झारखंड वापस आने के लिए लॉन्च किए गए ऐप में अबतक 5.50 लाख लोगों ने रजिस्ट्रेशन कराया है. सीएम हेमंत सोरेन ने कहा है कि धैर्य रखें, सबको वापस लाया जाएगा.
रांची (आर्यावर्त संवाददाता) रांची प्रदेश के मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन ने कहा कि झारखंड वापस आने के लिए लॉन्च किए गए ऐप में अबतक 5.50 लाख लोगों ने रजिस्ट्रेशन कराया है. उन्होंने ने कहा कि वह सभी आंकड़े नोडल ऑफिसरों को दे दिए गए हैं. विभिन्न राज्यों के नोडल पदाधिकारी के साथ संपर्क स्थापित कर मजदूरों को सुरक्षित झारखंड लाने का काम जारी है. उन्होंने कहा कि हरियाणा, पंजाब, आंध्र प्रदेश, तमिलनाडु जैसे कई राज्यों से ट्रेन झारखंड आ चुकी है. राज्य सरकार एक योजनाबद्ध तरीके से अपने प्रवासियों को राज्य में वापस ला रही है. प्रवासी मजदूरों के मैसेज पर है सरकार की नजरइतना ही नहीं इस संदर्भ में सभी राज्यों से प्रवासी मजदूरों के संदेश पढ़े जा रहे हैं. उनकी ओर से भेजे जा रहे चाहे व्हाट्सएप के माध्यम से संदेश या फिर मैसेज के माध्यम से सभी पर सरकार की नजर है. उन्होंने कहा कि अभी सरकार भारत सरकार के नियमानुसार सोशल डिस्टेंसिंग के तहत ही ट्रेनों से लोगों को ला रही है. सीएम ने कहा कि जिस ट्रेन में 5000 की क्षमता होती है उसमें मात्र हजार-बारह सौ लोगों को लेकर ट्रेन आ रही है. उन्होंने कहा कि जानकारी मिल रही है कई जगह लोग साइकिल और पैदल चले आ रहे हैं, हर तरह से लोग वापस आ रहे हैं. उन्हें थोड़ा धैर्य रखने की जरूरत है. झारखंड के प्रवासी जहां है वहीं रुकें, हर संभव प्रयास है कि सभी को सुरक्षित वापस लाएं, इसके लिए सरकार लगातार कोशिश कर रही है. उन्होंने कहा कि प्रवासी मजदूरों का लौटना शुरू हुआ है. पहले भी कहा है कि प्रवासियों के लौटने पर समस्या बढ़ेगी, यह नजर भी आ रहा है कि संक्रमितों की संख्या में थोड़ी बढ़ोतरी हो रही है. उन्होंने कहा कि जब तक लोगों को सुरक्षित रूप से उनके स्थान पर नहीं पहुंचा दिया जाएगा, तब तक कोई भी निर्णय काफी चिंतन के बाद ही लिया जाएगा. सीएम ने कहा कि ये भी सवाल बना हुआ है कि प्रवासियों के आने तक लॉकडाउन जारी रहेगा या नहीं. इस पर सीएम ने कहा कि यह निर्णय स्थिति के आकलन के बाद किया जाएगा
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