बेगूसराय : अन्नू कुमारी ने मारी बाजी बी पी एस सी के फाइनल में लाई 59वां रेंक। - Live Aaryaavart (लाईव आर्यावर्त)

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शुक्रवार, 28 सितंबर 2018

बेगूसराय : अन्नू कुमारी ने मारी बाजी बी पी एस सी के फाइनल में लाई 59वां रेंक।

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बेगूसराय (अरुण शाण्डिल्य)  बड़ा ही खुशनुमा माहौल बन गया उस घर में जब यह खुशी की ख़बर लेकर आये एम एस कॉलेज के प्रधान लिपिक अनिल कुमार सिंह की उनकी बेटी B P S C की फाइनल परीक्षा में 736 उत्तीर्ण हुए छात्रों में 59वां रेंक लाने बाली कोई और नहीं उनकी बेटी अन्नू है।अन्नू मंझौल (बेगूसराय) की रहने वाली है।अन्नू न कि अपने कुल-ख़ानदान के साथ साथ अपने माता-पिता और गाँव,का ही नाम रौशन नहीं किया बल्कि पूरे जिले का नाम रौशन किया है।अन्नू के रिजल्ट की ख़बर मिलते ही परिवार में तो खुशनुमा माहौल बना ही था साथ ही उनके शुभ चिंतकों,रिश्तेदारों,इष्टमित्रादि का भी फोन पर दूर दराज़ वालों की बधाई भरी शब्दों वाला फोन आना शुरू हो गया।कभी अन्नू के पापा अनिल कुमार सिंह के मोबाइल की गजन्ति बजती तो कभी भाई अनुराग कुमार के मोबाइल की तो कभी अन्नू की माँ सुनीता देवी के मोबाइल की घंटी बजती।हर जगहों से बधाई की फोन आना वाजिब भी है।इसके साथ ही ग्रामीणों का तो जैसे ताँता ही लग गया था घर पर बधाई देने में ग्रामीण भाइयों की भी कमी नहीं सारे लोग बधाई ही बधाई देने में लगे रहे।जब अन्नू के पिता को इसकी सूचना मिली तो उनकी आँखें नम हो गई मारे खुशी के और वे परमपिता परमात्मा से यही प्रार्थना किये की भगवान सभी को ऐसी ही बेरी दें जो देश दुनियाँ में हर वह बेटी नाम करें उच्चपदासीन हों। आपको बता दूँ कि भाई अनुराग के अलावा अन्नू की और भी तीन बहनें हैं,जिसका नाम है संध्या कुमारी, संध्या हिन्दी विषय से ऑनर्स की है,तीसरी बहन शालिनी कुमारी जो अर्थ शास्त्र से एम ए है।तथा छोटी बहन प्रगति कुमारी जो कि बिहार पुलिस में कॉन्स्टेबल पड़ पर बेतिया जिला में कार्यरत है।भाई अनुराग बी टेक करने के बाद इंजीनियर है।पूरे परिवार में ख़ुशी की माहौल बनी हुई है इस बावत अन्नू से उनकी सफालता के श्रेय के भाव में जानकारी प्राप्त करना चाहा तो अन्नू ने बताया कि मैं आज जहां कहीं भी हूँ अपनी सफालता का श्रेय मैं अपने मम्मी और पापा को ही दूँगी और अपने गुरुजनों को जिन्होंने हमें इस काबिल बनाया।अन्नू आगे बताताई हैं कि प्रशासनिक सेवा में जाने के लिये तो मैं बहुत पहले स्व ही दृढ़ निश्चय कर लिया था कि मैं पढ़ लिख कर जब भी कोई नौकरी करुँ तो वो नौकरी हो प्रशासनिक सेवा की। प्रशासनिक सेवा में जाकर मैं अपने देश के निःसहायों और गरीबों की सेवा करुँगी।और आज परमात्मा ने मेरी सुन ली उन्हीं के कृपा से आज मैं प्रशासनिक सेवा के लिये चयनित हुई हूँ।यह वर्ष 2018 मेरे जीवन के लिये एक यादगार वर्ष बनकर रहेगा मेरे जीवन में उम्रभर।मैं अपने देश के उन तमाम भाई बहनों से यह कहना चाहूँगी की मन में घर लगन,विश्वास और धैर्य हो तो इन्सान क्या नहीं कर सकता है।इन्सान जैसा सोचता है वैसा ही करता है तो वह मन वाँछित फल भी अवश्य ही प्राप्त करता है।मंजिलें पाते हैं वही लोग जो विपरीत परिस्थितियों में भी कजलना जानते हैं।मेरे नौजवान भाई और अध्यनरत बहनें खूब मन लगाकर पढ़ाई करें फिर कुछ भी मुश्किल नहीं है।एक पंक्ति मन में आया अन्नू की कामायाबी पर वक्त भी है और मौका भी तो क्यों न फायदा उठाया जाए।

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