एयर इंडिया के पायलटों की हड़ताल शुक्रवार को दसवें दिन खत्म हो गयी। खबर मिली है कि आज रात 10 बजे से सभी हड़ताली पायलट काम पर लौटेंगे.
इस बीच सरकार तथा पायलटों ने गतिरोध के बड़े मुद्दों को सुलझाने के लिए तीसरे दौर की बातचीत की.
हड़ताली पायलटों और एयर इंडिया प्रबंधन के बीच दो दौर की बातचीत विफल रही थी. दोनों पक्ष आज फिर बातचीत के लिए मिले. सूत्रों ने बताया कि दोनों पक्षों में गतिरोध का बड़ा मुद्दा पूर्ववर्ती इंडियन एयरलाइंस के पायलटों की ‘75 घंटे की उड़ान के तय भत्ते’ की मांग है.
इंडियन एयरलाइंस और एयर इंडिया के विलय से पहले एयर इंडिया में काम करने वाले पायलटों को यह भत्ता मिलता है. प्रधानमंत्री कार्यालय चाहता था कि हड़ताल जल्द से जल्द समाप्त हो और माना जाता है कि उसने नागर विमानन मंत्रालय पर गतिरोध समाप्त करने के लिए दबाव बनाया है. कैबिनेट सचिव के एम चंद्रशेखर ने पायलटों की हड़ताल से उत्पन्न हालात का जायजा लिया.
इंडियन कमर्शियल पायलट एसोसिएशंस (आईसीपीए) से जुड़े 800 से अधिक पायलट अपनी विभिन्न मांगों को लेकर दस दिन से हड़ताल पर थे. इसको देखते हुए कंपनी ने अपनी 90 प्रतिशत उड़ानें बंद कर दी हैं. फिलहाल वह रोजाना 30 उड़ानों का परिचालन कर रही है. इसके अलावा किंगफिशर और एयर अरेबिया के जरिये कुछ चार्टर उड़ानों का भी परिचालन किया जा रहा है. एयरलाइन के प्रवक्ता ने बताया कि कल एयर इंडिया ने किंगफिशर और एयर अरेबिया के विमान ‘उधार’ लेकर 18 चार्टर उड़ानों का परिचालन किया. इनमें से 16 घरेलू और दो अंतरराष्ट्रीय उड़ानें थीं.
हड़ताली पायलटों की मांग है कि हड़ताल के दौरान की गई सभी बर्खास्तगी, निलंबन और स्थानांतरण आदेश वापस लिये जाएं, इंडियन कमर्शियल पायलट एसोसिएशंस (आईसीपीए) की मान्यता को पुन: बहाल किया जाए, एयर इंडिया प्रबंधन द्वारा दायर अवमानना के मामले को वापस लिया जाए और एयरलाइन में भ्रष्टाचार की सीबीआई जांच कराई जाए.

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