प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह गुरुवार को असम में राज्यसभा की दो सीटों के लिए हुए चुनाव में लगातार पांचवीं बार निर्वाचित हुए। यह जानकारी अधिकारियों ने दी। संसद के उच्च सदन के लिए हुए इस चुनाव में कांग्रेस के एक अन्य उम्मीदवार सांतिउसे कुजूर पहली बार निर्वाचित हुए हैं। असम में दो राज्यसभा सीटों के लिए तीन उम्मीदवार चुनाव मैदान में थे। मनमोहन सिंह और कुजूर के अलावा ऑल इंडिया यूनाइटेड डेमोक्रेटिक फ्रंट (एआईयूडीएफ) के अमीनुल इस्लाम तीसरे प्रत्याशी थे।
कुजूर ने कहा, "अपने सहयोगियों का समर्थन पाकर मैं बेहद खुश हूं। मैं अपनी जीत पर कांग्रेस के सभी सदस्यों को धन्यवाद देता हूं।" कुजूर ने कहा कि कुल 112 मत डाले गए जिसमें 49 विधायकों ने मनमोहन सिंह के पक्ष में जबकि 45 ने उनके पक्ष में मतदान किया। उन्होंने बताया कि इस्लाम को केवल 18 मत मिले।
भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) और असम गण परिषद (अगप) जिनके क्रमश: पांच और नौ विधायक हैं, ने मतदान में हिस्सा नहीं लिया। अगप और भाजपा के मतदान से अलग रहने का फैसला लेने के बाद कांग्रेस को अपने दोनों प्रत्याशियों को राज्यसभा में भेजने के लिए हर एक को 38 मतों की जरूरत रह गई थी। मनमोहन सिंह और राज्यसभा में अगप के सदस्य कुमार दीपक दास का मौजूदा कार्यकाल 14 जून को समाप्त हो रहा है।
मनमोहन सिंह ने 15 मई को अपना नामांकन पत्र दाखिल कराया था। प्रधानमंत्री 1991 से लगातार असम से राज्यसभा के सदस्य चुने जाते रहे हैं। 1991 में देश के वित्तमंत्री बनने के बाद असम के पूर्व मुख्यमंत्री हितेश्वर सैकिया ने राज्य से राज्यसभा की सीट देने की पेशकश की थी। सैकिया ने गुवाहाटी के सारुमोटोरिया इलाके में स्थित अपने मकान में प्रधानमंत्री को किराएदार भी बनाया।
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