मोतिहारी : मेहसी प्रखंड में अवस्थित भीमलपुर जंगल का संयुक्त निरीक्षण - Live Aaryaavart (लाईव आर्यावर्त)

Breaking

प्रबिसि नगर कीजै सब काजा । हृदय राखि कौशलपुर राजा।। -- मंगल भवन अमंगल हारी। द्रवहु सुदसरथ अजिर बिहारी ।। -- सब नर करहिं परस्पर प्रीति । चलहिं स्वधर्म निरत श्रुतिनीति ।। -- तेहि अवसर सुनि शिव धनु भंगा । आयउ भृगुकुल कमल पतंगा।। -- राजिव नयन धरैधनु सायक । भगत विपत्ति भंजनु सुखदायक।। -- अनुचित बहुत कहेउं अग्याता । छमहु क्षमा मंदिर दोउ भ्राता।। -- हरि अनन्त हरि कथा अनन्ता। कहहि सुनहि बहुविधि सब संता। -- साधक नाम जपहिं लय लाएं। होहिं सिद्ध अनिमादिक पाएं।। -- अतिथि पूज्य प्रियतम पुरारि के । कामद धन दारिद्र दवारिके।।

गुरुवार, 14 अप्रैल 2022

मोतिहारी : मेहसी प्रखंड में अवस्थित भीमलपुर जंगल का संयुक्त निरीक्षण

bhimpur-jungle-inspacion
मोतिहारी. पूर्वी चम्पारण के मेहसी प्रखंड में अवस्थित भीमलपुर जंगल का संयुक्त निरीक्षण जिलाधिकारी श्री शीर्षत कपिल अशोक एवं वन प्रमंडल पदाधिकारी द्वारा किया गया. गंडक बायोडायवर्सिटी पार्क के विकास को गति देने के लिए अपर मुख्य सचिव, पर्यावरण वन एवं जलवायु परिवर्तन विभाग द्वारा अगले पक्ष में स्थल निरीक्षण किया जाएगा. यह मोतिहारी जिला अंतर्गत एकमात्र अधिसूचित वन भूमि है जिसका कुल रकबा 302 एकड़ है. जांच के दौरान वन प्रमंडल पदाधिकारी द्वारा इस स्थल को यमुना बायोडायवर्सिटी पार्क की तर्ज पर गंडक बायोडायवर्सिटी पार्क के रूप में विकसित करने का सुझाव दिया गया जिसे जिलाधिकारी द्वारा सहमति जताई गई. यह वन भूमि भौगोलिक रूप से अत्यंत मनोरम स्थल है तथा बूढ़ी गंडक इस वन क्षेत्र के मध्य से बहती है जो इस क्षेत्र को अत्यंत रमणीय बनाती है. इस वन क्षेत्र के बायोडायवर्सिटी पार्क के रूप में विकास के लिए प्रथम फेज में बूढ़ी गंडक नदी पर hanging bridge के निर्माण द्वारा वन भूमि के खंडों को जोड़ा जाएगा.साथ ही वन क्षेत्र में मूलभूत सुविधाओं का विकास किया जाएगा ताकि पर्यटक प्रकृति का आनंद ले सकें. गंडक सफारी के माध्यम से नौकायन की सेवा भी विकसित की जाएगी।  जिला पदाधिकारी द्वारा वन क्षेत्र के पहुंच पथ को सुगम बनाने के लिए RCD के माध्यम से सड़क से जोड़ने के लिए प्रारंभिक सर्वेक्षण के आदेश दिए एवं वन भूमि की अखंडता को बनाए रखने के लिए छिट पुट बंदोबस्त किए गए गैर मजरूआ जमीनों को बायोडायवर्सिटी पार्क के अधीन लाकर अन्यत्र बंदोबस्त किए जाने की संभावनाओं की तलाश करने के लिए भी निर्देशित किया गया. गंडक बायोडायवर्सिटी पार्क में इको पर्यटन विकसित करने के लिए वन विभाग द्वारा विस्तृत प्रोजेक्ट रिपोर्ट तैयार की जाएगी एवं विभागीय अनुमति उपरांत वन प्रमंडल पदाधिकारी के नेतृत्व में वन भूमि में सभी विकास कार्यों को संपादित किया जाएगा. गैर वन भूमि के कार्य जिला पदाधिकारी के निर्देशन में संबंधित विभागों द्वारा संपादित किए जाएंगे. गंडक बायोडायवर्सिटी पार्क को विकसित करने के उपरांत लोगों के लिए खोला जाएगा जो बिहार में एकमात्र नदी आधारित बायोडायवर्सिटी पार्क होगा.

कोई टिप्पणी नहीं: