जमशेदपुर (प्रमोद कुमार झा) प्रधानमंत्री ऊर्जा गंगा के झारखण्ड में विस्तार में एक और कीर्तिमान बनाते हुए 1 नवंबर 2019 को मुख्यमंत्री, झारखण्ड श्री रघुवर दास, केंद्रीय जनजातीय कार्य मंत्री श्री अर्जुन मुंडा, केंद्रीय पेट्रोलियम और प्राकृतिक गैस तथा इस्पात मंत्री श्री धर्मेन्द्र प्रधान रांची में आशियाना गार्डन सोसायटी, सोनारी में पाइप्ड नेचुरल गैस (पीएनजी) की आपूर्ति तथा प्राइड फ्यूल, मानगो में कम्प्रेस्ड प्राकृतिक गैस (सीएनजी) की आपूर्ति तथा सीएनजी चलित वाहनों का उद्घाटन करेंगे। उद्घाटन कार्यक्रम 1 नवम्बर 2019 को गोपाल मैदन, बिस्टुपुर, जमशेद्पुर में आयोजित किया जाएगा। गेल के कार्यपालक निदेशक (पूर्वी अंचल) श्री के. बी. सिंह ने प्रेस कांफ्रेंस में बताया कि गेल, प्रतिष्ठित जगदीश्पुर – हल्दिया बोकारो धाम्रा तथा बरौनी-गुवाहाटी पाइपलाइन, जिसे प्रधान मंत्री उर्जा गंगा के नाम से जाना जाता है, के साथ ही रांची और जमशेदपुर में शहर गैस वितरण (सीजीडी) परियोजनाओं का कार्यान्वयन कर रहा है । प्राकृतिक गैस अपनी उपलब्धता, स्वच्छता, प्रगतिशीलता की वजह से उपभोक्ताओं, समाज तथा राष्ट्र के लिये ‘खुशियों का ईंधन’ है । यह अन्य जीवश्म ईंधनों की तुलना में अधिक हरित तथा दक्ष है और अन्य जीवश्म ईंधनों पर निर्भरता कम करता है। प्रारंभ में “कैसकेड” नामक विशेष कंटेनर्स में पटना, बिहार से सड़क मार्ग द्वारा प्राकृतिक गैस जमशेदापुर लाया जाएगा । इसके पश्चात्, प्राकृतिक गैस की आपूर्ति प्रधान मंत्री उर्जा गंगा - जगदीशपुर - हल्दिया एवं बोकारो - धामरा प्राकृतिक गैस पाइपलाइन (जेएचबीडीपीएल) से पुरुलिया- जमशेदपुर स्परलाइन के माध्यम से की जाएगी । उद्घाटन समारोह के दौरान, पुरुलिया से जमशेदपुर तक 125 किलोमीटर लंबी पाइपलाइन बिछाने का काम भी शुरू होगा। यह स्परलाइन पूर्वी सिंहभूम, पश्चिमी सिंहभूम और सरायकेला-खरसावां के भौगोलिक क्षेत्रों के सीजीडी नेटवर्क को आपूर्ति करेगी। ऑटोमोबाइल उद्योग के साथ-साथ कई रोलिंग-स्टील, तार और पाइप उद्योग भी किफायती और निरंतर उपलब्धता वाले ईंधन से लाभान्वित होंगे ।
तीन ऑटो निर्माताओं ने सीएनजी ऑटो वाहनों की आपूर्ति के लिए सहमति दी है । ऑटो रिक्शा मालिकों तथा ड्राइवरों के लिए सीएनजी उपयोग में निर्बाध पारगमन हेतु जागरुकता कार्यक्रम भी आयोजित किए जा रहे हैं । आने वाले वर्ष में 11 सीएनजी स्टेशनों से 1 लाख से अधिक सीएनजी वाहनों को आपूर्ति हो सकेगी। जमशेदपुर शहरी गैस वितरण (सीजीडी) परियोजना का कुल क्षेत्रफल लगभग 3562 वर्ग किलोमीटर है। इस सीजीडी परियोजना के तहत 1 लाख से अधिक घरों को लाभान्वित किया जाएगा। 125 वाणिज्यिक कनेक्शन, 85 औद्योगिक कनेक्शन और कई सीएनजी वाहन भी लाभान्वित होंगे। यह जमशेदपुर में और उसके आसपास गैस आधारित उद्योग स्थापित करने की संभावनाओं को बढ़ाने में मदद करेगा, युवाओं के लिए रोजगार के अवसर बढ़ाएगा और झारखंड राज्य के राजस्व की वृदधि में योगदान देगा। पारंपरिक ईंधन की तुलना में सीएनजी पर्यावरण अनुकूल ईंधनों में से एक है क्योंकि इसमें सल्फर या लेड जैसी अशुद्धियाँ नहीं हैं । यह सुरक्षित है क्योंकि यह हवा से हल्का है और रिसाव के मामले में ऊपर उठता है । इसके अलावा, उच्च प्रज्वलन तापमान के कारण इसके प्रज्वलित होने की संभावना नहीं है । यह पारंपरिक ईंधनों की तुलना में किफायती भी है । सीएनजी की आपूर्ति का प्रारंभ माननीय प्रधान मंत्री श्री नरेंद्र मोदी के गैस आधारित अर्थव्यवस्था को विकसित करने और पूर्वी भारत को देश के प्राकृतिक गैस ग्रिड से जोड़ने के सपने को पूरा करने में एक महत्वपूर्ण कदम है, जो प्रधान मंत्री ऊर्जा गंगा के माध्यम से पांच राज्यों अर्थात् उत्तर प्रदेश, बिहार, झारखंड, ओडिशा और पश्चिम बंगाल से होकर गुज़रेगी । इस परियोजना की 551 कि.मी. की पाइपलाइन झारखंड में बिछाई जाएगी । इस पाइपलाइन से पूर्वी भारत का औद्योगिक विकास होगा ।
आगामी वर्षों में, गेल द्वारा 1.25 लाख से अधिक वाहनों में सीएनजी आपूर्ति और 2.43 लाख घरों में पाइप्ड नेचुरल गैस (पीएनजी) की आपूर्ति के लिए झारखंड (रांची और जमशेदपुर) में 22 सीएनजी स्टेशन कमीशन किए जाएंगे । रांची और जमशेदपुर में सीजीडी परियोजनाओं को प्रधान मंत्री उर्जा गंगा पाइपलाइन के समानांतर लिया जा रहा है । झारखंड में, रु.4,366 करोड़ के अनुमानित निवेश से प्राकृतिक गैस पाइपलाइन का निर्माण किया जाएगा तथा इसकी लंबाई लगभग 551 किलोमीटर होगी जिसमें 12 जिले अर्थात् चतरा, गिरिडीह, हज़ारीबाग, बोकारो, रामगढ़, धनबाद, सरायकेला, रांची, खुंटी, गुमला, सिमडेगा और पूर्वी सिंहभूम शामिल हैं । रांची और जमशेदपुर सीजीडी परियोजनाओं के लिए कुल पूंजी व्यय रु.1,500 करोड़ होगा जिसमें से रु.450 करोड़ अगले तीन से पांच वर्षों में व्यय किए जाएंगे । 450 करोड रुपए में से लगभग रु. 221 करोड जमशेदपुर में व्यय किए जाएंगे । जेएचबीडीपीएल पूर्वी भारत में उद्योगों को बढ़ावा देगी और गोरखपुर (उत्तर प्रदेश), बरौनी (बिहार), सिंदरी (झारखंड) और तलचर (ओडिशा) में उर्वरक संयंत्रों के पुनरोद्धार के लिए प्राकृतिक गैस की आपूर्ति करेगी । इन उर्वरक संयंत्रों के पुनरोद्धार के परिणामस्वरूप 75 लाख टन की अतिरिक्त वार्षिक उत्पादन क्षमता पैदा होगी, जिससे भारत वार्षिक घरेलू मांग को पूरा करने में आत्मनिर्भर हो जाएगा । गेल (इंडिया) लिमिटेड भारत की सर्वोत्कृष्ट एकीकृत प्राकृतिक गैस कंपनी है जिसकी प्राकृतिक गैस संचरण में 75% से अधिक की बाजार हिस्सेदारी है । 12,400 किलोमीटर से अधिक प्राकृतिक गैस नेटवर्क के साथ, गेल भारत में विद्युत, उर्वरक, औद्योगिक, मोटर वाहन और यहां तक कि घरेलू उपभोक्ताओं जैसे क्षेत्रों में ईंधन की आवश्यकताओं की आपूर्ति करता है। प्राकृतिक गैस संचरण, वितरण और प्रसंस्करण के अलावा, कंपनी में पेट्रोकेमिकल, एलपीजी संचरण, शहर गैस परियोजनाओं और अन्वेषण एवं उत्पादन गतिविधियों में व्यावसायिक हितों के विविध हित हैं । कंपनी 5 वर्षों के अंदर अपने वर्तमान नेटवर्क को 21,400 किमी तक विस्तारित करने के लिए प्रतिबद्ध है ।
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