- जिला राजस्व समन्वय समिति एवं आंतरिक संसाधन समिति की समीक्षात्मक बैठक हुई आयोजित
- सभी अंचलाधिकारियों को अतिक्रमणवाद को गंभीरता से लेकर त्वरित निष्पादन का दिया निर्देश
मधुबनी (रजनीश के झा)। जिलाधिकारी अरविन्द कुमार वर्मा की अध्यक्षता में समाहरणालय स्थित सभाकक्ष में जिला राजस्व समन्वय समिति एवं आंतरिक संसाधन की समीक्षात्मक बैठक आयोजित की गई. समीक्षा क्रम में पाया गया कि अगस्त माह में ओवरऑल प्रदर्शन में कलुआही प्रथम, फुलपरास द्वितीय, लदनिया तृतीय, अंधराठाड़ी चतुर्थ व हरलाखी को पांचवां रैंक मिला है. वहीं मधवापुर, रहिका, लखनौर, बेनीपट्टी, पंडौल निम्न प्रदर्शन कर अंतिम पांच में रहे. मधवापुर प्रखंड का प्रदर्शन सबसे निम्न रहा. गौरतलब हो कि अगस्त माह में सभी अंचल अधिकारियों द्वारा दाखिल खारिज, अभियान बसेरा-2, परिमार्जन प्लस, आधार सीडिंग, ऑनलाइन एलपीसी, जमाबंदी, अतिक्रमण आदि कार्यों में प्रदर्शन के आधार पर उक्त रैंकिंग की गई है. जिलाधिकारी ने कहा कि अंचलाधिकारी लगातार 5 महीने तक अपने प्रदर्शन में सुधार नहीं करते हैं तो उनके विरुद्ध प्रपत्र क गठित करके अग्रेतर कार्रवाई की जाएगी। जिलाधिकारी ने दाखिल-खारिज के प्राप्त आवेदनों का हर हाल में निर्धारित अवधि में निष्पादन करने का निर्देश दिया, साथ ही जिलाधिकारी ने निर्देश दिया कि अतिक्रमण के मामलों को सर्वाेच्च प्राथमिकता के साथ त्वरित रूप से निष्पादित करे। बैठक में जिलाधिकारी ने सभी सीओ को अतिक्रमणवाद के मामलों को सरजमीनी पोर्टल पर अनिवार्य रूप से अपलोड करने का भी निर्देश दिया. उन्होंने उपस्थित सभी डीसीएलआर को नियमित रूप से अंचलों का निरीक्षण करने का निर्देश दिया. उन्होंने सभी सीओ को जलनिकायों के अतिक्रमण को स्वयं चिन्हित कर उसपर अतिक्रमण वाद चलाकर अतिक्रमण मुक्त करने का भी निर्देश दिया। जिलाधिकारी ने सभी सीओ को तेजी के साथ नीलाम पत्रवाद का निष्पादन करने का निर्देश दिया। लोक सेवाओं के अधिकार की समीक्षा के क्रम में निर्देश दिया कि प्राप्त आवेदनों को निर्धारित अवधी में हर हाल में निष्पादित करवाना सुनिश्चित करे। उन्होंने कहा कि लोक सेवा अधिकार अधिनियम के तहत आरोपित दंड को संबधित अधिकारियों से ससमय वसूली भी करे।
जिलाधिकारी ने कहा कि जनता दरबार में सबसे अधिक परिवाद भूमि विवाद से संबंधित होते हैं। भूमि विवाद के समाधान के लिए थाना दिवस को उपयोगी बताते हुए उन्होंने कहा कि भूमि विवाद से जुड़े मामलों में अधिकतर मामलों को भूमि की मापी करवाकर निष्पादित किया जा सकता है। उन्होंने कहा कि वे स्वयं थानों का औचक निरीक्षण करेंगे और नोटिस और तामिला जैसे कार्य का ससमय संपादन के मामलों का निरीक्षण करेंगे. उन्होंने कहा कि भूमिविवाद के मामलों को सर्वाेच्च प्राथमिकता के साथ ससमय निष्पादित करे। सीडब्लूजेसी की समीक्षा के क्रम में डीएम ने निर्देश दिया कि न्यायालय संबधी मामलों को पूरी गंभीरता से लेकर,ससमय एसओएफ तैयार कर ओथ करे। उन्होंने कहा कि इसमें थोड़ी भी लापरवाही एवं शिथिलता बर्दाश्त नहीं की जाएगी। जिलाधिकारी ने निर्देश दिया कि माननीय न्यायालय द्वारा प्राप्त आदेश का अनुपालन हर हाल में सब समय करवाना सुनिश्चित करें. जिलाधिकारी ने निर्देश दिया कि निम्न प्रदर्शन करने वाले अंचल अगली बैठक तक अपने प्रदर्शन में सुधार कर लें, अन्यथा जवाबदेही तय कर कार्रवाई की जाएगी. राजस्व वसूली की समीक्षा के क्रम में जिलाधिकारी ने निर्देश दिया कि लक्ष्य के आलोक में राजस्व वसूली में तेजी लाएं। उक्त बैठक में अपर समाहर्त्ता शैलेश कुमार, वरीय उप समाहर्ता नशीन कुमार निशांत, प्रशिक्षु डीपीआरओ अमन कुमार आकाश सहित जिले के सभी भूमि सुधार उप समाहर्ता व अवर निबंधक पदाधिकारी, राज्यकर आयुक्त वाणिज्यकर, मधुबनी एवं झंझारपुर एवं सभी अंचल अधिकारी आदि उपस्थित थे।
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