गोवा के मुख्यमंत्री मनोहर पार्रिकर ने महिला पत्रकार के यौन उत्पीड़न के आरोपों में घिरे तहलका के संपादक तरुण तेजपाल पर प्रहार करते हुए कहा कि सहमति से यौन संबंध बनाने का दावा सही नहीं हो सकता। दक्षिण गोवा में कल शाम एक कार्यक्रम को संबोधित करते हुए पार्रिकर ने कहा कि किसी ने मुझसे कहा कि यह व्यक्ति (तरुण तेजपाल) कह रहा है कि वह सहमति से हुआ था। मुझे आश्चर्य है कि चार मिनटों के भीतर उन्होंने क्या किया होगा और वह भी एक लिफ्ट के भीतर। उन्होंने कहा कि तेजपाल ने छह महीने के लिए पद से हटकर इस घटना की पुष्टि कर दी है।
मुख्यमंत्री ने कहा कि खुद को छह महीनों के लिए पद से हटाकर इस व्यक्ति ने अपने अपराध को स्वीकार किया है। यह दुखद है कि यह व्यक्ति संन्यास लेकर छह महीनों के बाद वापस आना चाहता है। गोवा पुलिस ने इस मामले में तेजपाल के खिलाफ बलात्कार और शीलभंग की प्राथमिकी दर्ज कर रखी है। राज्य पुलिस के एक दल ने तहलका की प्रबंध संपादक शोमा चौधरी और कुछ अन्य गवाहों का बयान भी लिया है, जिनसे इस कथित पीड़िता ने बात की थी। पार्रिकर ने कहा कि पुलिस ने अमानवीय आचरण वाले तेजपाल के खिलाफ प्राथमिकी दर्ज कर अपना कर्तव्य निभाया है।
मुख्यमंत्री ने कहा कि उन्होंने जो किया, वह अमानवीय था। पार्रिकर ने कहा कि यह घटना देश में घटते शैक्षिक मूल्यों का एक संकेत है। इसके साथ ही उन्होंने कहा कि इस घटनाक्रम से कोई भी यह कल्पना कर सकता है कि अपनी बेटियों को किसी खेल या अन्य आयोजनों के लिए पुरुष शिक्षकों के साथ भेजते समय उनके माता पिता के मन में क्या चलता होगा।
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