नयी दिल्ली,09 मार्च, जल संसाधन मंत्राल ने राष्ट्रीय हरित न्यायाधिकरण (एनजीटी)से आज कहा कि उसने श्री श्री रविशंकर की ओर से यहां यमुना नदी के किनारे आयोजित किए जा रहे संस्कृति महोत्सव के लिए कोई मंजूरी नहीं दी है। पर्यावरण नियमों का उल्लंघन करने के आरोप में इस महोत्सव के आयोजन के खिलाफ एनजीटी में दायर याचिका पर आज हुई सुनवाई के दौरान जल संसाधन मंत्रालय की ओर से पेश हलफनामे में यह स्पष्ट किया गया कि मंत्रालय ने इस आयोजन के लिए मंजूरी नहीं दी है।
इस बीच पर्यावरण एवं वन मंत्री प्रकाश जावड़ेकर ने कहा कि इस मामले में उनके मंत्रालय ने हलफनामा एनजीटी को दे दिया है और महोत्सव के आयोजन को लेकर अपनी स्थिति स्पष्ट कर दी है। महोत्सव के आयेाजकों ने यमुना के डूब वाले क्षेत्र में, जहां किसी भी तरह का निर्माण कानूनी रूप से वर्जित है, करीब 1000 एकड़ क्षेत्र में कई अस्थायी शिविर बनाए हैं। इन शिविरों में महोत्सव के दौरान अनेक सांस्कृतिक कार्यक्रमों के साथ ही योग,ध्यान और शांति प्रार्थनाओं का आयेाजन किया जाएगा। आयोजन स्थल पर विशालकाय मंच के साथ ही कुछ पंटून पुल और पार्किंग स्थल भी बनाए गए हैं। इस कार्यक्रम में लाखों लोगों के आने की संभावना है।

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