नयी दिल्ली, तीन दिसंबर, दिल्ली के जवाहरलाल नेहरू विश्वविद्यालय में छात्रावास शुल्क में बढ़ोतरी के खिलाफ विरोध प्रदर्शन मंगलवार को विश्वविद्यालय परिसर में स्थित भारतीय जनसंचार संस्थान (आईआईएमसी) में भी फैल गया। आईआईएमसी में छात्रों ने महंगी फीस के खिलाफ प्रदर्शन किया और दावा किया कि आईआईएमसी प्रशासन ने उनके मुद्दों पर “आंख बंद” कर ली है। छात्रों ने बताया कि उनका प्रदर्शन भारी शिक्षण शुल्क और “असंगत” छात्रवास तथा भोजनालय शुल्क के खिलाफ है। उन्होंने कहा कि चूंकि आईआईएमसी एक सरकारी संस्थान है, इसे देखते हुए यह शुल्क बहुत अधिक है। आईआईएमसी में अंग्रेजी पत्रकारिता की छात्र आस्था सव्यसाची ने कहा कि दस महीने के पाठ्यक्रम के लिए 1,68,500 रुपये देने पड़ते हैं, जबकि छात्रवास तथा भोजनालय का शुल्क अलग है। उन्होंने कहा कि गरीब और मध्य वर्ग के छात्र इतनी फीस का भार नहीं उठा सकते हैं। उन्होंने कहा कि इसके चलते कई छात्रों को पहले सेमेस्टर के बाद संस्थान छोड़ना पड़ता है। एक छात्र ने बताया कि रेडियो और टीवी पत्रकारिता के डिप्लोमा पाठ्यक्रम की फीस 1,68,500 रुपये है, जबकि विज्ञापन तथा जनसंपर्क के लिए यह फीस 1,31,500 रुपये है, हिंदी पत्रकारिता के लिए यह फीस 95,500 रुपये, अंग्रेजी पत्रकारिता के लिए यह फीस 95,500 रुपये और उर्दू पत्रकारिता के लिए 55,500 रुपये है। छात्रावास और भोजनालय का शुल्क महिलाओं के लिए लगभग 6,500 रुपये प्रति माह और पुरुषों के लिए 4,800 रुपये प्रति माह है। उन्होंने यह शिकायत भी की कि प्रत्येक छात्र को छात्रावास में जगह नहीं मिलती है। इससे पहले जेएनयू में छात्रावास शुल्क में बढ़ोतरी के विरोध में भारी प्रदर्शन हुआ।
मंगलवार, 3 दिसंबर 2019
जेएनयू की आंच आईआईएमसी तक पहुंची, छात्रों ने शुल्क बढ़ोतरी का विरोध किया
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