ब्रिटिश प्रधानमंत्री टेरेसा मे ने इस्तीफे की घोषणा की - Live Aaryaavart (लाईव आर्यावर्त)

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शनिवार, 25 मई 2019

ब्रिटिश प्रधानमंत्री टेरेसा मे ने इस्तीफे की घोषणा की

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लंदन, 24 मई, ब्रिटेन की प्रधानमंत्री टेरेसा मे ने देश हित में सात जून को कंजर्वेटिव नेता का पद छोड़ देने की शुक्रवार को घोषणा की। इसके साथ ही ब्रिटेन में एक नया प्रधानमंत्री चुनने का मार्ग प्रशस्त हो गया है।  दरअसल, टेरेसा मे यूरोपीय संघ से ब्रिटेन को अलग करने की एक संशोधित रणनीति के साथ अपने मंत्रियों को सहमत करने में नाकाम रही।  नम आंखों के साथ टेरेसा ने कहा कि वह सात जून को कंजर्वेटिव पार्टी की नेता पद से इस्तीफा देंगी, जिसके बाद 10 जून से शुरू होने वाले हफ्ते में एक नये प्रधानमंत्री के लिए प्रतिस्पर्धा शुरू हो जाएगी। हालांकि, नया नेता चुने जाने तक वह कार्यवाहक प्रधानमंत्री रहेंगी।  जुलाई के अंत में एक नये टोरी नेता के उनकी जगह प्रधानमंत्री का पदभार संभालने की उम्मीद है।  दिसंबर के अंत में एक अविश्वास प्रस्ताव का सामना करने के बाद से टेरेसा पर इस्तीफा देने का लगातार दबाव पड़ रहा था।  टेरेसा (62) ने कहा, ‘‘मैं जल्द ही यह पद छोड़ दूंगी और जो मेरे जीवन का एक सबसे बड़ा सम्मान रहा है।’’  उन्होंने कहा, ‘‘मैं दूसरी महिला प्रधानमंत्री थी, लेकिन आखिरी नहीं...। मैंने किसी के प्रति दुर्भावना नहीं रखते हुए काम किया, जिस देश से मैं प्यार करती हूं उसकी सेवा का अवसर देने के लिए आपका आभार प्रकट करती हूं।’’  निवर्तमान प्रधानमंत्री ने कहा कि उन्होंने पद छोड़ने के अपने समय के बारे में महारानी एलिजाबेथ द्वितीय को अवगत रखा था,जिसका मतलब है कि जून की शुरूआत में अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप की राजकीय यात्रा के दौरान वह बैठक की अध्यक्षता करेंगी।  टेरेसा ने व्यापार घाटे से निपटने, बेरोजगारी कम करने और मानसिक स्वास्थ्य के लिए धन का आवंटन बढ़ाने सहित अपनी सरकार की कई उपलब्धियों को गिनाया।  हालांकि, उन्होंने स्वीकार किया, ‘‘यह हमेशा ही मेरे लिए बहुत अफसोस की बात रहेगी कि में ब्रेक्जिट को अंजाम नहीं दे सकी। ’’  वहीं, ब्रिटेन में सत्तारूढ़ कंजर्वेटिव पार्टी ने कहा है कि पार्टी नेता के तौर पर सात जून को इस्तीफा देने की टेरेसा की घोषणा दुखद है लेकिन यह समझा जा सकता है कि इस तरह के कदम की जरूरत क्यों पड़ी।  ब्रिटेन को 29 मार्च को 28 सदस्यीय आर्थिक संगठन (ईयू) को छोड़ना था लेकिन उस समय सीमा को पूरा नहीं किया जा सका और अब ब्रेक्जिट से बाहर होने की नयी समय सीमा 31 अक्टूबर रखी गई है।  टेरेसा मे ने कहा, ‘‘मैंने ब्रेक्जिट समझौते के समर्थन के लिए सांसदों को मनाने के लिए वह सबकुछ किया, जो मैं कर सकती थी। लेकिन दुख की बात है कि मैं उन्हें मनाने में नाकाम रही। मैंने तीन बार कोशिश की।’’  उन्होंने कहा कि अब यह जिम्मेदारी उनके उत्तराधिकारी को निभानी है। हालांकि, इस दिशा में सफल होने के लिए नये नेतृत्व को संसद के अंदर आमराय बनानी होगी, जहां वह (टेरेसा) नहीं होंगी।  गौरतलब है कि ब्रिटेन के विदेश मंत्री जेरेमी हंट ने बृहस्पतिवार को डाउनिंग स्ट्रीट में टेरेसा मे से मुलाकात के दौरान ब्रेक्जिट से अलग होने के समझौता विधेयक को हाउस ऑफ कॉमंस में लाने की उनकी नयी कोशिश पर असंतोष जाहिर किया।  टोरी पार्टी मुख्यालय एवं पार्टी के सांसदों की प्रभावशाली 1922 कमेटी के उपाध्यक्षों ने एक संयुक्त बयान में कहा कि कंजर्वेटिव दल ने पार्टी के एक नेता को चुनने की प्रक्रिया तय की है जो ब्रिटेन के प्रधानमंत्री के तौर पर टेरेसा के उत्तराधिकारी होंगे।  बयान में कहा गया है कि पार्टी नेता एवं प्रधानमंत्री के तौर पर टेरेसा के उत्तराधिकारी के 20 जुलाई तक पदभार संभालने की उम्मीद है।  पूर्व विदेश मंत्री बोरिस जॉनसन और कैबिनेट मंत्री रोरी स्टीवर्ट इस पद की दौड़ में आगे माने जा रहे हैं और पूर्व मंत्री ईस्टर मैकवे पहले ही कह चुके हैं कि वे पार्टी का नेतृत्व करना चाहते हैं। समझा जा रहा है कि इसके अलावा, दर्जन भर से अधिक नेता भी इस प्रतिस्पर्धा में शामिल होने के लिए गंभीरतापूर्वक विचार कर रहे हैं।  इस बीच, ब्रसेल्स से प्राप्त एएफपी की एक खबर के मुताबिक यूरोपीय संघ ने शुक्रवार को कहा कि टेरेसा के इस्तीफे से ब्रेक्जिट पर उसके रुख में कुछ भी बदलाव नहीं होगा, जिस पर उसके सदस्यों की ब्रिटेन के साथ सहमति बनी थी। 

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