नयी दिल्ली, 25 दिसम्बर, कांग्रेस ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की पाकिस्तान यात्रा को पूर्व नियोजित और पूर्व निर्धारित करार देते हुए आज आरोप लगाया कि एक व्यापारिक घराने को फायदा पहुंचाने के लिए हुई इस यात्रा को लेकर सरकार ने देश तथा संसद को अंधेरे में रखा। कांग्रेस के वरिष्ठ प्रवक्ता आनंद शर्मा ने यहां संवाददाता सम्मेलन में कहा कि श्री मोदी रूस की दो दिवसीय यात्रा के बाद अफगानिस्तान से लौटते समय लाहौर में देशहित में नहीं बल्कि निजी व्यावसायिक हितों को ध्यान में रखते हुए पहुंचे। उनकी इस यात्रा को परंपरा का उल्लंघन बताते हुए उन्होंने कहा कि देश के 67 साल के इतिहास में कोई प्रधानमंत्री इस तरह चुपचाप विदेश की धरती पर नहीं उतरा। विदेश मंत्री सुषमा स्वराज द्वारा श्री मोदी के लाहौर में पाकिस्तानी प्रधानमंत्री नवाज शरीफ से मिलने के फैसले को एक कुशल राजनेता की निशानी बताने संबंधी बयान को खारिज करते हुए श्री शर्मा ने कहा कि प्रधानमंत्री को यह बताना होगा कि इससे देश को किस तरह का फायदा हुआ है। साथ ही उन्हें यह भी स्पष्ट करना चाहिए कि इस यात्रा को किन कारणों से गोपनीय रखा गया और देश तथा संसद को इसकी जानकारी क्यों नहीं दी गयी।
श्री शर्मा ने कहा कि लाहौर की आज की यह यात्रा उसी व्यापारिक घराने को फायदा पहुंचाने के लिए की गयी है जिसने इससे पहले नेपाल की राजधानी काठमांडू में श्री मोदी तथा श्री शरीफ की मुलाकात एक बंद कमरे में कराई थी। इसी व्यापारिक घराने ने इस बार भी काठमांडू की बैठक बाला चैनल अपनाते हुए श्री मोदी तथा शरीफ की लाहौर बैठक आयोजित कराई है। उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री की यात्रा पूरे देश के हितों को ध्यान में रखते हुए आयोजित की जाती है लेकिन श्री मोदी लगातार इसी तरह चुपचाप श्री शरीफ से मिल रहे हैं। इससे पहले उनकी मुलाकात काठमांडू और फिर रूस के उफा में हुई थी और इन दोनों बैठकों के बारे में देश को कुछ नहीं बताया गया और इस बार फिर दोनों नेताओं की मुलाकात को गोपनीय रखा गया है और देश को इसकी सूचना नहीं दी गयी।
कांग्रेस प्रवक्ता ने कहा कि इस बार की बैठक के बारे में विदेश मंत्री के किसी बयान को नहीं स्वीकारा जाएगा। श्री मोदी को खुद इस मुलाकात में हुई बातचीत का ब्योरा देश को देना होगा और उन्हें बताना पडेगा कि आतंवाद तथा अन्य मुद्दों पर उनकी श्री शरीफ के साथ क्या बातचीत हुई है। इससे पहले पार्टी के प्रवक्ता अजय कुमार ने सवाल किया था “क्या पाकिस्तान के साथ हमारे संबंधों में सुधार हुआ है जिसके कारण श्री मोदी देश को सूचित किए बिना अचानक श्री शरीफ से मिलने लाहौर पहुंचे।” कांग्रेस के एक अन्य नेता तथा पूर्व केंद्रीय मंत्री मनीष तिवारी ने कहा कि यदि लाहौर जाने का कार्यक्रम पूर्वनियोजित नहीं था तो उनकी यह यात्रा निश्चितरूप से हास्यास्पद है।

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