नरकटियागंज (बिहार) की खबर (12 मई) - Live Aaryaavart (लाईव आर्यावर्त)

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मंगलवार, 12 मई 2015

नरकटियागंज (बिहार) की खबर (12 मई)

शिकारपुर थाना के नवनिर्मित थानाभवन का उद््घाटन सम्पन्न

narkatiaganj news
नरकटियागंज(पश्चिम चम्पारण) भूकम्परोधी थानाभवन के उद्घाटन के समय कांपी धरती कार्यालय भवन से बाहर भागे अधिकारी, मची अफरा-तफरी। गौरतलब है कि शिकारपुर थाना अब नये भवन में शिफ्ट हो गया। जिला पुलिस कप्तान सौरभ कुमार शाह भूकम्परोधी थाना भवन का फीता काट कर प्रवेश किया। उनके साथ अनुमण्डल पुलिस पदाधिकारी अमन कुमार व स्थानीय पुलिस पदाधिकारी मौजूद रहे। जैसे ही वे अपने अधीनस्थों के साथ नवनिर्मित थाना भवन को देखने निकले, वैसे ही भूकम्प का तेज झटका महसूस किया गया। देखते-देखते अधिकारी व कर्मचारी नये भवन से बाहर निकल गए। भूकम्प के बाद पुलिस कप्तान सौरभ कुमार शाह ने थाना परिसर में वृक्षारोपण कार्य सम्पन्न किया। थाना भवन के उद्घाटन के उपरान्त शिकारपुर थाना परिसर में पुलिस अधीक्षक बेतिया पुलिस जिला ने अपराध बैठक आयोजित किया। जिसमें जिला के विभिन्न थाना से आए पुलिस अधिकारियों को अपराध नियंत्रण के लिए श्री शाह ने आवश्यक टास्क दिया और समुचित दिशा निर्देश भी दिया। इसके पूर्व एसपी बेतिया ने उद्घाटित नये थाना भवन को पूरी तरह से देखा और संतुष्ट हुए। उद्घाटन समारोह को देख रहे सड़क पर खडे़ लोगांे को आश्यर्च तब हुआ जब उन्हें यह ज्ञात हुआ कि भूकम्परोधी मकान है तो अधिकारी लोग भाग क्यों रहे है। 

सीएस कार्यालय की लालफीताशाही के कारण, एसीपी और एमएसीपी में विलम्ब

नरकटियागंज(पश्चिम चम्पारण)एश्योर कैरियर प्रोग्रेसन (एसीपी) और एमएसीपी की स्वीकृति में विलम्ब के लिए सीएस कार्यालय बेतिया के कार्यालय लिपिक राजन कुमार और पूर्व में सजायाप्ता प्रतिनियुक्त लिपिक रामाशिष बैठा के विरूद्ध अनुशासनात्मक कार्रवाई की मांग बिहार राज्य अराजपत्रित कर्मचारी महासंघ के प्रान्तीय संयुक्त सचिव(संघर्ष कल्याण परिषद) त्रिपाठी गुट ने सिविल सर्जन बेतिया को पत्रांक 678 दिनांक 11 मई 2015 द्वारा किया गया है। सनद रहे कि सिविल सर्जन के कार्यालय के पत्रांक 1648 दिनांक 4 सितम्बर 14 द्वारा क्षेत्रीय उपनिदेशक स्वास्थ्य विभाग तिरहुत प्रमण्डल को भेजकर कर्मचारी हितों की अनदेखी की है। विभागीय कुम्भकर्णी निन्द्रा के विरूद्ध सिविल सर्जन के विरूद्ध संघ के पत्रांक 04 दिनांक 23 जनवरी 15 के आलोक में सीएस के पत्रांक 230 दिनांक 11 फरवरी 15 के द्वारा कर्मचारी हितो से जुड़े एसीपी और एमएसीपी के अनुमोदन स्वीकृत किया गया। इसकी प्रति सीएस कार्यालय के प्रतिनियुक्त लिपिक रामाशीष बैठा को उपलब्ध कराया गया। जिसे अपने निहित स्वार्थ के वशीभूत होकर श्री बैठा ने अपने पास दस दिनों तक रोके रखा उसके बाद राजन कुमार लिपिक का उपलब्ध करा दिया। किन्तु मामला वित्तीय वर्ष 2014-2015 के समाप्त हो जाने के बाद उपनिदेशक के अनुमोदन मिलने के बावजूद कर्मचारियों के हित में एसीपी और एमएसीपी की स्वीकृति सिविल सर्जन बेतिया द्वारा प्रदान नहीं की गई। जिसके कारण मृत कर्मियों, सेवानिवृत कर्मियों के सेवान्त लाभ, हड़ताल अवधि के वेतनादी का भुगतान लम्बित है। स्पष्ट है कि इस संबंध में सीएस और उनके कार्यालय के कतिपय कर्मियांे की स्वेच्छाचारिता, लालफीताशाही, और शोषण व दोहन की प्रवृति को प्रदर्शीत करता है। इतना ही नहीं नियुक्ति, प्रतिनियुक्ति, निलंबन, पदस्थापन और स्थगन जैसे कार्यो से सीएस कार्यालय की मर्यादा धूमिल हो रही है। कर्मचारियों के हित में प्रान्तीय संयुक्त सचिव ने नरकटियागंज में सिविल सर्जन को प्रेषित पत्र की प्रतिलिपि देते हुए बताया कि स्वास्थ्य कर्मियांे व चिकित्सकांे के अनियमित स्थानान्तरण व पदस्थापन के अलावे निकासी व व्ययन पदाधिकारी बनाने तथा सूचना के अधिकार के तहत प्रथम अपीलीय पदाधिकारी हैसियत बना कर रखे अपने कथित रबर स्टाम्प पदाधिकारी डाॅ.राजेश, नेयाज अहमद, सलीम जावेद, राजन कुमार और रामाशीष बैठा की साँठ-गाँठ से सवास्थ्य विभाग का माखौल नहीं उड़ाए जाए। श्री कुमार ने सीएस को प्रेषित पत्र की प्रतिलिपि क्षेत्रीय उपनिदेशक, समेत विभाग के अन्य उच्चाधिकारियों का प्रेषित किया है।

भूकम्प के झटकों से दहला दिल, लोग घरों से बाहर

नरकटियागंज(पश्चिम चम्पारण) मंगलवार की दोपहर करीब 12 बजकर 40 मिनट पर लगभग एक मिनट तक करीब 7 की तीब्रता वाले भूकम्प के भीषण झटके से पूरा क्षेत्र एक बार फिर सहम सा गया। इसी बीच खबर मिली की भूकम्प के समय भारतीय स्टेट बैंक में ग्राहकों की काफी भीड़ थी और भूकम्प के समय अफरा तफरी मच गयी। हालाकि वहाँ मौजूद देवेन्द्र सिंह व उनके सहयोगी ने बताया कि कोई घायल नहीं हुआ बल्कि सीढ़ी से उतरने के दौरान एक दूसरे से कुछ लोगांे को चोट आई। भूकम्प के झटकांे ने लोगो का हिलाकर रख दिया है। भूकम्प के झटके व धरती कांपने की घटना से लोागंे में एक भय सा व्याप्त हो गया है।  जलाशयों में भूकम्प के उपरान्त लहरें उठने लगी और लोग ठोस जमीन की तलाश में भागने लगे। महिलाएँ बच्चों के साथ घरों से बाहर निकलकर खुले मैदान में आ गयी। भूकम्प का एक झटका विगत रात्री करीब दस बजे भी महसूस किया गया। 

नरकटियागंज में आँधी-‘तुफान से तबाही एक की मौत

नरकटियागंज(पश्चिम चम्पारण) विगत रात्री आए भयंकर आँधी व तुफान ने कई घरों को उजाड़ा, सड़कों पर वृक्षांे के गिरने के कारण यातायात हुआ प्रभावित शिकारपुर थाना क्षेत्र में एक मरा। जबकि गौनाहा थाना क्षेत्र में ओलावृष्टि से गरीबों का खपरैल मकान हुआ बर्बाद। सोमवार की देर शाम आए आँधी व तुफान से लाखोेेें की क्षति का अनुमान लगाया गया है। शिकारपुर थाना अन्तर्गत मंझरिया(महुअवा) गाँव स्थित सेराज पेट्रोल पम्प के पास स्थित एक मकान मे एक व्यक्ति की लाश पाई गयी। सूचना मिलने पर शिकारपुर पुलिस घटना स्थल पर पहुँची शव को अपने कब्जे में लिया और पोस्टमाॅर्टम के लिए बेतिया भेज दिया। हमारे सूत्रो के अनुसार मंझरिया में मृत पाए गये भिखर साहनी उम्र करीब 55 वर्ष आँधी में छत गिरने से मरा या उसकी हत्या कर दी गयी यह तो पोस्टमार्टम के प्रतिवेदन के बाद ही पता चल पाएगा।

भूकम्प के दौरान हाजत से 18 बेटिकट यात्री फरार

नरकटियागंज(पश्चिम चम्पारण) स्थानीय रेलवे स्टेशन पर बेटिकट यात्रीयों के विरूद्ध चलाए गए विशेष दण्डाधिकारी जाँच अभियान के दौरान पकड़े गये 18 बेटिकट यात्रीयों के लिए भूकम्प वरदान साबित हुआ। अभी उनपर चार्जेज नहीं लगाए गये थे कि अचानक भूकम्प आ गया और सभी कर्मचारी व सुरक्षा कर्मी अपनी जान लेकर भागे इसी दौरान हाजत में बन्द सभी 18 बेटिकट यात्री भागने में सफल रहे। दण्डाधिकारी व सीटीटीई एसके पंकज के नेतृत्व में शफी अंसारी, शफीउल्लाह खाँ और अरविन्द कुमार के साथ अन्य टिकट परीक्ष व पुलिस अधिकारी बेटिकट यात्रीयों के जाँच अभियान में शामिल थे।

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