नयी दिल्ली, 05 अप्रैल, दिल्ली विधानसभा में विपक्ष के नेता बिजेन्द्र गुप्ता ने वकील राम जेठमलानी की 3.86 करोड़ रूपये फीस सरकारी खजाने से अदा किये जाने के केजरीवाल सरकार के निर्णय को जनता के साथ आपराधिक विश्वासघात बताते हुए इसकी जांच कराये जाने की मांग की है। श्री गुप्ता ने आज एक प्रतिनिधिमंडल के साथ उप राज्यपाल अनिल बैजल से मुलाकात कर ज्ञापन सौंपा और मांग की कि इस पूरे मामले की गंभीरता को देखते हुए एक निश्चित समय के भीतर जांच करा कर दोषी लोगों पर कड़ी कार्रवाई की जाये। उन्होंने कहा कि यह जनता के साथ आपराधिक विश्वासघात है और मुख्यमंत्री एक निजी मामले को सरकारी बनाकर जनता की गाढी कमाई को लुटाना चाहते है। प्रतिनिधिमंडल में विधायक ओमप्रकाश शर्मा और जगदीश प्रधान भी शामिल थे। उन्होंने आरोप लगाया कि इस मामले में आपराधिक साजिश की जा रही है । उपराज्यपाल दिल्ली प्रशासनिक मुखिया है और उनसे इसको छिपाने का पूरा प्रयास किया गया है। उप मुख्यमंत्री ने स्पष्ट आदेश दिये कि फीस की फाइल को उपराज्यपाल के पास मंजूरी के लिये भेजने की जरूरत नहीं है। उप मुख्यमंत्री मामले को लेकर इतने उतावले थे कि सरकार के सामान्य प्रशासनिक विभाग को आदेश दिया कि फीस संबंधी सारी आपैचारिकताएं एक दिन में पूरी कर ली जाये। विपक्ष के नेता ने कहा कि मुख्यमंत्री अरिवंद केजरीवाल पहले बिना किसी सबूत के प्रतिष्ठित लोगों के खिलाफ अपमानजनक बयान देकर उनकी छवि खराब करते हैं और मामला अदालत में जाने पर स्वयं को जेल में जाने से बचाने के लिये नामी गरामी वकील की सेवाएं लेते है और निजी मामले में मोटी फीस सरकारी खजाने से देने का निर्णय करते है जो नियमों का घोर उल्लंघन है।
बुधवार, 5 अप्रैल 2017
जेठमलानी फीस मामले की जांच करायी जाये : बिजेन्द्र
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