फासिस्ट ताकतों का मुकाबला डॉक्टर लोहिया और भगत सिंह के विचारों से ही संभव - Live Aaryaavart (लाईव आर्यावर्त)

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बुधवार, 24 मार्च 2021

फासिस्ट ताकतों का मुकाबला डॉक्टर लोहिया और भगत सिंह के विचारों से ही संभव

  • संगोष्ठी में विभिन्न वक्ताओं ने  युवाओं से आह्वान किया कि वे  अन्याय के खिलाफ  संघर्ष का रास्ता अपनाए

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इंदौर। डॉ राम मनोहर लोहिया की जन्म जयंती तथा शहीदे आजम भगत सिंह, सुखदेव और राजगुरु के शहादत दिवस पर डॉ राम मनोहर लोहिया सामाजिक समिति द्वारा इंदौर में एक सारगर्भित संगोष्ठी आयोजित की गई ।जिसमें विभिन्न वक्ताओं ने अपने विचार   रखते हुए हुए कहा कि लोहिया, भगत सिंह के विचारों की आज सबसे ज्यादा जरूरत है। देश में चल रहे किसान आंदोलन और मजदूर आंदोलन की चर्चा करते हुए वक्ताओं ने कहा कि  फासीस्ट ताकतों  का मुकाबला करने के लिए  आज भगत सिंह और डॉक्टर लोहिया के मार्ग पर चलना और उनके विचारों को फैलाने की  जरूरत है। जिन विचारों को लेकर यह महामानव आजीवन संघर्ष  रत रहे वे विचार ही आज देश में उत्पन्न  सारी समस्याओं का हल निकाल सकते हैं। इसलिए जरूरत है कि ज्यादा से ज्यादा इनके विचारों को फैलाया जाए और नौजवानों को संघर्ष के रास्ते पर चलने के लिए तैयार किया जाए । संगोष्ठी में श्रीधर बर्वे, रामबाबू अग्रवाल, अरुण चौहान, गुना से  आए प्रदीप भाई, कैलाश लिंबोदिया, दिनेश पुराणिक ,रामस्वरूप मंत्री सहित विभिन्न वक्ताओं ने विचार व्यक्त किए। वक्ताओं ने शहीदे आजम भगत सिंह और डॉक्टर राम मनोहर लोहिया के जीवन के विभिन्न वाकयों का वर्णन करते हुए कहा कि उन्होंने देश को आजाद कराने के लिए ना केवल संघर्ष किया, बल्कि इस तरह के काम किए जिससे पूरा देश आंदोलित हुआ । संगोष्ठी का संचालन रामस्वरूप मंत्री ने किया । संगोष्ठी में बड़ी संख्या में समाजवादी वामपंथी कार्यकर्ता मौजूद थे और सभी ने संकल्प लिया कि आज कीसान देश की सड़कें गर्म कर रहे हैं तब आम लोगों को भी इस संघर्ष से जोड़ने की जरूरत है। इसके लिए हम सब मिलकर अभियान चलाएंगे । संगोष्ठी में सर्वश्री जीवन मंडलेचा, प्रमोद नामदेव,राजेन्द्र अटल,   भारत सिंह यादव,अशोक व्यास,  छेदी लाल यादव ,मोहम्मद अली सिद्दीकी ,सीएल सरावत ,मनीष विश्वकर्मा, जयप्रकाश गुगरी, राधेश्याम शर्मा, माता प्रसाद मौर्य ,भागीरथ कछवाय, सहित बड़ी संख्या में कार्यकर्ता मौजूद थे । अंत में घोषणा की गई कि विचार फैलाने के लिए लगभग हर महीने वैचारिक संगोष्ठी शहर के अलग-अलग इलाकों में आयोजित की जाएगी।

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