लखनऊ 20 अप्रैल, कांग्रेस के सलाहकार प्रशांत किशोर उत्तर प्रदेश राज्य विधानसभा चुनाव से पहले पार्टी के विभिन्न संगठनों के नेताओं से विचार विमर्श का सिलसिला जारी रखने के लिए कल यहां दो दिवसीय दौरे पर आयेंगे। नेपथ्य से प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी और बिहार के मुख्यमंत्री नितीश कुमार के लिए चुनावी रणनीति तैयार कर चुके श्री किशोर उत्तर प्रदेश में खुलकर कांग्रेस के पक्ष में काम कर रहे हैं। अपनी दो दिवसीय लखनऊ यात्रा के दौरान वह यहां उत्तर प्रदेश कांग्रेस कमेटी के राज्य मुख्यालय में सेवा दल, महिला कांग्रेस, अल्पसंख्यक एवं अनुसूचित जाति-जनजाति, नेशनल स्टूडेन्ट यूनियन और युवक कांग्रेस के नेताओं के साथ सूबे में पार्टी को नवजीवन देने के उपायों पर विचार विमर्श करेंगे।
बैठक में श्री किशोर के अलावा कांग्रेस के उत्तर प्रदेश मामलों के प्रभारी मधु सूदन मिस्त्री, प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष निर्मल खत्री समेत अनेक वरिष्ठ नेता मौजूद होंगे। श्री किशोर को कांग्रेस ने उत्तर प्रदेश के अलावा अगले साल फरवरी में प्रस्तावित राज्य विधान सभा चुनावों में पार्टी की जीत के लिए रणनीति तैयार करने का काम सौंपा गया है। कांग्रेस के रणनीतिकार का दायित्व सौंपे जाने के बाद वह 11 मार्च को पहली बार लखनऊ आये थे। इस दौरान उन्होंने स्पष्ट किया था कि राज्य विधानसभा चुनाव में कांग्रेस का मुख्य मुकाबला भारतीय जनता पार्टी से है। उन्होंने कहा था, “मैं कांग्रेस की सीट संख्या बढाने नहीं बल्कि अगले साल सूबे में कांग्रेस की सरकार बनाने में सहायता करने के लिए आया हूं।”
इस यात्रा के दौरान श्री किशोर ने सूबे के वरिष्ठ नेताओं के विचार सुने थे। बाद में उन्होंने पार्टी के जिला एवं शहर इकाई अध्यक्षों से कहा था कि वे पूरे भरोसे के साथ 2017 में होने वाले राज्य विधानसभा चुनाव की तैयारियों में जुटें ताकि पार्टी उम्मीदवार विजयी हो सकें। उन्होंने इन नेताओं को 12 पृष्ठ का एक फीडबैक फार्म मार्च माह के अंत तक भर कर देने को भी कहा था। इसमें अन्य बातों के अलावा जिला एवं शहर इकाईयों से “उनके क्षेत्र में भाजपा के अच्छे प्रदर्शन की तीन मुख्य वजहों” के बारे में भी जानकारी मांगी गई थी। श्री किशोर ने प्रत्येक विधानसभा क्षेत्र में कम से कम 20 ऐसे कार्यकर्ताओं की पहचान करने को भी कहा था जो अगले छह माह तक बिना शर्त कांग्रेस के लिए काम करने को तैयार थे। लेकिन विडम्बना यह रही कि पार्टी प्रदेश अध्यक्ष की चेतावनी पर तयशुदा तिथि खत्म होने के बाद जिला इकाई अध्यक्षों ने प्रत्येक विधानसभा सीट से समर्पित कार्यकर्ताओं की सूची दाखिल की गई। इस बीच श्री किशोर के इस महीने के अंत में वस्तुस्थिति का जायजा लेने के लिए पूर्वी उत्तर प्रदेश के कुछ जिलों का दौरा करने का भी कार्यक्रम है।

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