वन भूमि से बेजा कब्जा खाली करे वनविभाग - Live Aaryaavart (लाईव आर्यावर्त)

Breaking

प्रबिसि नगर कीजै सब काजा । हृदय राखि कौशलपुर राजा।। -- मंगल भवन अमंगल हारी। द्रवहु सुदसरथ अजिर बिहारी ।। -- सब नर करहिं परस्पर प्रीति । चलहिं स्वधर्म निरत श्रुतिनीति ।। -- तेहि अवसर सुनि शिव धनु भंगा । आयउ भृगुकुल कमल पतंगा।। -- राजिव नयन धरैधनु सायक । भगत विपत्ति भंजनु सुखदायक।। -- अनुचित बहुत कहेउं अग्याता । छमहु क्षमा मंदिर दोउ भ्राता।। -- हरि अनन्त हरि कथा अनन्ता। कहहि सुनहि बहुविधि सब संता। -- साधक नाम जपहिं लय लाएं। होहिं सिद्ध अनिमादिक पाएं।। -- अतिथि पूज्य प्रियतम पुरारि के । कामद धन दारिद्र दवारिके।।

शुक्रवार, 3 मार्च 2023

वन भूमि से बेजा कब्जा खाली करे वनविभाग

  • जंगल बचाने के लिए आदिवासी को वन अधिकार दे सरकार 

Jungle-satyagrah
धमतरी। जंगल सत्याग्रह के 100 वर्ष पूरे होने के अवसर पर गत्तासिली में  पूरे प्रदेश से आए आदिवासियों ने वन भूमि पर अपने आजा- पुरखों के समय से चले आ रहें अधिकारों की मांग के लिए हुक्कर भरी। सत्याग्रह के दूसरे दिन राजनांदगांव के आदिवासी कार्यकर्ता मोहम्मद खान ने कहा कि जंगल आदिवासियों की हैं जिस पर अंग्रेजों के द्वारा बनाए गए वनविभाग ने बेजा कब्जा कर रखा हैं उससे तुरंत वनविभाग खाली करें। जंगल सत्याग्रह के समर्थन में आए आसाम के आदिवासी सांसद नव कुमार सरनया ने भाजपा और कांग्रेस की नीतियों को आड़े हाथों लेते हुए कहा कि ये आदिवासी हितों के लिए काम नही कर रहे है इसलिए अब की बार आदिवासी सरकार की बात करने होगी।  हरियाणा प्रदेश से आए सामाजिक कार्यकर्ता श्री राकेश तवर ने सत्याग्रह के प्रति अपना समर्थन देते हुए कहा कि देश में यदि जंगल बचाना है तो उसका अधिकार आदिवासियों को मिलना चाहिए। राष्ट्रीय किसान मजदूर महासंघ के जम्मू कश्मीर के प्रदेश अध्यक्ष तनवीर अहमद डार ने कहा कि परियावर्ण सुरक्षा के लिए आदिवासियों को वनाधिकार दिया जाना जरूरी है। जगरनाथ भाई ओडिसा के काला हांडी से आए हुए ने कहा कि बिना जंगल के आदिवासी नही रह सकता और बिना आदिवासी के जंगल सुरक्षित नहीं रह सकता । सत्याग्रह में आज हुई जन सभा को कांता मराठे और श्री राम गुलाम सिन्हा, गरियाबंद के सहदेव, सरगुजा की शांति देवी, कोरिया के गोरे लाल, कोरबा के बृज लाल पण्डो, सर्व आदिवासी समाज धमतरी के बिनोद नागवंशी, लोकेश्वरी वत्तू, कवर्धा के सीकरी बैगा इत्यादि ने संबोधित किया। सत्याग्रह के तीसरे दिन घोषणा पत्र के साथ मांग पत्र जारी किया जाएगा । जिस पर सरकार से अविलंब कार्यवाही की मांग की जा रही हैं। आज सभा की शुरुआत एकता परिषद जन संगठन के जय जगत गीत तथा छत्तीसगढ के राजकीय गीत आर पैरी के धार से प्ररम्भा हुआ । सभा का संचालन श्री प्रशांत और अखिलेश जी ने किया। सत्याग्रह के आयोजन में अरुण भाई, रमेश यदु, बिरोहीन, निर्मला, ज्ञानधार शास्त्री, शिवनारायण नेताम, मीना वर्मा, नूरानी जैन, अम्बिका, मंगलू भाई, सीताराम सोनवानी इत्यादि लोगों ने महत्वपूर्ण भूमिका निभा रहे हैं। 

कोई टिप्पणी नहीं: