- एक हाथ में मोबाइल और दूसरे हाथ में लोटा
बरहपुर। मोकामा में है बरहपुर ग्राम पंचायत। इस पंचायत के वार्ड नम्बर-6 में है नयका बिंदटोली। यहीं पर रहती हैं सुशीला देवी। इनके पास मोबाइल है परन्तु शौचालय नहीं। वह सुबह उठती हैं तो खुले आकाश के नीचे खेत में शौचक्रिया करने चली जाती हैं। उसके एक हाथ में मोबाइल और दूसरे हाथ में लोटा रहता है। आजकल ‘ग्लोबल इंटरफेथ वाॅश अलायंस (जिसे ‘जीवा’ नाम से भी जाना जाता है ) जीवा के द्वारा मोकामा प्रखंड के पंचायतों में स्वच्छता पर वाॅश आॅन व्हील्स अभियान संचालित है। जीवा से जुड़े कार्यकर्ता वार्ड नम्बर-6 में भ्रमण कर रहे थे। इस दौरान कार्यकर्ताओं को एक महिला दिखायी दी। उसने एक हाथ में मोबाइल लेकर बातचीत करती आ रही थीं। दूसरे हाथ में लोटा ले रखी थीं। जीवा से जुड़े कार्यकर्ताओं ने उक्त महिला से नाम पूछा। उसने कहा कि मेरा नाम सुशीला देवी है। घर में शौचालय नहीं रहने के कारण मजबूरी में खुले आकाश के नीचे शौचक्रिया करना पड़ता है। यह पूछने पर शौचक्रिया जाते समय भी मोबाइल को साथ लेना भूलती नहीं है? वह तपाक से कहती है कि मोबाइल रखने से इज्जत बढ़ जाती है।
जीवा के कार्यकर्ता प्रभात शर्मा और दीलिप प्रजापति ने कहा कि खुले में शौचक्रिया करने से बीमारी की चपेट में पड़ जाते हैं। मक्खी रानी पैखाना पर बैठती है। वहां से अपने साथ अनेकों अंडे 100, बैक्टीरिया 100000 और वायरस 10000000 लेकर उड़ जाती है और जाकर खाना पर जाकर बैठ जाती है। इस तरह की दूषित भोजन खाकर बीमार पड़ते हैं। डायरिया,टायफाइड आदि रोगों से ग्रसित हो जाते हैं। इसके बाद डाक्टर साहब से दिखाते हैं और मोटी रकम व्यय करते हैं। इससे अच्छा है कि सरकार से मिलने वाली 12 हजार रू0की प्रोत्साहित राशि में कुछ मिलाकर बेहतर ढंग से शौचालय बना सके।
आजकल जीवा के द्वारा मोकामा प्रखंड के विभिन्न ग्राम पंचायतों में स्वच्छता अभियान संचालित है। इस प्रखंड के मेकरा, कन्हाईपुर, पच्छिमी मोर, पूर्वी मोर, बरहपुर ,शिवनार,औंटा,हाथिदह, मरांची, मालपुर, रामपुर डुमरा आदि पंचायत में स्वच्छता पर वाॅश आॅन व्हील्स अभियान चलाया गया। शेष 9 पंचायतों में अभियान चलाने के बाद सीएम नीतीश कुमार के गृह जिले नालंदा के हरनौत और राजगीर में अभियान चलाया जाएगा। विभिन्न पंचायतों मेें जनजागरण पैदा करने वालोें को ग्रामीणों ने बताया कि नयका टोला बिंद टोली में है वार्ड नम्बर-2, 4 5, 6 और 11। यहां पर शौचालय निर्माण नहीं किया गया है। जिसके कारण हमलोग खुले आकाश में मलत्याग करने को मजबूर हैं।शौचालय निर्माण में बिछौलियों की चांदी है।
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