विदिशा (मध्यप्रदेश) की खबर 01 फ़रवरी - Live Aaryaavart (लाईव आर्यावर्त)

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शनिवार, 1 फ़रवरी 2020

विदिशा (मध्यप्रदेश) की खबर 01 फ़रवरी

सुधारात्मक कार्यो हेतु प्रशिक्षण तीन को

vidisha news
नीति आयोग द्वारा विदिशा को आकांक्षी जिले की श्रेणी में शामिल किया गया है। नीति आयोग के मापदण्डो के अनुरूप क्रियानिव्त गतिविधियों एवं उनके सुधारात्मक कार्य हेतु एक दिवसीय प्रशिक्षण तीन फरवरी को आयोजित किया गया है। उक्त प्रशिक्षण जिला पंचायत के सभागार कक्ष में प्रातः 11 बजे से शुरू होगा। जिला पंचायत सीईओ श्री मयंक अग्रवाल ने बताया कि विकासपीडिया, सीडेक हैदराबाद के दीपक रतनानी के द्वारा प्रशिक्षित किया जाएगा। उक्त प्रशिक्षण में 18 विभागों के अलावा सर्पोट पार्टनर अर्थात एनजीओ जिनके द्वारा नीति आयोग के कार्यो के क्रियान्वयन में मदद की जा रही है। उन सभी को उक्त प्रशिक्षण में उपस्थित होने के निर्देश प्रसारित किए गए है। 

विज्ञान ज्योति कार्यक्रम के संचालन हेतु चयन

जवाहर नवोदय विद्यालय के प्राचार्य श्री बीडी रामटेके ने बताया कि शमशाबाद नवोदय विद्यालय हेतु भारत सरकार के विज्ञान एवं प्राद्योगिकी मंत्रालय द्वारा विज्ञान ज्योति कार्यक्रम संचालन के लिए चयनित किया गया है। उक्त कार्यक्रम का मुख्य उद्वेश्य ग्रामीण क्षेत्रों में अध्ययनरत छात्रों को गणित, विज्ञान, प्रौद्योगिकी एवं आईटीआई में शिक्षा के लिए प्रोत्साहित करना है ताकि विद्यार्थीगण उच्च शिक्षा के क्षेत्र में शोध कार्य के लिए प्रेरित हो सकें।  विज्ञान ज्योति कार्यक्रम के तहत प्रथम चरण में 31 जनवरी को कार्यक्रम का आायोजन किया गया था जिसमें विदिशा जिले के केन्द्रीय विद्यालय की बीस, नवोदय विद्यालय से दस एवं शमशाबाद कन्या उच्चतर माध्यमिक विद्यालय से बीस छात्राओं का चयन किया गया है। इन छात्रों को शोध कार्य एवं विज्ञान की शिक्षा में रूचि बढ़ाने हेतु प्रतिमाह एक हजार रूपए की छात्रवृत्ति प्रदान की जाएगी एवं एक हजार रूपए मॉडल बनाने के लिए भत्ते के रूप में प्रदाय किए जाएंगे। प्राचार्य श्री बीडी रामटेके ने बताया कि यह कार्यक्रम भारत सरकार के विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी मंत्रालय द्वारा एक वर्ष के लिए परियोजना स्वीकृत की गई है जिसमें बारह लाख रूपए छात्रवृत्ति वितरण के लिए आवंटित किए गए है। इस विद्यालय को मौलाना आजाद राष्ट्रीय प्रौद्योगिकी संस्थान (मेरिट) भोपाल के प्राध्यापकों द्वारा छात्राओं को मार्गदर्शन दिया जाएगा। साथ ही दस दिवस का कैंप भोपाल में आयोजित कर छात्राओं को शोध कार्य की विशेषताओें से अवगत कराया जाएगा एवं चयनित छात्राओं को उनके मार्गदर्शन एवं शोध कार्य के अनुसार अग्रिम शिक्षा हेतु छात्रवृत्ति देकर छात्राओं को प्रोत्साहित किए जाने का प्रावधान है ताकि छात्राओं की इंजीनियरिंग एवं आईआईटी में सहभागिता को बढ़ावा दिया जा सकें। इस प्रकार जवाहर नवोदय विद्यालय, शमशाबाद को मध्यप्रदेश में विज्ञान के क्षेत्र में ज्ञान के केन्द्र के रूप में विकसित करने का निर्णय नवोदय विद्यालय समिति द्वारा लिया गया है। जिसका फायदा ग्रामीण प्रतिभावान छात्राओं को दिया जाएगा। इस कार्यक्रम के संयोजक डॉ सुभाष सेठ, डॉ रूथ जेम्स है। इस कार्यशाला में उप प्राचार्य एके राजे गणित के शिक्षक एके पाठक भी उपस्थित रहें। केन्द्रीय विद्यालय से आयी 20 छात्राओं में से कैप्टन कुमारी हिया नगायचें ने अपने उद्बोधन में कहा कि यह मेरे सौभाग्य की बात है कि मुझे विज्ञान ज्योति कार्यक्रम में शोध कार्य के लिए चयनित किया गया है। मैं इस कार्यशाला से बहुत अधिक प्रभावित हू और मैं अपनी ओर से अच्छा प्रदर्शन करूगीं। इस क्रम में नवोदय की छात्रा कुमारी श्वेता अहिरवार ने भी कार्यक्रम मेंं उपस्थित होने के लिए सभी छात्राओं को प्रेरित किया और कहा कि विज्ञान के क्षेत्र में नए-नए आविष्कार हो रहे है और हमें कुछ नया सोचकर नए आविष्कार करने में अपना योगदान प्रदान करना है और छात्राओं को हर क्षेत्र में अपना बराबर प्रतिनिधित्व करना है। 

451 कृषकों के आवेदन जमा किए

जय किसान फसल ऋण माफी योजना के अंतर्गत गुलाबी फार्म एक आवेदन जमा करने से वंचित रहे किसानों को शासन द्वारा पुनः आवेदन करने का अवसर प्रदाय किया था। जिसकी अंतिम तिथि 31 जनवरी तक जिले के 451 किसानों के द्वारा आवेदन जमा किए गए है। प्राप्त आवेदनों को जनपद स्तर पर ऑन लाइन के माध्यम से पोर्टल पर पंजीयन करने का कार्य एक फरवरी से शुरू हो गया है। जिसकी अंतिम तिथि दस फरवरी है। कृषि विभाग के उप संचालक श्री जेएस चौहान ने विकासखण्डवार प्राप्त हुए आवेदनों की जानकारी प्रदाय की है। तदानुसार विदिशा विकासखण्ड में 36, बासौदा में 84, ग्यारसपुर में 56, सिरोंज में 12, कुरवाई में 19, नटेरन में 43, लटेरी में सर्वाधिक 196 तथा विदिशा नगरपालिका क्षेत्र में पांच किसानो के द्वारा आवेदन जमा कराए गए है।

इन्द्रधनुष टीकाकरण अभियान का तृतीय चरण 3 फरवरी से

बच्चों तथा गर्भवती महिलाओं का पूर्ण टीकाकरण करना शासन की सर्वोच्च प्राथमिकता में से एक है। राष्ट्रीय सघन मिशन इन्द्रधनुष 2. टीकाकरण अभियान चलाया जा रहा है, जिसके अन्तर्गत 0 से 5 वर्ष तक के बच्चों एवं गर्भवती माताओं का हेडकाउण्ट सर्वे उपरान्त चिन्हित कर उनका शत-प्रतिशत पूर्ण टीकाकरण किया जायेगा। उक्त अभियान का तृतीय चरण 3 फरवरी से प्रारंभ होगा, जिसमें सात कार्यदिवस टीकाकरण किया जायेगा। अभियान के प्रति आमजन को जागरूक करने के उद्देश्य से गीत नाटक आदि कार्यक्रमों का आयोजन भी किया जा रहा है। 

अति कुपोषित बच्चों के लिये अभियान

महिला-बाल विकास विभाग द्वारा अति गंभीर कुपोषित बच्चों के लिये समुदाय आधारित प्रबंधन अभियान चलाया जायेगा। अति गंभीर कुपोषित बच्चों के समुदाय आधारित प्रबंधन सीएसएएम अभियान के अंतर्गत स्वास्थ्य विभाग के सहयोग से अति गंभीर कुपोषित बच्चों की आवश्यक जाँच कर उन्हें दवाएँ प्रदाय की जायेंगी। आँगनवाड़ी कार्यकर्ताओं द्वारा 5 दिवसीय केन्द्र आधारित देखभाल की जायेगी। अभियान के अंतर्गत अति कुपोषित बच्चों का 12 सप्ताह तक समुदाय स्तर पर प्रबंधन किया जायेगा। अगले 3 माह तक गृह भेंट कर फॉलोअप किया जायेगा। प्रति सप्ताह केन्द्र में उपलब्ध अतिरिक्त पोषण-आहार का उपयोग कर बच्चों को दो बार अतिरिक्त आहार अपने समक्ष माताओं के सहयोग से खिलाया जायेगा। बच्चों की जानकारी बाल पोषण प्रगति-पत्रक में दर्ज की जायेगी। 

कमिश्नर के सभी कलेक्टर्स को निर्देश सीबीएसई और आईसीएसई विद्यालयों में यूनिफार्म और पाठ्य पुस्तकों की सूची प्रदर्शित होगी

कमिश्नर श्रीमती कल्पना श्रीवास्तव ने सभी कलेक्टर्स को निर्देश दिए हैं कि अपने जिले के सीबीएसई और आईसीएसई से संबद्ध विद्यालयों की पाठ्य पुस्तकों, यूनिफार्म आदि की जानकारी विद्यालय के सूचना पटल और वेबसाइट पर प्रदर्शित कराएं। उन्होंने 15 फरवरी तक बैठक आयोजित कर न्यायालयों के निर्णय और बोर्ड के मापदंड अनुसार कार्यवाही सुनिश्चित करने तथा उल्लंघन करने वालों की मान्यता समाप्त कराने सहित अन्य वैधानिक कार्यवाही करने के निर्देश दिए हैं। कमिश्नर श्रीमती श्रीवास्तव ने संभाग के सभी जिला कलेक्टर्स को निर्देश दिए हैं कि नवीन शैक्षणिक सत्र प्रारम्भ होने पर प्रायः सी.बी.एस.ई.ध्आई सी एस.ई. विद्यालयों के सम्बन्ध  में पाठ्यपुस्तक, युनिफार्म, नोट बुक, बैग इत्यादि के सम्बन्ध में शिकायतें प्राप्त होती है। इसलिए  शैक्षणिक सत्र 2020-21 हेतु इन विद्यालयों के लिए सी.बी.एस.ई.ध्आई.सी.एस.ई. बोर्ड के मापदण्ड एवं न्यायालय द्वारा प्रदत्त अद्यतन निर्णयों का पालन करते हुये पाठ्यपुस्तकों की सूची संयुक्त संचालक लोक शिक्षण,भोपाल संभाग द्वारा निर्धारित दिनांक तक अनिवार्यतः विद्यालय के सूचना पटल पर प्रदर्शित करें एवं विद्यालय के पोर्टल पर अपलोड करेंगे। इन निर्देशों का कड़ाई से पालन सुनिश्चित करवाया जाये। उन्होंने कहा है कि कोई भी विद्यालय अपने प्रागंण से अथवा दुकान विशेष से विद्यालय की पाठ्य पुस्तकें, युनिफार्म एवं अन्य सामग्री का वितरणध्विक्रय नहीं करवायेगा। इस सम्बन्ध में शिकायत प्राप्त होने पर सम्बन्धित विद्यालय के विरूद्ध मान्यता रामाप्ति, एम0ओ0सी0 वापस लेने का प्रस्ताव संबंधित संयुक्त संचालक लोक शिक्षण एवं लोक शिक्षण संचालनालय को भेजते हुये उक्त विद्यालय की सम्बद्धता समाप्ति का प्रस्ताव सी.बी.एस.ई. को भेजेंगे। श्रीमती श्रीवास्तव ने निर्देश में कहा है कि विद्यालय के छात्रध्छात्राओं द्वारा उपयोग की जाने वाली नोट बुक स्टेण्डर्ड साईज की होनी चाहिए, कोई भी विद्यालय किसी दुकान विशेष एवं व्यक्ति विशेष को लाभ देने के लिये नोटबुक के साईज में बिना किसी उचित कारण के परिवर्तन नहीं करायेगा। किसी भी नोटबुक, युनिफार्म, टाई ,बेल्ट, ब्लेजर आदि में विद्यालय के प्रचार-प्रसार हेतु मोनो व चिन्ह नहीं होना चाहिये। किसी विशेष ब्रॉण्ड अथवा साईज की नोटबुक क्रय करने हेतु छात्रध्छात्राओं को बाध्य नहीं किया जायेगा। उन्होंने यह सुनिश्चित करने के लिए कहा है कि विद्यालय के छात्रध्छात्राओं हेतु युनिफार्म का नमूना विद्यालय के शैक्षणिक सत्र 2020-21 प्रारंभ होने के कम से कम एक माह पूर्व अवश्य प्रदर्शित किया जाये ताकि छात्रध्छात्राएं अपनी आवश्यकतानुसार युनिफार्म उचित मूल्य पर अपनी सुविधानुसार क्रय कर सकें। किसी भी स्थिति में विद्यालय द्वारा किसी निर्धारित स्थल अथवा दुकान से यूनिफार्म क्रय करने के लिये छात्रध्छात्राओं को न तो किसी प्रकार की समझाईश दी जायेगी ओर न ही उनको बाध्य  किया जायेगा। इसी प्रकार अन्य सामग्री पर्याप्त प्रतिस्पर्धा के साथ विद्यार्थियों के पास क्रय करने के अवसर रहना चाहिये, जहाँ से वे अपनी आवश्यकतानुसार सामग्री कय कर सके। कमिश्नर ने उपरोक्त निर्देशों का कड़ाई से पालन किये जाने और आवश्यकतानुसार जिला शिक्षा अधिकारी, संकुल प्राचार्यों के दल गठित करके विद्यालयों का निरीक्षण करवाते हुये पालन सुनिश्चित  करने तथा शिकायत प्राप्त होने पर शीघ्र कड़ी कार्यवाही करने के निर्देश दिए हैं। 

नेशनल लोक अदालत 8 फरवरी को बिजली चोरी एवं अनियमितताओं के प्रकरण के होंगे समझौते

म.प्र. मध्य क्षेत्र विद्युत वितरण कंपनी के कार्य क्षेत्र के भोपाल, नर्मदापुर, ग्वालियर एवं चंबल संभाग के 16 जिलों में 08 फरवरी (शनिवार) को लगायी जाने वाली नेशनल लोक अदालत में बिजली चोरी एवं अनियमितताओं के प्रकरण को समझौते के माध्यम से निराकृत किया जाएगा। कंपनी द्वारा विद्युत उपभोक्ताओं एवं उपयोगकर्ताओं से अपील की गई है कि वे अप्रिय कानूनी कार्यवाही से बचने के लिए अदालत में समझौता करने के लिए संबंधित बिजली कार्यालय से संपर्क करें। मध्य क्षेत्र विद्युत वितरण कंपनी द्वारा विद्युत अधिनियम 2003 की धारा 135, 138 तथा 126 के तहत दर्ज बिजली चोरी एवं अनियमितताओं के प्रकरणों में लोक अदालत में समझौता शर्तां का मसौदा जारी कर दिया गया है।  कंपनी द्वारा निर्णय लिया गया है कि धारा 135 व 138 के न्यायालयों में लंबित प्रकरण एवं जो प्रकरण न्यायालय में दर्ज नहीं हो सके हैं तथा धारा 126 के अंतर्गत बनाये गये ऐसे प्रकरण जिनमें उपभोक्ताओं द्वारा अपीलीय कमेटी के समक्ष आपत्तिध्अपील प्रस्तुत नहीं की गई है, की प्रीलिटिगेशन के माध्यम से निराकरण के लिये निम्नदाब श्रेणी के समस्त घरेलू, समस्त कृषि, 5 किलोवॉट तक के गैर घरेलू एवं 10 अश्व शक्ति भार तक के औद्योगिक उपभोक्ताओं को छूट दी जाएगी। प्रिलिटिगेशन स्तर पर - कंपनी द्वारा आंकलित सिविल दायित्व की राशि पर 40 प्रतिशत एवं आंकलित राशि के भुगतान में चूक किये जाने पर निर्धारण आदेश जारी होने की तिथि 30 दिवस की अवधि समाप्त होने के पश्चात् छः माही चक्रवृद्धि दर अनुसार 16 प्रतिशत प्रतिवर्ष की दर से लगने वाले ब्याज की राशि पर 100 प्रतिशत की छूट दी जाएगी।  न्यायालयीन लंबित प्रकरणों में - कंपनी द्वारा आंकलित सिविल दायित्व की राशि पर 25 प्रतिशत एवं आंकलित राशि के भुगतान में चूक किये जाने पर निर्धारण आदेश जारी होने की तिथि से 30 दिवस की अवधि समाप्त होने के पश्चात् प्रत्येक छःमाही चक्रवृद्धि दर अनुसार 16 प्रतिशत प्रतिवर्ष की दर से लगने वाले ब्याज की राशि पर 100 प्रतिशत छूट दी जाएगी।
कंपनी ने कहा है कि लोक अदालत में छूट कुछ नियम एवं शर्तों के तहत दी जाएगी।
 ऽ आवेदक को निर्धारित छूट के उपरांत शेष बिल आंकलित सिविल दायित्व एवं ब्याज की राशि का एकमुश्त भुगतान करना होगा।
उपभोक्ताध्उपयोगकर्ता को विचाराधीन प्रकरण वाले परिसर एवं अन्य परिसरों पर उसके नाम पर किसी अन्य संयोजनध्संयोजनों के विरूद्ध विद्युत देयकों की बकाया राशि का पूर्ण भुगतान भी करना होगा।
आवेदक के नाम पर कोई वैध कनेक्शन न होने की स्थिति में छूट का लाभ प्राप्त करने हेतु आवेदक द्वारा वैध कनेक्शन प्राप्त करना एवं पूर्व में विच्छेदित कनेक्शनों के विरूद्ध बकाया राशि (यदि कोई हो) का पूर्ण भुगतान किया जाना अनिवार्य होगा।
नेशनल लोक अदालत में छूट आवेदक द्वारा विद्युत चोरीध्अनाधिकृत उपयोग पहली बार किये जाने की स्थिति में ही दी जाएगी। विद्युत चोरीध्अनाधिकृत उपयोग के प्रकरणों में पूर्व की लोक अदालतध्अदालतों में छूट प्राप्त किये उपभोक्ताध्उपयोगकर्ता छूट के पात्र नहीं होंगे।
सामान्य बिजली बिलों में जुड़ी बकाया राशि पर कोई छूट नहीं दी जाएगी। 
यह छूट मात्र नेशनल ‘‘लोक अदालत‘‘ 08 फरवरी 2020 को समझौते करने के लिये ही लागू रहेगी।

17 फरवरी से चलेगा सक्रिय टीबी रोगी खोज अभियान

प्रदेश में 17 फरवरी से 3 मार्च तक सक्रिय टीबी रोग खोज अभियान संचालित किया जाएगा। छूटे हुए  टीबी रोगियों की पहचान के लिए गांव के पंच एवं सरपंचों का सहयोग लिया जाएगा। टीबी के मरीज जो 6 वर्ष से छोटे है ऐसे बच्चों की जांच की व्यवस्था सिविल अस्पताल तथा जिला चिकित्सालय में शिशु रोग विषेषज्ञ द्वारा की जाएगी। एनजीओ की सहायता भी सक्रिय टीबी खोज अभियान में ली जाएगी जिससे खोज को एक जन अभियान बनाया जा सकें। 

मध्यप्रदेश दुकान एवं स्थापना अधिनियम में संशोधन 

श्रम विभाग द्वारा मध्यप्रदेश दुकान एवं स्थापना अधिनियम 1958 के नियम 4 एवं 5 के स्थान पर नये नियम बनाये गये हैं। अब धारा 6 की उपधारा (3) के अधीन दिया गया रजिस्ट्रीकरण प्रमाण-पत्र नियोक्ता द्वारा यथा अधिसूचित बंद किये जाने की तारीख तक विधिमान्य रहेगा। धारा 6 की उपधारा (2) के अधीन रजिस्ट्रीकरण प्रमाण-पत्र के लिए तीन कर्मचारियों तक की स्थापनाओं के लिए 200 रूपये और तीन से अधिक कर्मचारियों वाली समस्त स्थापनाओं के लिए 250 रूपये रजिस्ट्रेशन फीस निर्धारित की गयी है। सभी नियोजक जिन्होंने 15 फरवरी 2014 के पहले रजिस्ट्रीकरण प्रमाण-पत्र प्राप्त कर लिये हैं, इन नियमों में संशोधन के बाद, अनिवार्य रूप से प्रमाण-पत्र प्राप्त करेंगे। रजिस्ट्रीकरण या नवीनीकरण के स्थान पर केवल रजिस्ट्रीकरण शब्द का ही उपयोग किया जायेगा। 

रबी फसलों हेतु किसान पंजीयन आज से शुरू

जिला आपूर्ति अधिकारी ने बताया कि रबी विपणन वर्ष 2020-21 अन्तर्गत किसान पंजीयन आज एक फरवरी से शुरू हुआ है जिसकी अंतिम तिथि 28 फरवरी है।  उक्त अवधि में प्रातः दस बजे से सायं छह बजे तक शासकीय दिवसों में पंजीयन कार्य किया जाएगा। इसके लिए जिले में 58 पंजीयन केन्द्र बनाए गए है। कृषकों को अधिक सशक्त करने, संस्थाओं, डाटा एंट्री ऑपरेटर पर निर्भरता तथा पंजीयन केन्द्रों पर कार्य के दबाव को कम करने के लिए भू-स्वामी पंजीयन एमपी किसान एप्प, ई-उपार्जन मोबाईल एप्प, पब्लिक डोमेन में ई-उपार्जन पर एवं निर्धारित उपार्जन केन्द्रों पर करा सकते हैं। सिकमी कृषक एवं वन पट्टाधारी का पंजीयन मात्र पंजीयन केन्द्र पर ही हो सकेगा। रबी उपार्जन के लिए कृषकों को पंजीयन कराना आवश्यक है, जिससे किसान पंजीयन पर्ची के आधार पर उपार्जन किया जा सके। पंजीयन के समय कृषक को मूलभूत जानकारी में नाम, समग्र आईडी नंबर, आधार नंबर, बैंक खाता, बैंक का आईएफएससी कोड, मोबाईल नंबर संबंधित दस्तावेज तथा विक्रय तिथियों के तीन विकल्प देने होंगे। वन पट्टाधारी एवं सिकमी काश्तकार को पंजीयन के समय दस्तावेजों के साथ-साथ अनुबंध या पट्टे की प्रति उपलब्ध करानी होगी।

शिक्षक पात्रता परीक्षा के आवेदन की तिथि अब 4 फरवरी

निःशुल्क एवं अनिवार्य शिक्षा का अधिकार अधिनियम 2009 अंतर्गत शिक्षक पात्रता परीक्षा का आयोजन किया जाना है। इसके लिए समस्त जिलों में बीएड व डीएड योग्यताधारक अभ्यर्थियों के लिए स्कूल शिक्षा विभाग के अंतर्गत प्राथमिक शिक्षक पात्रता परीक्षा मप्र प्रोफेशनल एग्जामिनेशन बोर्ड द्वारा  आयोजन किया जा रहा है। पात्रता परीक्षा में आवेदन करने के लिए अंतिम तिथि में वृद्धि की गई है। अब पात्र अभ्यर्थी 4 फरवरी तक आवेदन कर सकते है। क्रमांक 

17 बिन्दूओ के मैन्युअल की जानकारी वेबसाइट पर अद्यतन करे

उप सचिव सामान्य प्रषासन विभाग श्री धरणेन्द्र कुमार जैन ने समस्त विभाग अध्यक्ष राजस्व मण्डल विभागीय कलेक्टर एवं कार्यपालन अधिकारी जिला पंचायत को निर्देषित किया है कि वे सूचना का अधिकार अधिनियम 2005 की धारा 04 के अधीन लोक प्राधिकारी के दायित्वो का 17 बिनदुओं की मैन्यूअल की वेबसाइड अपडेट नही है या साइड नही खुल रही है  अथवा वेबसाइड ही नही है तो सूचना का अधिकार अधिनियम 2005 की धारा 04 के अधीन लोक प्राधिकारी के दायित्वो का 17 बिन्दुओ के मैन्यूअल की जानकारी वेबसाइड पर तत्काल अद्यतन कर कड़ाई से पालन करे। क्रमांक 

आदिवासी आवासीय विद्यालयों में प्रवेश की अंतिम तारीख 5 फरवरी

देश के आदिवासी अंचलों में आदिम-जाति कल्याण विभाग द्वारा संचालित 123 आवासीय विद्यालयों में प्रवेश की अंतिम तारीख को 29 जनवरी से बढ़ाकर 5 फरवरी कर दिया गया है। इन विद्यालयों में प्रवेश के इच्छुक विद्यार्थियों को विभागीय वेबसाइट https:www-tribal-mp-gov-in-mptaas पर ऑनलाइन आवेदन करना होगा। ज्ञातव्य है कि आदिवासी आवासीय विद्यालय मध्यप्रदेश स्पेशल एण्ड रेसिडेंसियल एकेडमिक सोसायटी द्वारा संचालित किये जा रहे हैं।

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