अंतरराष्ट्रीय बाजार में नरमी के बीच पहली बार घरेलू प्राकृतिक गैस मूल्य में भी कटौती की जा रही है। एक अप्रैल से घरेलू प्राकृतिक गैस के दाम नौ प्रतिशत घटकर 4.56 डालर प्रति इकाई रह जायेंगे जिससे बिजली एवं उर्वरक क्षेत्र को काफी फायदा होगा।
सरकार ने पिछले साल अक्तूबर में विभिन्न अंतरराष्ट्रीय केंद्रों के औसत मूल्य के आधार पर प्राकृतिक गैस की कीमत सकल क्लेरॉफिक मूल्य (जीसीवी) के आधार पर 5.05 डालर प्रति दस लाख ब्रिटिश थर्मल यूनिट (एमएमबीटीयू) तय की थी। एक शीर्ष पदस्थ सूत्र ने कहा, ‘इसी जीसीवी मूल्य के आधार पर गैस का मूल्य अब एक अप्रैल से 4.56 डालर प्रति एमएमबीटीयू होगा।’ नेट क्लेरोफिक मूल्य (एनसीवी) के आधार पर यह कीमत मौजूदा 5.61 डालर से घटकर 5.01 डालर प्रति एमएमबीटीयू रह जायेगी।
सूत्रों ने कहा, ‘सरकार स्वयं गैस का मूल्य तय अथवा अधिसूचित नहीं करती है। इसके लिये पिछले साल एक फार्मूला अधिसूचित किया गया था। इसी फार्मूले के तहत एक अप्रैल से जीसीवी आधार पर गैस का मूल्य 4.56 डालर प्रति एमएमबीटीयू होगा।’ भारत में प्राकृतिक गैस की कीमत में यह पहली कटौती होगी। प्राकृतिक गैस के दाम में इस कटौती से तेल एवं प्राकृतिक गैस निगम (ओएनजीसी) और रिलायंस इंडस्ट्रीज जैसे गैस उत्पादकों के राजस्व पर असर होगा लेकिन यह बिजली एवं उर्वरक क्षेत्र के उपयोक्ताओं के लिए फायदे का सौदा होगा।
पिछले साल अक्तूबर 2014 में गैस मूल्य तय करने की स्वीकृत प्रणाली के मुताबिक देश में उत्पादित गैस मूल्य की हर छह महीने में समीक्षा होगी। यह दाम अमेरिका के हेनरी हब, ब्रिटेन के नैशनल बैलेंसिंग प्वाइंट, अल्बर्टा (कनाडा) और रूस के केन्द्रों में चल रहे एक तिमाही पहले के गैस मूल्य के औसत मूल्य के आधार पर तय होंगे। इसलिए एक अप्रैल से 30 सितंबर के दाम एक तिमाही पहले की अवधि के जनवरी से दिसंबर 2014 के दौरान रहे अंतरराष्ट्रीय केंद्र के औसत मूल्य पर आधारित होगें।
सूत्रों ने बताया कि पेट्रोलियम मंत्रालय अगले कुछ दिनों में अगले छह महीने के लिए मूल्य की घोषणा कर सकता है। पेट्रोलियम मंत्री धर्मेंद्र प्रधान ने संभावित मूल्य के संबंध में संकेत देने से इनकार किया और कहा ‘यदि कीमत कम हो रही है तो अर्थव्यवस्था के लिए अच्छा है।’ इस बीच, ओएनजीसी अध्यक्ष एवं प्रबंध निदेशक दिनेश के सर्राफ ने कहा कि गैस की कीमत में कमी से कंपनियां पूर्वी अपतटीय और पश्चिमी तट में गैस खोज के विकास में निवेश करने से बचेंगी।
उन्होंने कहा ‘हमें दीर्घकालिक रूख अपनाना चाहिये और मुझे लगता है कि कीमतें निश्चित पर इसमें बाधा नहीं बनेगी और हम गैस विकास में करोड़ों डालर का निवेश जारी रखेंगे।’ मौजूदा 5.61 डालर प्रति एमएमबीटीयू की कीमत एशिया-प्रशांत क्षेत्र में सबसे कम है। चीन उत्खननकर्ताओं को नयी परियोजनाओं के लिए 11.9 डालर प्रति एमएमबीटीयू की कीमत देता है जबकि इंडोनेशिया और फिलिपीन में गैस की कीमत क्रमश: 11 डालर और 10.5 डालर है।
म्यांमार के अपतटीय क्षेत्रों से उत्पादित गैस जिसमें ओएनजीसी और गेल की हिस्सेदारी है, वहां से चीन को 7.72 डालर पर बिक्री हो रही है। थाइलैंड में नयी परियोजनाओं के लिए गैस की कीमत 8.2 डालर प्रति एमएमबीटीयू है। सिर्फ दो ही देश वियतनाम (5.2 डालर) और मलेशिया (पांच डालर) जहां कीमत कम है।
.jpg)
कोई टिप्पणी नहीं:
एक टिप्पणी भेजें