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सर्च इंजन गूगल ने दुनिया भर में मश्हूर भारतीय पेंटर एम.एफ. हुसैन को उनके 100वे जन्मदिन पर श्रद्धांजलि दी है। मकबूल फिदा हुसैन को 'भारतीय पिकासो' के नाम से भी जाना जाता है। एक कलाकार के तौर पर उन्हे सबसे पहले 1940 के दशक में ख्याति मिली। 1952 में उनकी पहली एकल प्रदर्शनी ज़्युरिक में हुई। इसके बाद उनकी कलाकृतियों की अनेक प्रदर्शनियां यूरोप और अमेरिका में हुईं। उनका जन्म 17 सितंबर, 1915 को महाराष्ट्र के पंढरपुर में हुआ।
हुसैन कई बार अपनी पेंटिंग्स को लेकर विवादो में भी रहे है। हुसैन कानूनी मामलों और अपने चित्रों को लेकर उसके खिलाफ मौत की धमकी मिलने के बाद एक श्रृंखला 2006 के बाद से आत्म निर्वासन में रह रहे थे। 2006 में उनकी देवी दुर्गा और सरस्वती के चित्रों के कारण उनके घर पर हमला हुआ था। तब से उन्होंने देश छोड़ दिया था और तभी से लंदन में रह रहे थे। फिर 2008 में भारत माता पर बनाई पेंटिंग्स के खिलाफ दिल्ली हाईकोर्ट में चल रहे मुकदमे पर न्यायाधीश की एक टिप्पणी से उन्हें गहरा सदमा लगा कि, एक पेंटर को इस उम्र में घर में ही रहना चाहिए और उन्होंने इसके खिलाफ सर्वोच्च न्यायालय तक में अपील भी की। हालांकि इसे अस्वीकार कर दिया गया था। एम.एफ. हुसैन को 1991 में पद्म विभूषण मिल चुका हैं।

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