बिहार : आखिरकार कोरोना वाॅरियर्स ने दुखरा सुना ही दिया - Live Aaryaavart (लाईव आर्यावर्त)

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बुधवार, 22 जुलाई 2020

बिहार : आखिरकार कोरोना वाॅरियर्स ने दुखरा सुना ही दिया

corona-warrior
पटना. राजधानी पटना में है एनएमसीएच. यहां पर कोरोना पाॅजिटिव मरीजों को भर्ती कर इलाज किया जाता है.एक कोरोना पॉजिटिव गाड़ी में बैठा है. कोई उसे पूछने और देखने वाला नहीं है. काफी विलम्ब से एक व्यक्ति आता है.उसके हाथ में कागजात है और वह गाड़ी में बैठे कोरोना पॉजिटिव मरीज से कहता है कि गाड़ी से उतरकर भर्ती होने के लिए चलिए.

आश्चर्य मगर सत्य
जलवायु परिवर्तन एवं पर्यावरण क्षेत्र में काम करने वालों का कहना है कि यह यही हालात रही तो लोगों को आॅक्सीजन सिलेण्डर को साथ में लेकर चलना होगा.आवश्यकतानुसार कैथेटर के सहारे आॅक्सीजन का प्रयोग भी करना पड़ भी सकता है. मगर इस वैश्विक कोरोना काल ने इंसान को आॅक्सीजन सिलेण्डर के साथ चलने के लिए मजबूर कर दिया है. और वह कोरोना पॉजिटिव मरीज गाड़ी पर से आॅक्सीजन सिलेण्डर लेकर उतरता है.उसके नाक में कैथेटर लगा हुआ है.वह उसी के सहारे आॅक्सीजन ले रहा था. वह खुद सिलेण्डर को लेकर ही रजिस्ट्रेशन काउंटर की ओर बढ़ता है.उसकाे भर्ती कर लिया गया.

फेसबुक पर वीडियो वायरल 
पहले समस्याओं का समाधान करवाने के लिए नागरिक सड़क पर उतरकर रोड जामकर समस्या का समाधान अधिकारियों से करवा लेते हैं.उसी तर्ज पर चलकर मगर नोविटेशन के तहत सोशल मीडिया पर समस्याओं को वीडियो वायरल कर दिया जाता है.अभी हाल में पटना एम्स में गृह विभाग के पूर्व अंडर सेक्रेट्री उमेश रजक को भर्ती नहीं किया जा रहा था.जगदेव पथ में रहने वाले पूर्व अधिकारी को रातभर फुटपाथ पर ही चादर तानकर रात काटनी पड़ी.मसला का वीडियो वायरल होने पर भर्ती किया गया.जहां  चिकित्सा के दौरान पूर्व अधिकारी उमेश रजक का निधन हो गया. एक बार फिर पटना एम्स में एक महिला ने पतिदेव को भर्ती करवाने का प्रयास कर रही थी. मगर बेड रहते हुए भी उक्त कोरोना पाॅजिटिव को भर्ती नहीं किया गया. उक्त महिला ने वीडियो वायरल कर दी. उसने आरोप लगाया कि चिकित्सक एवं कर्मी मोबाइल के चक्कर में रहते हैं इसी लिए बेड रहते हुए भी मरीज को भर्ती नहीं किया जाता है।

 नेता प्रतिपक्ष तेजस्वी यादव हैं सक्रिय 
बिहार विधानसभा में नेता प्रतिपक्ष हैं तेजस्वी यादव. पूर्व अधिकारी से संबंधित एक वायरल वीडियो हाथ लग गयी. उस वीडियो में अधिकारी की बेवसी व उपेक्षित रवैया साफ दिख रहा था.जब कोरोना संक्रमित मरीज उमेश रजक को धरती के भगवान (डॉक्टर) ने एम्स में भर्ती नहीं किये, तो वह चादर तानकर फुटपाथ पर ही पड़ गये. नेता प्रतिपक्ष तेजस्वी यादव ने टिवटर पर ट्वीट कर दिया.उनको दूसरे दिन रविवार को भर्ती कर लिया गया. 

कोरोना महामारी का कोहराम 
बिहार में काफी कम टेस्टिंग हो रहा है. जो केन्दीय टीम को भी चिंता का भवर में डाल दिया. बिहार में केन्द्रीय मंत्रियों का संसदीय क्षेत्र भी बेहाल है.इसमें रामविलास पासवान का भी क्षेत्र शामिल हैं.वहां के कोरोना वाॅरियर्स मुखर साबित हुए. बताया कि गैरहाजिर 23 मार्च से ही हरेक दिन काम किया जा रहा है. मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने कहे थे कि नास्ता में 100 और खाना में 250 रू. मिलेगा. वहीं एक माह के वेतन प्रोत्साहन के रूप में दिया जाएगा। अभी तक मार्च 2020 से वेतन भुगतान नहीं किया जा रहा है.अब आप ही बताये कि भूखे रहकर कोरोना वाॅरियर्स कोरोना से मुकाबला कर रहे हैं.

कोरोना काल में सरकार की तैयारियों पर हमला
नेता प्रतिपक्ष तेजस्वी यादव कोरोना काल में सरकार की तैयारियों पर लगातार हमलावर हैं. इसी क्रम में तेजस्वी यादव ने कहा कि कोविड 19 का संक्रमण बढ़ता जा रहा है. इसलिए सरकार को सचेत करना चाहता हूं. बिहार में 13 प्रतिशत पॉजिटिव रेट है और हालिया स्थिति को देखते हुए यह जरूरी है कि जांच की संख्या को बढ़ाई जाए.नेता प्रतिपक्ष ने कहा कि सरकार के काम से लोगों में निराशा है. बाढ़ के बाद लोगों के सब्र का बांध टूट रहे हैं. सरकार पारदर्शिता बरते तो बेहतर होगा. लॉकडाउन भी बहुत बेहतर तरीके से लागू नहीं हो पा रहा है.उन्होंने कहा कि पूरे देश में बिहार का टेस्टिंग रेट सबसे कम है. मरीजों को ऑक्सीजन मास्क तक उनके परिजन ही लगा रहे हैं. अगस्त महीने से बिहार सरकार 1 लाख टेस्टिंग तक पहुंचना चाहिए. ये हमारी मांग है.तेजस्वी ने कहा कि प्रतिदिन हजार मरीज मिल रहे हैं. पटना में 100 कंटेन्मेंट जोन हैं. बिहार के ग्लोबल कैपिटल ऑफ कोरोना बनने की संभावना प्रबल होती जा रही है.यही नहीं तेजस्वी ने यह भी कहा कि सरकार सही आंकड़े लोगों के सामने नहीं रख रही है. स्वास्थ्य विभाग के पुराने प्रधान सचिव को इसलिए हटा दिया गया क्योंकि उन्होंने पारदर्शिता से काम किया. नीतीश कुमार की विफलता के कारण ही सेंट्रल टीम को भेज जा रहा है. उन्होंने कहा कि हम धन्यवाद देते हैं कि टीम आ रही है और यहां के हालात को देखेगी. यहां हॉस्पिटल में एडमिशन नहीं हो पा रहा है और मरीज भर्ती भी हो रहे हैं तो उनको देखने वाला कोई नहीं है. बिहार सरकार टेस्ट के आंकड़े भी छुपा रही है.नेता प्रतिपक्ष ने कहा कि बिहार में डॉक्टर ठेले पर जाते हैं. पीएमसीएच में रेप हो जाता है. एम्स में अपर सचिव की मौत हो जाती है. परिजन वीडियो बनाकर भेज रहे हैं. जो डॉक्टर मारे गए हैं, उन्हें शहीद का दर्जा दिया जाए. और मुआवजे के तौर पर 1 करोड़ रुपया भी उन्हें दिया जाए.आरजेडी नेता ने कहा कि सर कट गया सिर्फ धड़ बचा रह गया तो क्या फायदा. गोपालगंज में अप्रोच रोड बह गया. सरकार क्या कहना चाहती है. 264 करोड़ में कितने रुपये बर्बाद कर दिए गए है. सरकार को कार्रवाई करते हुए मंत्री को तत्काल हटाना चाहिए.इसके अलावा उन्होंने यह भी कहा कि चुनाव आयोग से विपक्षी दलों ने मुलाकात कर अपना मेमोरेंडम दिया है. उसमें लिखा है कि अभी वर्तमान में चुनाव के हालात नहीं हैं. जब हालात नहीं संभले तो राष्ट्रपति शासन लगाया जाए. ये नियम संगत है जिसके अंतर्गत मानवता है वो चुनाव नहीं चाहेगा.

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