निवेशकों के 20 हजार करोड़ रुपये नहीं लौटाने के मामले में गिरफ्तार कर सुप्रीम कोर्ट में पेश किए गए सहारा ग्रुप के मुखिया सुब्रत रॉय ने बिना शर्त माफी मांग ली है। कोर्ट ने उनकी माफी को स्वीकार कर लिया। सुब्रत रॉय के वकील राम जेठमलानी ने सुप्रीम कोर्ट को बताया कि सहारा निवेशकों का बकाया 2 महीने में चुका देगी। अभी इस मामले में सुनवाई चल रही है।
इससे पहले जब उन्हें लखनऊ से गिरफ्तार कर सुप्रीम कोर्ट परिसर लाया गया तो एक शख्स ने उनके चेहरे पर काली स्याही फेंक दी। रिपोर्ट के मुताबिक, स्याही फेंकने वाले का नाम मनोज शर्मा है और वह पेशे से वकील हैं। मनोज शर्मा ने कहा कि मैं ग्वालियर का रहने वाला हूं और सुब्रत रॉय पर स्याही इसलिए फेंकी क्योंकि वह चोर हैं। बताया जा रहा है कि कोर्ट में सुब्रत रॉय के साथ मौजूद लोगों ने मनोज शर्मा की पिटाई भी की। सहारा प्रमुख को थोड़ी देर में सुप्रीम कोर्ट में पेश किया जाएगा।
मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक, सुब्रत रॉय पर स्याही फेंकने वाले मनोज शर्मा सन् 2011 में सुरेश कलमाड़ी पर चप्पल फेंकने की कोशिश की थी। इसके अलावा उसने 2007 में एक एसडीएम पर जानलेवा हमला भी किया था। इस मामले में उसे तीन साल की सजा भी हुई थी।
सहारा प्रमुख को सड़क के रास्ते लखनऊ से वीवीआईपी की तरह पूरी शान से दिल्ली लाया गया। उन्होंने पुलिस वैन में बैठने से इनकार कर दिया था, लिहाजा वह अपनी गाड़ी से दिल्ली पहुंचे। उनके साथ में कई गाड़ियों का काफिला था। काफिले में पुलिस वाहन के अलावा कई लग्जरी गाड़ियां चल रही थीं। इन गाड़ियों में रॉय के परिवार के लोगों और दोस्तों के साथ-साथ दो डॉक्टर भी साथ चल रहे थे।
गौरतलब है कि सुप्रीम कोर्ट ने समन भेजकर सुब्रत रॉय को पेश होने का आदेश दिया था लेकिन पिछली सुनवाई में वह मां की बीमारी का वजह बताकर अदालत में पेश नहीं हुए। इस पर अदालत ने उनके खिलाफ गैरजमानती वॉरंट जारी किया। गैरजमानती वॉरंट जारी होने के बाद दो दिनों तक यूपी पुलिस उन्हें ढूंढती रही। शुक्रवार सुबह अचानक खबर आई कि सहारा प्रमुख ने सरेंडर कर दिया है।
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