बिहार : पदयात्रा - राजगीर बौद्ध स्तूप से पदयात्रा 20 जुलाई से - Live Aaryaavart (लाईव आर्यावर्त)

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बुधवार, 11 जुलाई 2018

बिहार : पदयात्रा - राजगीर बौद्ध स्तूप से पदयात्रा 20 जुलाई से

  • 24 जुलाई को पटना में पहुंचकर सौंपेंगे राज्यपाल को ज्ञापन 

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पटना.साक्षर भारत मिशन की कोर कमिटी की बैठक की गयी. इसमें सर्वसम्मति से निर्णय लिया गया कि  31मार्च 2018 से मानदेय से वंचित कर नौकरी से कार्यमुक्त होने वाले 18104 मिलकर जोरदार पदयात्रा करें. फिलवक्त सीएम नीतीश कुमार का खत का असर  केंद्रीय मानव संसाधन विकास मंत्री पर नहीं पड़ा है. कोर कमिटी की महत्वपूर्ण बैठक में गांधी,विनोबा,जयप्रकाश जी के मार्ग पर चलकर पदयात्रा करने का निर्णय लिया गया. पूर्व में निर्धारित कार्यक्रम में कल्याण बिगहा से शुरू पदयात्रा को  30 किलोमीटर बढ़ाकर राजगीर के बौद्ध स्तूप से प्रारंभ करने का निश्चिय किया गया.राजगीर से पटना की दूरी 85 किलोमीटर है.     पदयात्रा 20 जून को राजगीर से चलकर 24 जून को पटना पहुंचेगी. यहां पहुंचने पर राज्यपाल महोदय को ज्ञापन दिया जाएगा.  बताते चले कि  देश  के  सभी  पंचायत मुख्यालय में साक्षर भारत मिशन 2011 से लागू है. बिहार में साक्षर भारत मिशन लागू है.मानदेय दिये बिना 18104 कर्मियों  को 31मार्च 2018 से नौकरी से बाहर कर दिया गया. सीएम नीतीश कुमार ने 21 जून के बाद केंद्रीय मानव संसाधन विकास मंत्री प्रकाश जावेडकर को खत लिखकर साक्षर भारत मिशन को चलाने और अवरूद्ध मानदेय देने का आग्रह किया है.

इस बात की जानकारी नालंदा जिले के परवलपुर प्रखंड के प्रखंड कार्यक्रम समन्वयक आचार्य सरोज ठाकुर ने कहा कि प्रखंड मुख्यालय के मध्य विघालय में प्रखंड लोक शिक्षा समिति का कार्यालय है.इसी तरह पंचायत में भी लोक शिक्षा केंद्र अवस्थित है. यहां पर दो प्रेरक कार्यरत हैं. उन्होंने कहा कि केंद्रीय मानव संसाधन विकास विभाग राष्ट्रीय साक्षरता मिशन प्राधिकरण द्वारा देश के किसी भी राज्य को समयावधि विस्तार व बंद का पत्र जन शिक्षा निदेशालय को प्राप्त नहीं है.जबकि राज्य साक्षरता मिशन प्राधिकरण जन शिक्षा निदेशालय के निदेशक विनोदा नन्द झा के मनमानी रवैये के कारण 18104 लोगों को 31 मार्च 2018 से बेकार कर दिया गया.इससे राज्य संपोषित महादलित, दलित, अल्पसंख्यक एवं अति पिछड़ा वर्ग के वंचित समुदाय के लोगों के समक्ष भुखमरी का आलम है. इस समय राज्य के 38 मुख्य कार्यक्रम समन्वयक को 7500रू.मानदेय मिलता है.वहीं  38 जिला कार्यक्रम समन्वयक, 38 जिला लेखा समन्वयक और 38 जिला आईटी समन्वयकों को 5500 रु. मानदेय मिलता है.मगर इनको 18 माह से मानदेय नहीं मिला.वहीं 534 प्रखंड कार्यक्रम समन्वयक एवं प्रखंड लेखा समन्वयक को मानदेय 3000 रू. है. इनको 21माह से मानदेय नहीं मिला. 16884 प्रेरकों को 18 माह से मानदेय नहीं मिला.

गौरतलब है कि केंद्र प्रायोजित साक्षर भारत कार्यक्रम में कार्यरत राज्य के 38  जिला मुख्य कार्यक्रम समन्वयक ,38 जिला कार्यक्रम समन्वयक ,38 जिला लेखा समन्वयक,38 जिला आईटी समन्वयक ,534 प्रखंड कार्यक्रम समन्वयक, 534 प्रखंड लेखा समन्वयक, 16884 प्रेरकों की नियुक्ति शिक्षा विभाग के प्रधान सचिव के विज्ञापन संख्या -402 प्रेरकों की नियुक्ति में पचास फीसदी महिलाओं के आरक्षण के साथ-साथ पंचायत शिक्षक नियोजन ईकाई की तर्ज पर रोस्टर बिंदु के अनुरूप संविदा आधारित बहाली की गयी है. प्रदेश में बहाल 16884 प्रेरक असाक्षर को साक्षर बनाते है.इसके अलावे विकासात्मक कार्य से नवसाक्षरों को जोड़ते हैं.रोजगार करने के लिए प्रशिक्षण की व्यवस्था करवाते.वहीं सामाजिक आंदोलनों का नेतृत्व भी करते हैं. सभी को 31 मार्च 2018 से साक्षरता कार्यक्रम से वंचित कर दिया गया.

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