वहीदा रहमान को शताब्दी फिल्म पुरस्कार के साथ आईएफएफआई का शुभारंभ. - Live Aaryaavart (लाईव आर्यावर्त)

Breaking

प्रबिसि नगर कीजै सब काजा । हृदय राखि कौशलपुर राजा।। -- मंगल भवन अमंगल हारी। द्रवहु सुदसरथ अजिर बिहारी ।। -- सब नर करहिं परस्पर प्रीति । चलहिं स्वधर्म निरत श्रुतिनीति ।। -- तेहि अवसर सुनि शिव धनु भंगा । आयउ भृगुकुल कमल पतंगा।। -- राजिव नयन धरैधनु सायक । भगत विपत्ति भंजनु सुखदायक।। -- अनुचित बहुत कहेउं अग्याता । छमहु क्षमा मंदिर दोउ भ्राता।। -- हरि अनन्त हरि कथा अनन्ता। कहहि सुनहि बहुविधि सब संता। -- साधक नाम जपहिं लय लाएं। होहिं सिद्ध अनिमादिक पाएं।। -- अतिथि पूज्य प्रियतम पुरारि के । कामद धन दारिद्र दवारिके।।


गुरुवार, 21 नवंबर 2013

वहीदा रहमान को शताब्दी फिल्म पुरस्कार के साथ आईएफएफआई का शुभारंभ.

हिन्दी सिनेमा में अपने जमाने की मशहूर अदाकारा वहीदा रहमान को शताब्दी फिल्म पुरस्कार से नवाजने के साथ ही 20 नवम्बर को दस दिवसीय भारतीय अंतरराष्ट्रीय फिल्म महोत्सव (आईएफएफआई) का शुभारंभ हुआ। अमेरिकी अभिनेत्री सुसन सरन्डॉन की मौजूदगी से महोत्सव में थोड़ा ग्लैमर भी आया। महोत्सव के पहले दिन ऑस्कर पुरस्कार विजेता चेक फिल्म-निर्माता जिरि मेंजेल को प्रतिष्ठित लाइफटाईम एचीवमेंट पुरस्कार से नवाजा गया। उन्हें यह पुरस्कार केन्द्रीय सूचना एवं प्रसारण मंत्री मनीष तिवारी ने प्रदान किया।

समारोह में मौजूद सभी अतिथियों और अन्य लोगों ने वहीदा रहमान और जिरि मेंजेल के सम्मान में खड़े होकर तालियां बजायी। उद्घाटन समारोह में अभिनेत्री रेखा, गायिका आशा भोसले, तमिल सुपरस्टार कमल हासन, अभिनेत्री रानी मुखर्जी, शोले के निर्देशक रमेश सिप्पी के अलावा नयी पीढ़ी की हुमा कुरैशी और आलिया भट्ट भी मौजूद थीं।

कथक नर्तक बिरजू महाराज की विशेष कोरियोग्राफी के माध्यम से भारतीय सिनेमा के 100 वर्ष की यात्रा दर्शन के साथ सांस्कृतिक कार्यक्रम का शुभारंभ हुआ। बिरजू महाराज के ट्रूप ने हिन्दी सिनेमा के सुनहरे दौर से लेकर आज तक के गीतों, मोहे पनघट पर, ठारे रहियो से लेकर दिल तो पागल है और ढाई शाम रोक लई तक पर प्रस्तुति दी ।  बाद में महाराज ने स्वयं सितारवादक उस्ताद निशात खान के साथ सुन्दर जुगलबंदी की ।

कोई टिप्पणी नहीं: