रुपये के सिंबल ने चौपट कर दी देश की अर्थनीति - Live Aaryaavart (लाईव आर्यावर्त)

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बुधवार, 27 मई 2020

रुपये के सिंबल ने चौपट कर दी देश की अर्थनीति

एक दशक पूर्व की गई वास्तु विशेषज्ञ की भविष्यवाणी सत्य प्रमाणित
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गुवाहाटी ,  'प्रधानमंत्री नरेन्द्र द्वारा देश की अर्थव्यवस्था को सुधारने के लिए 20 लाख करोड़ के पैकेज की घोषणा से ही देश की आर्थिक हालत सुधरने वाली नहीं है, बल्कि देश की अर्थनीति के प्रतीक रुपये के सिंबल को भी वास्तु दोष मुक्त करना होगा।' वास्तु के जरिये लोगों को सुख, शांति, समृद्धि का जीवन प्रदान करने की मुहिम में जुटे रि-बिल्ड नॉर्थ ईस्ट के अध्यक्ष तथा विशिष्ट वास्तु विशेषज्ञ गुवाहाटी निवासी राजकुमार झाँझरी ने प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी से देश की अर्थनीति को सुदृढ़ करने के लिए रुपये के सिंबल का वास्तु दोष दुरुस्त करने की सलाह दी है। स्मरणीय है कि श्री झाँझरी ने तत्कालीन प्रधानमंत्री डॉ. मनमोहन सिंह को 2011 में पत्र लिखकर आगाह किया था कि रुपये के सिंबल में भयंकर वास्तु दोष है, जो रुपये में गिरावट के साथ ही देश की अर्थनीति के लिए भी घातक सिद्ध होगा। लेकिन मनमोहन सरकार ने मामले की गंभीरता को नहीं समझा और आज देश की अर्थनीति का बंटाधार करते हुए जीडीपी 9 से गिरकर शून्य तथा रुपया डॉलर के मुकाबले 44 से 76 तक गिर चुका है। प्रधानमंत्री बनने के बाद नरेन्द्र मोदी को भी कामरुप जिला उपायुक्त के जरिये श्री झाँझरी ने इस बावत पत्र लिखा था, लेकिन उन्होंने भी मामले का संज्ञान नहीं लिया, जिसका परिणाम आज देश की चौपट अर्थव्यवस्था के रूप में हमारे सामने है। उल्लेखनीय है कि श्री झाँझरी ने अरुणाचल के तत्कालीन मुख्यमंत्री नबाम टुकी को मुख्यमंत्री के सरकारी आवास का वास्तु दोष दूर करने की सलाह दी थी, लेकिन उन्होंने वास्तु की अनदेखी की, जिसके परिणाम स्वरूप 6 महीनों के अंतराल में ही उनकी सरकार के गिरने के साथ ही उस बंगले में रहने वाले तीन मुख्यमंत्रियों की अकाल मौत हो गई तथा वर्तमान मुख्यमंत्री पेमा खाण्डू ने ऐसी किसी अनहोनी से बचने के लिए उक्त सरकारी बंगले में रहने के बजाय उसे गेस्ट हाऊस बना दिया है। श्री झाँझरी का कहना है कि पूरी तरह वास्तु के विपरीत गृह निर्माण की वजह से पूर्वोत्तर क्षेत्र सदियों से युद्ध, उग्रवाद, आर्थिक बदहाली व पिछड़ेपन का शिकार रहा है। इसलिए श्री झाँझरी विगत 25 सालों से क्षेत्र के लोगों के घर-घर जाकर वास्तु के नियमानुसार गृह निर्माण की नि:शुल्क सलाह दे रहे हैं। वे अब तक पूर्वोत्तर के सातों राज्यों के 16,000 परिवारों को नि:शुल्क वास्तु सलाह दे चुके हैं और जिन परिवारों ने वास्तु के अनुसार अपने घरों में सुधार किया है, वे आज सुख, शांति, समृद्धि की जीवन जी रहे हैं। श्री झाँझरी का दावा है कि देश की अर्थनीति को बचाना है तो सरकार को रुपये के सिंबल में तत्काल संशोधन कर उसका वास्तु दोष दूर करना चाहिए।

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