नयी दिल्ली, 16 जून, विधानसभा चुनावों की सरगर्मियों और कांग्रेस में संगठनात्मक बदलाव के बीच दिल्ली की पूर्व मुख्यमंत्री शीला दीक्षित और पंजाब मामलों के प्रभारी पद से इस्तीफा दे चुके वरिष्ठ नेता कमलनाथ ने आज यहां पार्टी अध्यक्ष सोनिया गांधी से अलग-अलग मुलाकात की। श्रीमती गांधी के साथ दोनों नेताओं की मुलाकात का अधिकृत ब्यौरा नहीं मिल सका है लेकिन समझा जा रहा है कि इन नेताओं ने उत्तर प्रदेश और पंजाब के आगामी विधानसभा चुनावों के संदर्भ में चर्चा की। श्री कमलनाथ द्वारा पंजाब के प्रभारी का पद छोड़ने की घोषणा के बाद अटकलें लगाई जा रही है कि श्रीमती दीक्षित को यह दायित्व सौंपा जा सकता है। उन्हें उत्तर प्रदेश विधानसभा चुनावों में पार्टी का चेहरा बनाए जाने की भी अटकलें हैं। पार्टी में ऊंचा कद रखने वाली श्रीमती दीक्षित दिल्ली की तीन बार मुख्यमंत्री रही है। वह केरल की राज्यपाल भी रह चुकी है।
कांग्रेस ने आज स्पष्ट किया कि पार्टी में पंजाब मामलाें का प्रभारी पद छोड़ने की घोषणा कर चुके वरिष्ठ नेता कमलनाथ हरियाणा मामलों के प्रभारी एवं महासचिव बने रहेंगे। पार्टी के वरिष्ठ नेता आनंद शर्मा ने कहा कि श्री कमलनाथ उच्च प्रतिष्ठा वाले व्यक्ति है अौर उन पर राजनीति से प्रेरित अाराेप लगाए जा रहे हैं। उन्हाेंने कहा कि क्षुद्र राजनीति के कारण श्री कमलनाथ पर ऐसे आरोप लगाए गए हैं जिनका कोई आधार नहीं है। आम आदमी पार्टी की आलोचना करते हुए उन्होंने कहा कि 32 साल पुराने मामले में लोगों को गुमराह किया जा रहा है और यह पूरी तरह से दुर्भावनापूर्ण है। इस बीच श्री कमलनाथ ने अपने फैसले काे सही ठहराते हुए कहा है, “इसके पीछे केवल राजनीति है आैर यह राजनीति सफल नहीं होने पाए, इसलिए यह फैसला लिया गया है।” गौरतलब है कि कांग्रेस ने पिछले दिनों श्री कमलनाथ को पंजाब एवं हरियाणा मामलों का प्रभारी नियुक्त किया था जिसका विरोध करते हुए कहा गया था कि यह पंजाब के लोगों के जख्मों पर नमक छिड़कने जैसा है।

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