प्रतिशत की फिटनेस पर वापसी नहीं करना चाहता।

युवराज ने कहा कि इसमें छह महीने या फिर दो महीने का समय लग सकता है। इसलिए मैं नहीं जानता, लेकिन जिस दिन मैं खुद को शत प्रतिशत फिट पाऊंगा मैं जरूर वापसी करूंगा। युवराज को आईसीसी विश्व ट्वंटी-20 चैंपियनशिप 2007 में स्टुअर्ट ब्रॉड के एक ओवर में छह छक्के जड़ने के लिए भी जाना जाता है। उन्होंने संकेत दिए कि वह अगले टी-20 विश्व कप के लिए उपलब्ध रह सकते हैं। युवराज ने इसके साथ ही कैंसर के खिलाफ भावनात्मक जंग के बारे में भी बात की।  उन्होंने कहा कि मुझ जैसे व्यक्ति, जो कि छह से सात घंटे अभ्यास करता है और एथलीट की तरह हमेशा दौड़ता रहता है, के लिए शुरू में यह स्वीकार करना मुश्किल था कि मैं इस तरह की बीमारी से ग्रस्त हो सकता हूं। मुझे इसे स्वीकार करने में लंबा समय लगा लेकिन बाद में मैंने इसे स्वीकार किया। मैं जानता था कि मुझे परेशानी है और मुझे इसका निबटारा करना है।

युवराज ने कहा कि उपचार के दौरान उन्हें भारतीय समर्थकों से अपार समर्थन मिला तथा इससे उनके स्वास्थ्य लाभ में मदद मिली। उन्होंने कहा कि मुझे विशेषकर भारत से अपार समर्थन मिला। इंडियानापोलिस में कॉलेज का एक छात्र मुझे देखने के लिए आया और मुझे लगा कि मानो मैं भारत में हूं। मैं इस समर्थन के लिए प्रत्येक का शुक्रिया अदा करना चाहता हूं। मैं कीमोथेरेपी से गुजरा हूं जो कि किसी के लिए भी मुश्किल होता है लेकिन दुआओं और प्यार के कारण मैं इससे वापसी कर पाया। 

युवराज अब हल्का अभ्यास करने लगे हैं। उनका स्वास्थ्य लाभ अच्छा चल रहा है और वह स्वस्थ जीवनशैली का लुत्फ उठा रहे हैं। उन्होंने कहा कि मैं अच्छा महसूस कर रहा हूं। मेरी कीमोथेरेपी समाप्त हुए दो महीने हो गए हैं। पहले मेरी ऊर्जा का स्तर कम था लेकिन अब मैं खूब भोजन कर रहा हूं और लगातार पहले से स्वस्थ हो रहा हूं। मैंने योग और हल्के अभ्यास के छह या सात सत्र किए हैं।

कोई टिप्पणी नहीं: