मोदी और पुतिन की बात शुरू, कई समझौतों की उम्मीद - Live Aaryaavart (लाईव आर्यावर्त)

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गुरुवार, 11 दिसंबर 2014

मोदी और पुतिन की बात शुरू, कई समझौतों की उम्मीद

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रूसी राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन और प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की हैदराबाद में बातचीत हो रही है। दोनों नेताओं की मुलाकात के बाद इस बातचीत में दोनों पक्षों के प्रतिनिधिमंडल भी शामिल होंगे। इससे पहले पुतिन के नई दिल्ली पहुंचने पर मोदी ने ट्वीट के जरिए गर्मजोशी से उनका स्वागत किया है। दोनों नेताओं के अजेंडे में द्विपक्षीय संबधों को नई ऊंचाइयों पर ले जाने के साथ ही न्यूक्लियर एनर्जी और रक्षा के क्षेत्र में समझौता टॉप है। बातचीत से पहले प्रधानमंत्री ने पहले रूसी भाषा और फिर अंग्रेजी में ट्वीट किया, 'राष्ट्रपति पुतिन का भारत में स्वागत करते हुए प्रसन्नता हो रही है। समय बदल गया है, लेकिन हमारी मित्रता में कोई बदलाव नहीं आया है। अब हम इस संबंध को अगले स्तर पर ले जाना चाहते हैं और यह यात्रा उस दिशा में एक कदम है।'

पेट्रोलियम मंत्री धर्मेंद्र प्रधान सहित अन्य विशिष्ट लोगों ने बुधवार रात पुतिन का नई दिल्ली पहुंचने पर स्वागत किया। हैदराबाद हाउस में जारी बातचीत में दोनों पक्षों के बीच 15 से 20 समझौतों पर हस्ताक्षर होने की उम्मीद है। मुश्किल में घिरी अपनी इकॉनमी को संभालने के लिए पुतिन भारत के साथ सोवियत संघ के जमाने जैसा प्रगाढ़ संबंध चाहते हैं। दोनों देशों के बीच द्विपक्षीय व्यापार 10 अरब डॉलर का है, जो रूस-चीन के व्यापार के मुकाबले उसका नौवां हिस्सा है। मोदी और पुतिन की मुलाकात के बाद प्रतिनिधिमंडल स्तर की वार्ता होगी।

दोनों तरफ के अधिकारियों ने बताया कि राष्ट्र प्रमुखों की मुलाकात के बाद विजन डॉक्युमेंट पर हस्ताक्षर होगा, जिसमें लंबे समय के लिए सहयोग का रोडमैप होगा। रणनीतिक समझौते के तहत तेल निकालने और सप्लाई, रूस की सरकारी कंपनी ले भारत को हीरों की सीधी बिक्री और इंफ्रास्ट्रक्चर के क्षेत्र में करार होने की उम्मीद है। रक्षा के क्षेत्र में दोनों क्षेत्र काफी समय से लंबित प्रॉजेक्ट्स को आगे बढ़ाने पर बात कर सकते हैं। इनमें पांचवीं पीढ़ी के फाइटर जेट और कई काम में आने वाले ट्रांसपोर्ट एयरक्राफ्ट को मिलकर बनाने के समझौते शामिल हैं। 

सबसे महत्वाकांक्षी समझौता न्यूक्लियर एनर्जी के क्षेत्र में होने की उम्मीद है। पुतिन भारत में रूसी सहायता से 25 न्यूक्लियर रिऐक्टर लगाने पर जोर दे रहे हैं। रूस की सहायता से तैयार कुडानकुलम पावर स्टेशन में 1,000 मेगावाट का रिऐक्टर पहले से काम कर रहा है। 2015 में दूसरा रिऐक्टर भी काम करने लगेगा। राजनयिक सूत्रों ने कहा कि दोनों देशों के बीच आज की बातचीत में 3-4 रिऐक्टरों का समझौता हो सकता है।

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