मधुबनी : वर्ष 2015 से 17 तक क्रमांक बाधित कर 98 शिक्षकों का हुआ भुगतान - Live Aaryaavart (लाईव आर्यावर्त)

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गुरुवार, 16 मई 2019

मधुबनी : वर्ष 2015 से 17 तक क्रमांक बाधित कर 98 शिक्षकों का हुआ भुगतान

मधवापुर जांच कमेटी से कार्रवाई का आग्रह, राशि वसूली नहीं किये जाने पर होगा आंदोलन एवं विधानसभा में उठाये जायेंगे सवाल
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मधुबनी (आर्यावर्त संवाददाता) । वेतन विपत्र में क्रम बाधित कर लगातार शिक्षकों का वेतन भुगतान होता रहा है। एक ही क्रमांक को पुनरावृत्ति कर शिक्षकों का वेतन भुगतान कर दिया गया। विभिन्न प्रखंडों से प्राप्त एडवायस से यह मामला सामने आया है। वर्ष 2015 से 2017 में ऐसा बड़े पैमाने पर किया गया। जिसमें उच्चाधिकारी व कर्मियों की भूमिका रही है। बताया जाता है कि इस मामले को रफादफा करने के लिए इन अधिकारियों व कर्मियों की मिलीभगत से स्थापना कार्यालय में दो बार चोरी की घटना को अंजाम दिया गया। जिसमें बड़े पैमाने पर पंजी, एसडवायस और अन्य महत्वपूर्ण कागजात गायब किये गये। एफआइआर के साल भर बाद भी इस दिशा में जिला प्रशासन, शिक्षा विभाग या पुलिस के स्तर पर कोई कार्रवाई नहीं की गयी।

क्रमांक बाधित कर होता रहा है भुगतान 
प्राप्त विपत्र के अनुसार, डीपीओ ए अहसन के कार्यकाल में मधवापुर में वर्ष 2015 में अक्टूबर, नवंबर, दिसंबर में क्रमांक 27 रिपिट किया गया और छह शिक्षकों का भुगतान हुआ। इसीतरह से वर्ष 2016 में फरवरी में डीपीओ द्वारा 10 शिक्षकों का वेतन काटा गया। एवं 27 क्रमांक रिपिट किया गया। वर्ष 2017 में मार्च में पंचायत में क्रमांक 5,6 और 7 दो बार उल्लेखित कर छह शिक्षकों का वेतन भुगतान हुआ। इसी वर्ष अप्रैल एवं जुलाई में 5,6 और 7 रिपिट किया गया। जिसमें छह शिक्षकों को वेतन दिया गया। इसके बाद भी जुलाई में भी 5, 6 और 7 दो बार उल्लेखित है। अगस्त में 237, 238 और 239 क्रमांक दो बार लिखा गया है। सितंबर में 237, 238 और 239 दो बार पुनरावृत्ति की गयी है। दिलचस्प है कि क्रमांक तोड़कर वेतन पाने ये सभी शिक्षक वर्तमान में भी कायम है। अधिकारियों व कर्मियों की मिलीभगत से वेतन पा रहे हैं। मिथिला मूवमेंट अगेंस्ट करप्सन के सरोज पासवान, शुभम राम, दिनेश यादव, संजीत मिश्रा आदि ने डीएम और डीइओ इस संबंध में ज्ञापन सौंपा है। विभिन्न संगठनों की बैठक में यह निर्णय लिया गया कि इस संबंध में एक ज्ञापन जांच कमेटी के सदस्य बेनीपट्टी एसडीओ व डीएसपी और जिला शिक्षा अधिकारी को सौंपा जायेगा। ताकि शीघ्र कार्रवाई हो सके। कार्रवाई में लापरवाही या शिथिलता बरते जाने की हालत में आंदोलन की चेतावनी संगठन के प्रतिनिधियों ने दी है। 
प्रमाण पत्र की हो जांच
संगठन प्रतिनिधियों ने प्रखंडों में नियोजित शिक्षकों के प्रमाण पत्र की शीघ्र जांच कार्य पूरा कराये जाने की मांग की है। मधवापुर के कई शिक्षकांे की चर्चा करते हुए बताया कि कई शिक्षक एक ही समय मंे दो दो डिग्री अबैध रुप से प्राप्त किया है। ऐसे शिक्षकों पर प्राथमिकी कर सरकारी राशि की वसूली करने की मांग की गयी। इस संबंध मंे ज्ञापन देने का निर्णय बैठक में लिया गया है। उत्क्रमित मध्य विद्यालय परसा के एक शिक्षक ने ऐसे ही योग्यता पर नियोजित होकर वेतन ले रहे हैं। बलवा पंचायत के एचएम ने अपने यहां किसी के नियोजन न होने की बात डीएम व अन्य अधिकारियों से कहता रहा। लेकिन उसे अनसुना कर दिया गया। ऐसे शिक्षक भी प्रतिनियोजन कराकर सालों से वेतन उठा रहे हैं। जबकि उस शिक्षक का मूल विद्यालय में कुछ नहीं है। बलवा पंचायत के ऐसे आठ शिक्षक हैं। मिली जानकारी के अनुसार, लौकही, बिस्फी, घोघरडीहा, लदनियां, खजौली, जयनगर, फुलपरास और झंझारपुर में भी इसतरह का भुगतान पूर्व में किया गया है। जब इस बाबत जिला शिक्षा पदाधिकारी, श्रीराम कुमार से पूछा गया तो उन्होंने इस विषय में कुछ भी कहने से बचते नजर आए। उन्होंने कहा कि उपरोक्त मामले के लिए जांच कमिटी क़ी गठन कर ली गई है। जांच पूरी होनें के बाद ही हम कुछ बता पाएंगे। 

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