सलमान रुश्दी के बाद कट्टरपंथी तत्वों ने विवादास्पद लेखिका तस्लीमा नसरीन को निशाना बनाया है। कोलकाता पुस्तक मेले में तस्लीमा नसरीन की किताब की रिलीज को रोक दिया गया है।
लेखिका तसलीमा नसरीन ने ट्वीट करके बताया, 'कोलकाता पुस्तक मेले में उनकी किताब की रिलीज को रद्द कर दिया गया है क्योंकि कुछ धार्मिक कट्टरपंथी नहीं चाहते थे कि मेरी किताब रिलीज हो। प्रगतिशील लेखकों के शहर कोलकाता में भी मेरी अनुपस्थिति में भी किताब को रिलीज नहीं होने दिया गया। सभी राजनीतिक पार्टियां, सभी संस्थाएं कट्टरपंथियों से डरती हैं। लेकिन कब तक डरती रहेंगी? उन्होंने मुझे लेखक के तौर पर प्रतिबंधित कर दिया है, उन्हें इस बात से भी फर्क नहीं पड़ता कि मेरी किताब में क्या लिखा है।'
तस्लीमा नसरीन की किताब कि रिलीज रद्द होने पर राजनीति भी शुरू हो गई है। इस मुद्दे पर कांग्रेस के महासचिव दिग्विजय सिंह ने लखनऊ में कहा, 'इस बारे में कांग्रेस की नीति बिलकुल स्पष्ट है। हम किसी भी व्यक्ति को किताब के जरिए ऐसी बातें कहने की इजाजत नहीं दे सकते जो देश में रह रहे किसी भी समुदाय की भावनाओं को भड़काए।'
लेखिका तसलीमा नसरीन ने ट्वीट करके बताया, 'कोलकाता पुस्तक मेले में उनकी किताब की रिलीज को रद्द कर दिया गया है क्योंकि कुछ धार्मिक कट्टरपंथी नहीं चाहते थे कि मेरी किताब रिलीज हो। प्रगतिशील लेखकों के शहर कोलकाता में भी मेरी अनुपस्थिति में भी किताब को रिलीज नहीं होने दिया गया। सभी राजनीतिक पार्टियां, सभी संस्थाएं कट्टरपंथियों से डरती हैं। लेकिन कब तक डरती रहेंगी? उन्होंने मुझे लेखक के तौर पर प्रतिबंधित कर दिया है, उन्हें इस बात से भी फर्क नहीं पड़ता कि मेरी किताब में क्या लिखा है।'
तस्लीमा नसरीन की किताब कि रिलीज रद्द होने पर राजनीति भी शुरू हो गई है। इस मुद्दे पर कांग्रेस के महासचिव दिग्विजय सिंह ने लखनऊ में कहा, 'इस बारे में कांग्रेस की नीति बिलकुल स्पष्ट है। हम किसी भी व्यक्ति को किताब के जरिए ऐसी बातें कहने की इजाजत नहीं दे सकते जो देश में रह रहे किसी भी समुदाय की भावनाओं को भड़काए।'
कोई टिप्पणी नहीं:
एक टिप्पणी भेजें