आप’ की सरकार बनने पर पुरानी पेंशन बहाल करेंगे : केजरीवाल - Live Aaryaavart (लाईव आर्यावर्त)

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मंगलवार, 20 सितंबर 2022

आप’ की सरकार बनने पर पुरानी पेंशन बहाल करेंगे : केजरीवाल

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नयी दिल्ली, 20 सितंबर, आम आदमी पार्टी (आप) के राष्ट्रीय संयोजक एवं दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने कहा कि ‘आप’ की सरकार बनने पर पंजाब की तरह गुजरात में भी पुरानी पेंशन स्कीम बहाल की जाएगी। श्री केजरीवाल ने आज बड़ोदरा में संवाददाता सम्मेलन में कहा कि पिछले कई दिनों से गुजरात के सरकारी कर्मचारी प्रदर्शन कर रहे हैं। जिस तरह से कलेक्टेरियेट का घेराव किया गया और इतनी बड़ी संख्या में सरकारी कर्मचारी सड़कों पर हैं इससे साफ है कि सभी सरकारी कर्मचारी बहुत दुखी और गुस्से में हैं। ऐसा पहली बार देखा गया है। सरकारी कर्मचारियों की मुख्य मांग पुरानी पेंशन को बहाल करने की है। उन्होंने कहा , “ मैं सभी सरकारी कर्मचारियों को आश्वासन और गारंटी देता हूं कि आप की सरकार बनेगी, तो गुजरात के अंदर हम पुरानी पेंशन स्कीम को लागू करेंगे। कल ही पंजाब में आम आदमी पार्टी की सरकार ने पुरानी पेंशन को लागू करने का ऐलान किया है। जैसे हमारी सरकार पंजाब में पुरानी पेंशन को लागू करने जा रही है, वैसे ही गुजरात में भी हम पुरानी पेंशन को लागू करेंगे। मेरी सभी सरकारी कर्मचारियों से अपील है कि आप अपना संघर्ष जारी रखें। अगर मौजूदा सरकार पुरानी पेंशन को लागू कर देती है, तो कर दे और अगर नहीं करती है, तो दो महीने के बाद जब गुजरात में सरकार बदलेगी और आम आदमी पार्टी की सरकार बनेगी, तो हम इसको लागू करेंगे।” उन्होंने कहा कि किसी भी राज्य के अंदर चुनाव जिताने या हराने में वहां के सरकारी कर्मचारी बहुत बड़ी भूमिका निभाते हैं। उनसे हम निवेदन हैं कि ये सरकार भ्रष्टाचारी है, सारे गलत काम करती है और जन विरोधी है। इस सरकार को सत्ता में रहते 27 साल हो गए हैं और अब इनके अंदर अहंकार आ गया है। एक बार इनको हटाना बहुत जरूरी है। गुजरात के सभी लोग मिलकर इनको हटाने की तैयारी करें और अगले दो महीने तक इसी दिशा में काम करें। अगर छुट्टी लेनी पड़े, तो छुट्टी भी लें और इस सरकार को हटाएं। श्री केजरीवाल ने कहा “ गुजरात में एक बात बहुत ही दिलचस्प देखने को मिल रही है कि ये दोनों पार्टियां हमारे खिलाफ इकट्ठी हो गई हैं और मुझे खूब गालियां देती हैं कि केजरीवाल झूठा है, आतंकवादी है। दोनों ही पार्टियों की भाषा और शब्द भी एक ही है। मेरा कसूर क्या है? मैं गुजरात के लोगों की महंगाई दूर करने की बात कहता हूं। मैंने गुजरात के लोगों की बिजली मुफ्त करने को कहा, तो ये दोनों पार्टियां मिलकर मुझको गाली देती हैं। ये दोनों पार्टियां नहीं चाहती हैं कि गुजरात के लोगों की बिजली मुफ्त हो। मैंने कहा कि गुजरात के सरकारी स्कूल दिल्ली की तरह बहुत शानदार कर देंगे। तो दोनों पार्टियां मिलकर मेरे उपर हमला करती हैं।” बड़ोदरा में टाउन हॉल मीटिंग में शिक्षकों और अभिभावकों से शिक्षा पर संवाद करते हुए ‘‘आप’’ के श्री केजरीवाल ने कहा कि दो महीने बाद गुजरात में चुनाव होने वाले हैं और एक राजनीतिक दल लोगों के साथ बैठ कर चर्चा कर रही है कि हम शिक्षा कैसे सुधारेंगे। उन्होंने कहा “ मैं समझता हूं कि आजाद भारत के 75 साल में आज तक कभी ऐसा नहीं हुआ होगा कि चुनाव के पहले कोई राजनीतिक दल आकर जनता के साथ यह चर्चा करे कि स्कूल कैसे सुधारेंगे और और बच्चो का भविष्य कैसे बनाएंगे। अभी तो एक-दूसरे को गाली देने का मौका है। हम लोग इन सारी चीजों से अलग हैं। हमें राजनीति करनी नहीं आती। गाली-गलौंज, राजनीति उनके जिम्मे, मेरे को स्कूल बनाने आते हैं, मुझसे स्कूल बनवा लो। मैं आपके बच्चों को रोजगार दे सकता है। अगर आपके बच्चों को रोजगार चाहिए तो मुझे बुला लो और राजनीति चाहिए तो उनको बुला लो। देश में पहली बार इस तरह का माहौल देखने को मिल रहा है कि किसानों, अभिभावकों, शिक्षकों के साथ संवाद हो रहा है।” ‘‘आप’’ के राष्ट्रीय संयोजक ने कहा कि पिछले 7-8 साल में दिल्ली में हमने बहुत काम किए, लेकिन एक काम जिसको करने से मुझे सबसे अधिक संतुष्टि मिलती है, वह शिक्षा है। सबसे बड़ा पुण्य काम हम लोगों ने यह किया है कि दिल्ली में हमने बच्चों के सरकारी स्कूल ठीक कर दिए और उनका भविष्य बना दिया। इससे हमें संतुष्टि होती है। जब हम मरेंगे, तो लगेगा कि हमारी जिंदगी इस पृथ्वी के उपर कुछ काम आई। जब दिल्ली में हमारी सरकार बनी, तब वहां भी गुजरात जैसे ही सरकारी स्कूलों की हालत थी। सरकारी स्कूलों की बहुत बुरी हालत थी। उसमें पढाई नहीं होती थी, शिक्षक नहीं आते थे और बच्चे फेल होते थे। गरीब आदमी मजबूरी में सरकारी स्कूल में अपने बच्चे को भेजता था। प्राइवेट स्कूल वालों ने मनमाना फीस बढ़ाकर लूट मचा रखी थी। सात साल के बाद दिल्ली में हमने सरकारी स्कूलों को बहुत शानदार बना दिया है। लेकिन दिल्ली में एमसीडी के भी स्कूल हैं, जो भाजपा के पास है और उनकी हालत बहुत खराब है।

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