नयी दिल्ली 05 मई, गुजरात राज्य पेट्रोलियम निगम (जीएसपीसी) में 20 हजार करोड रुपये के घोटाला होने पर राज्यसभा में चर्चा कराये जाने की मांग पर आज फिर विवाद हुआ। सदन में शून्यकाल शुरू होने पर कांग्रेस के जयराम रमेश ने कहा कि नियंत्रक एवं महालेखा परीक्षक की रिपोर्ट में जीएसपीसी में 20 हजार करोड रुपये के घोटाले का खुलास हुआ है और उन्होंने इस पर चर्चा के लिए पिछले सप्ताह नोटिस दिया था। सत्ता पक्ष के सदस्यों ने अगस्ता वेस्टलैंड हेलीकाप्टर सौदे में रिश्वत एवं भ्रष्टाचार पर चर्चा का नोटिस दिया था जिस पर कल चर्चा हो गयी लेकिन उनके नोटिस पर अब तक विचार नहीं किया गया है।
विपक्ष के नेता गुलाम नबी आजाद ने कहा कि अगस्ता वेस्टलैंड पर चर्चा में कोई दिक्कत नहीं थी तो जीएसपीसी घोटाला पर चर्चा क्यों नहीं की जानी चाहिए। सरकार अपने वादे से मुकर रही है। इस पर संसदीय कार्य राज्य मंत्री मुख्तार अब्बास नकवी ने कहा कि सदन के नेता अरूण जेटली ने पिछले सप्ताह इस मुद्दे पर सरकार का रूख स्पष्ट कर सके हैं और संविधान के नियम के तहत भी किसी विधानसभा में पेश रिपोर्ट पर संसद में चर्चा नहीं करायी जा सकती है। संबंधित विधानसभा की लोक लेखा समिति को इस पर विचार करने का अधिकार है। इसके बावजूद यदि सभापति इस मुद्दे पर चर्चा कराने का निर्णय लेते हैं तो सरकार को इस पर कोई आपत्ति नहीं है। उप सभापति पी जे कुरियन ने कहा कि यह मामला अभी भी सभापति के पास है और इस पर उन्हें ही निर्णय लेना है।

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