कांग्रेस और यूपीए पर लगातार हमले कर रहे नरेंद्र मोदी को केंद्रीय मंत्री कपिल सिब्बल ने बहस की खुली चुनौती दी है। सिब्बल ने यह भी कहा है कि बहस की जगह और समय मोदी ही चुनें। सिब्बल का कहना है कि मोदी केवल व्यक्तिगत मुद्दों पर बात करते हैं और उनका भाषण सिर्फ एक राज्य पर ही केंद्रित होता है।
सिब्बल ने मोदी को झूठा करार देते हुए यह भी कहा कि मोदी उनसे बहस नहीं कर सकते। उन्होंने कहा, 'मोदी ने आज तक कभी एक प्रेस कांफ्रेंस तक नहीं की है तो डिबेट क्या करेंगे। सिब्बल ने मोदी पर तंज कसते हुए एक शेर भी पढ़ा, 'दोपहर तक सारे बाजार में झूठ बिक चुका था लेकिन हम शाम तक सच की दुकान लगाए बैठे।'
मोदी सरदार पटेल की कांग्रेस द्वारा कथित उपेक्षा के आरोप पर भी घिर रहे हैं। उन्होंने लौहपुरुष सरदार बल्लभभाई पटेल की 138वीं जयंती के दिन गुरुवार को नर्मदा के तट पर केवाडिया में पटेल की सबसे ऊंची प्रतिमा ‘स्टैचू ऑफ यूनिटी’ का शिलान्यास किया। शिलान्यास कार्यक्रम के दौरान मोदी ने आरोप लगाया कि यूपीए ने सरदार पटेल को इस साल तक तो एकदम ही भुला दिया। गुरुवार को केवाडिया में मोदी ने कहा, 'इससे पहले सरदार पटेल की जयंतियों पर अखबारों में विज्ञापन नहीं दिखाई देते थे। आज देशभर के अखबारों में सरदार साहब पर विज्ञापन हैं। यह गुजरात इफेक्ट है।'
हालांकि, इस बयान के बाद मोदी खुद घिरते दिख रहे हैं क्योंकि 1999 से 2004 के बीच केंद्र में रही एनडीए की सरकार ने लगातार दो सालों तक (2001 और 2002 में) पटेल पर कोई विज्ञापन नहीं जारी किया था। वहीं, पिछले चार साल में डीएवीपी ने सरदार पटेल की जयंती पर 8.5 करोड़ रुपए खर्च किए हैं। डीएवीपी के रिकॉर्ड बताते हैं कि 2009-10 में यूपीए ने पटेल के विज्ञापन पर 30 लाख रुपये, 2010-11 में 4.10 करोड़ रुपये, 2011-12 में 2.7 करोड़ और 2012-13 में 1.4 करोड़ रुपये खर्च किए।
मोदी के आरोपों पर केंद्रीय सूचना एवं प्रसारण मंत्री मनीष तिवारी ने आंकड़े जारी किए। उन्होंने कहा, 'बीजेपी के पीएम पद के उम्मीदवार झूठ बोलते हुए तथ्यों को नजरअंदाज कर देते हैं। यूपीए की सरकार ने 2008 में विज्ञापन नहीं दिया था और शायद यह उस साल आई घोर आर्थिक मंदी की वजह से हुआ होगा।

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