महानदी विवाद पर केंद्र सरकार की चुप्पी - Live Aaryaavart (लाईव आर्यावर्त)

Breaking

प्रबिसि नगर कीजै सब काजा । हृदय राखि कौशलपुर राजा।। -- मंगल भवन अमंगल हारी। द्रवहु सुदसरथ अजिर बिहारी ।। -- सब नर करहिं परस्पर प्रीति । चलहिं स्वधर्म निरत श्रुतिनीति ।। -- तेहि अवसर सुनि शिव धनु भंगा । आयउ भृगुकुल कमल पतंगा।। -- राजिव नयन धरैधनु सायक । भगत विपत्ति भंजनु सुखदायक।। -- अनुचित बहुत कहेउं अग्याता । छमहु क्षमा मंदिर दोउ भ्राता।। -- हरि अनन्त हरि कथा अनन्ता। कहहि सुनहि बहुविधि सब संता। -- साधक नाम जपहिं लय लाएं। होहिं सिद्ध अनिमादिक पाएं।। -- अतिथि पूज्य प्रियतम पुरारि के । कामद धन दारिद्र दवारिके।।

शनिवार, 26 मई 2018

महानदी विवाद पर केंद्र सरकार की चुप्पी

center-silent-on-mahanadi
पारादीप (ओडिशा), 25 मई, मुख्यमंत्री नवीन पटनायक ने ओडिशा और छत्तीसगढ़ के बीच महानदी के जल बंटवारे के विवाद पर केंद्र सरकार की चुप्पी को ‘ निराशाजनक ’ बताते हुए भाजपा पर आरोप लगाया कि भाजपा राज्य की जरूरतों पर ध्यान नहीं देती है।  पटनायक की यह टिप्पणी प्रधानमंत्री के कटक दौरे से एक दिन पहले आयी है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी कटक में महानदी नदी के तट पर एक सार्वजनिक रैली को संबोधित करेंगे।  जगतसिंहपुर जिले में सत्तारूढ़ बीजद के ‘ महानदी सुरक्षा अभियान ’ के समापन कार्यक्रम को संबोधित करते हुए पटनायक ने कहा , “ यह निराशाजनक है कि केंद्र में भाजपा नेतृत्व वाली सरकार महानदी जल विवाद जैसे संवेदनशील मुद्दे पर चुप है। ”  प्रधानमंत्री के दौरे से पहले प्रत्यक्ष तौर पर शक्ति प्रदर्शन करते हुए पटनायक ने इस बंदरगाह शहर में एक बड़ी जनसभा को संबोधित करते हुए महानदी विवाद को लेकर भाजपा की आलोचना की।  ओडिशा महानदी के ऊपरी क्षेत्र में छत्तीसगढ़ के निर्माण का विरोध यह दावे करते हुए कह रही है कि इस निर्माण से नदी की धारा प्रभावित हो रही है।  वहीं भाजपा ने पटनायक के आरोप पर कड़ी प्रतिक्रिया देते हुए उन पर महानदी मुद्दे पर राजनीति करने और ‘ दोहरे मापदंड ’ अपनाने का आरोप लगाया।  भाजपा के राष्ट्रीय प्रवक्ता संबित पात्रा ने संवाददाताओं से कहा , “ केंद्र ने ओडिशा और छत्तीसगढ़ के बीच महानदी नदी जल विवाद को सुलझाने की अच्छी कोशिश की लेकिन नवीन पटनायक ने सहयोग नहीं किया क्योंकि वह इस मुद्दे पर राजनीति कर रहे हैं। ”  

कोई टिप्पणी नहीं: