बिहार : पक्के का पुल नहीं रहने के कारण दूधवाला कहलाते हैं दियारावासी : रीतलाल - Live Aaryaavart (लाईव आर्यावर्त)

Breaking

विजयी विश्व तिरंगा प्यारा , झंडा ऊँचा रहे हमारा। देश की आज़ादी के 75 वर्ष पूरे होने पर सभी देशवासियों को अनेकानेक शुभकामनाएं व बधाई। 'लाइव आर्यावर्त' परिवार आज़ादी के उन तमाम वीर शहीदों और सेनानियों को कृतज्ञता पूर्ण श्रद्धासुमन अर्पित करते हुए नमन करता है। आइए , मिल कर एक समृद्ध भारत के निर्माण में अपनी भूमिका निभाएं। भारत माता की जय। जय हिन्द।

बुधवार, 2 सितंबर 2020

बिहार : पक्के का पुल नहीं रहने के कारण दूधवाला कहलाते हैं दियारावासी : रीतलाल

ritlal-in-danapur
पटना,02 सितम्बर, बिहार विधानसभा -2020 का चुनाव होने वाला है. रीतलाल यादव भाजपा नेता सत्यनारायण सिन्हा हत्याकांड मामले में भी आरोपित हैं, जिसका ट्रायल चल रहा है।दानापुर विधानसभा की विधायक आशा सिन्हा के पति सत्यनारायण सिन्हा हैं. रीतलाल यादव भाजपा नेता सत्यनारायण सिन्हा हत्याकांड मामले में भी आरोपित हैं, जिसका ट्रायल चल रहा है. 2015 में बिहार विधानसभा के पार्षद का चुनाव  बेउर जेल में बंद रहकर निर्दलीय उम्मीदवार रीतलाल यादव ने पटना सीट से जीत दर्ज की. एमएलसी रीतलाल यादव शनिवार को बेऊर जेल से शाम छह बजे जमानत पर बरी किये गए. मालूम हो कि पटना हाईकोर्ट ने पिछले दिनों ईडी के चल रहे मनी लांड्रिंग मामले में तय सजा से अधिक दिनों तक न्यायिक हिरासत के तहत जेल में रहने पर आरोपित रीतलाल यादव को जमानत पर मुक्त करने आदेश जारी किया था.इसी आदेश के आलोक में पटना के एमपीएमएलए कोर्ट के विशेष न्यायाधीश सत्येन्द्र पाडेय ने जेल में बंद रीतलाल यादव को जमानत पर मुक्त करने का आदेश जारी किया.

एमएलसी रीतलाल यादव कहते हैं कि मनी लांड्रिंग में तीन साल से सात साल तक ट्रायल पर रखने का प्रावधान है.जमानत भी दी जाती है.एमएलसी कहते हैं कि मुझे सात साल तीन माह ट्रायल पर रखा गया हैं जो एक रिकॉड है.इस बीच में 15 दिनों के लिए बेटी की शादी में शामिल होने के लिए हाईकोर्ट ने पैरोल पर जाने की अनुमति दी थी.25 जनवरी 2020 को बेटी की शादी में शामिल होने के लिए जेल मुक्त हुए और फिर 10 फरवरी को कोर्ट में सरेंडर किया था. आगे रीतलाल कहते हैं कि दस वर्ष से लगातार न्यायिक हिरासत में बेऊर जेल के गोदावरी खंड में बंद थे. उनपर कई आपराधिक मामले कोर्ट में लंबित चल रहे हैं और कई आपराधिक मामले में अभियोजन पक्ष उनके आरोप साबित करने में असफल रहा है.कोर्ट ने उन्हें अपराध के आरोप से बरी कर दिया है. कोर्ट में लंबित अन्य आपराधिक मामलों में वे जमानत पर हैं. ईडी ने वर्ष 2012 में रीतलाल यादव पर मनी लांड्रिंग का केस दर्ज किया था. यह एमपीएमएल के विशेष कोर्ट में लंबित चल रहा है.इस मामले में ईडी कोर्ट के समक्ष अपना सभी गवाह पेश कर चुका है.बचाव पक्ष रीतलाल यादव अपना गवाह पेश कर रहे हैं. कोरोना संक्रमण के चलते कोर्ट में न्यायिक कार्य पिछले 5 माह से बंद है, जिससे इस केस की सुनवाई बंद है. इस मामले में तय सजा सात वर्ष से अधिक दिनों से आरोपित रीतलाल यादव न्यायिक हिरासत में थे.पटना हाईकोर्ट ने इसी आधार पर जेल से जमानत पर मुक्त करने का आदेश दिया था.

 दानापुर विस परिणाम 2010 में विजयी आशा सिन्हा - भाजपा - 59,425 के बाद रीतलाल राय - निर्दलीय- 41,506 द्वितीय स्थान पर रहे.रीतलाल यादव 4 सितंबर 2010 को पुलिस ने गिरफ्तार किया था. उसके बाद रीतलाल यादव लगातार बेऊर जेल में बंद थे. इस बीच ईडी ने वर्ष 2012 में रीतलाल यादव पर मनी लांड्रिंग का केस दर्ज किया था. 2015 में बिहार विधानसभा के पार्षद का चुनाव  बेउर जेल में बंद रहकर निर्दलीय उम्मीदवार रीतलाल यादव ने पटना सीट से जीत दर्ज की. एमएलसी रीतलाल यादव कहते हैं कि दानापुर विधानसभा 2010 चुनाव में 41,506 मत लाकर द्वितीय स्थान पर रहा. इस चुनाव में राष्ट्रीय व क्षेत्रीय पार्टी मजबूती से चुनाव में डटी थी.इससे प्रोत्साहित होकर 2015 में बेउर जेल में रहकर विधान परिषद का चुनाव लड़ा.इस बार सफलता मिली.वह विधान पार्षद का समय नवम्बर माह के पांच-छह माह के बाद समाप्त होने वाला है.दानापुर की जनता की मांग और आवाज है कि दानापुर विधानसभा 2020 का चुनाव लड़ू.उनकी मांग को शिरोधार्य करके चुनाव मैदान में उतरेंगे.राजद के राष्ट्रीय अध्यक्ष लालू प्रसाद यादव अभिभावक हैं,जैसे मेरे पिता रामाशीष राय हैं.दोनों अभिभावकों की इच्छा होने पर राजद से चुनाव लड़ेंगे.हालांकि यह निश्चित है कि दानापुर से निर्दलीय प्रत्याशी चुनाव लड़ना है.अगर अन्य दल ऑफर देते हैं तो उस पर विचार किया जा सकता है.डोर ऑपन है.



उन्होंने कहा कि दानापुर में दियारा और ऊपरवाल क्षेत्र है.दोनों जगहों की अलग-अलग समस्या है. दियारा की समस्याओं  में पक्के पुल का निर्माण, दियारा की जमीन का सर्वे करने, कटाव को रोकने के लिए ठोस कदम उठाने की है. पक्के का पुल नहीं रहने के कारण दियारावासी दूधवाला और सब्जीवाला कहलाते हैं.केवल पक्के का पुल नहीं रहने के कारण व्यवसायी नहीं कहला सक रहे हैं.चुनाव जीतने के बाद सबसे पहले पक्के का पुल निर्माण करवाना है. उन्होंने कहा कि ऊपरवाल में रहने वाले जलभराव से परेशान हैं.मुख्यमंत्री के सात निश्चय योजना से और दानापुर नगर परिषद के सहयोग से नाली और सड़क बनवाएंगे.एमएलए फंड का पूरी राशि व्यय करेंगे.दोनों जगहों के बच्चों के लिए शिक्षा की व्यवस्था करवाएंगे.

कोई टिप्पणी नहीं: