दरभंगा: ISRO के वैज्ञानिकों का दरभंगा के तारामंडल का दौरा - Live Aaryaavart (लाईव आर्यावर्त)

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गुरुवार, 9 मई 2024

दरभंगा: ISRO के वैज्ञानिकों का दरभंगा के तारामंडल का दौरा

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दरभंगा, भारतीय अंतरिक्ष अनुसंधान संगठन (ISRO) के वैज्ञानिकों ने आज दरभंगा के तारामंडल का दौरा किया। इस अवसर पर, ISRO के वैज्ञानिक Shree M.K Panday और Shree Dilip Verma ने तारामंडल की सुंदरता, उपकरणों की विशेषता और शैली की प्रशंसा की। वे मानते हैं कि यह विश्व स्तरीय तारामंडल है, जो छात्रों को अंतरिक्ष विज्ञान में रुचि लेने के लिए प्रेरित करेगा। इंफोविजन टेक्नोलॉजीज प्राइवेट लिमिटेड के परियोजना कार्यान्वयन प्रमुख सतीश जोशी भी उपस्थित थे। एशिया के पहले 3डी हाइब्रिड तारामंडल और दिल्ली में प्रधान मंत्री संग्रहालय सहित तारामंडल परियोजनाओं को लागू करने में उनके पास 25 वर्षों का अनुभव है। उन्होंने बताया कि दरभंगा तारामंडल हमारी नई परियोजनाओं में से एक है, जिसमें दो 4K क्रिस्टी प्रोजेक्शन सिस्टम और 15 डिग्री झुकाव के साथ 4K 3D डिजिटल तारामंडल कॉन्फ़िगरेशन है, जिसमें 150 आगंतुकों को जगह मिल सकती है।


तारामंडल का यह दौरा विभिन्न पहलुओं को सामने लाने का एक महत्वपूर्ण अवसर प्रदान किया। वैज्ञानिकों ने तारामंडल के सुंदर वातावरण की प्रशंसा की, जिसमें तारों की चमक, आसमान की साफ-सफाई और तारामंडल की सामग्री के प्रयोग से उत्पन्न होने वाली मानवता की अद्भुतता की चर्चा की। उन्होंने तारामंडल के उपकरणों की विशेषता पर भी प्रकाश डाला, जिसमें विभिन्न दृश्य और रूपरेखाएँ शामिल हैं जो अंतरिक्ष अनुसंधान में उपयोगी हैं। वे मानते हैं कि यह तारामंडल विज्ञान के क्षेत्र में नई सोच को प्रोत्साहित करेगा और छात्रों को अंतरिक्ष के अद्भुत विश्व में आकर्षित करेगा।इसके अलावा, वैज्ञानिकों ने स्थानीय समुदाय को भी इस तारामंडल की महत्ता पर ध्यान देने का आग्रह किया। उन्होंने कहा कि इस तरह की पहल स्थानीय बच्चों के लिए एक महत्वपूर्ण सीखने का माध्यम हो सकती है, जो अंतरिक्ष विज्ञान और उसमें होने वाली घटनाओं के बारे में अधिक जानने के लिए उत्सुक हैं। इस प्रकार की पहल से स्थानीय समुदाय की तकनीकी और शैक्षिक उन्नति में महत्वपूर्ण योगदान होगा, जो आने वाले सालों में INDIA को विकसित देशों के रूप में सामिल होने में मदद करेगा।


तारामंडल में चंद्रयान-3 मिशन को भी दिखाया गया था जिसमें कमिश्नर, जिलाधिकारी, एसपी और अन्य अधिकारी मौजूद थे। चंद्रयान-3 मिशन भारतीय अंतरिक्ष अनुसंधान संगठन के लिए एक महत्वपूर्ण कदम है, जो भारत को अंतरिक्ष क्षेत्र में एक महत्वपूर्ण स्थान प्रदान करेगा। इस मिशन के माध्यम से, भारत अंतरिक्ष अनुसंधान क्षेत्र में नए उत्साह और नई तकनीकी उत्पादकता की दिशा में आगे बढ़ सकता है।इसके अलावा, ISRO के वैज्ञानिकों ने डीसीई दरभंगा का भी दौरा किया, जहां उन्होंने विश्व स्तरीय भाषा प्रयोगशाला, सेमिनार हॉल, सम्मेलन कक्ष, कंप्यूटर केंद्र, ऑडिटोरियम आदि का दौरा किया। इस दौरे के माध्यम से, उन्होंने डीसीई दरभंगा के प्रिंसिपल डॉ। संदीप तिवारी को विश्व स्तरीय तारामंडल और कैंपस की विशेषता को दिखाने के लिए धन्यवाद दिया। इस यात्रा के माध्यम से, वैज्ञानिकों ने डीसीई दरभंगा के छात्रों को अंतरिक्ष विज्ञान और तकनीकी शिक्षा के महत्व को साझा करने का मौका दिया।सारांश के रूप में, ISRO के वैज्ञानिकों का दरभंगा के तारामंडल का दौरा एक महत्वपूर्ण कदम है जो अंतरिक्ष विज्ञान के क्षेत्र में जागरूकता और उत्साह को बढ़ावा देगा। इस प्रमुख यात्रा के माध्यम से, स्थानीय समुदायों को भी अंतरिक्ष के रोमांचक और उत्कृष्ट दुनिया के प्रति उत्साह बढ़ाने का मौका मिला है। यह दरभंगा के तारामंडल ने अंतरिक्ष अनुसंधान के क्षेत्र में एक नया प्रेरणास्त्रोत स्थापित किया है, जो आने वाले सालों में भारत को गर्व के साथ अंतरिक्ष में एक अग्रणी भूमिका देने में मदद करेगा।

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