- --जिले में आर्थिक रूप से कमजोर लाभुकों को मिलती है वित्तीय मदद
- - सालाना 2.5 लाख से कम आय वाले रोगियों को मिलता है योजना का लाभ
- -14 असाध्य बीमारियों के इलाज के लिए सहायता राशि प्रदान की जाती है
- - योजना के तहत 20 हजार से 5 लाख रुपये तक की आर्थिक मदद का है प्रावधान
सालाना 2.5 लाख से कम आय वाले रोगियों को मिलता है योजना का लाभ :
स्वास्थ्य विभाग के अनुसार मुख्यमंत्री चिकित्सा सहायता कोष कमेटी की अनुशंसा पर सूची में शामिल 14 बीमारियों के अलावा भी अन्य दूसरी बीमारियों के इलाज के लिए सरकार की तरफ से एक लाख रुपए की सहायता देने का प्रावधान है। सलाना 2.5 लाख से कम आय वाले तथा प्रदेश के सरकारी व सीजीएचएस से मान्यता प्राप्त अस्पताल में इलाज करवाने वाले रोगी को सहायता प्रदान की जाती है। इन अस्पतालों से इलाज के लिए दूसरे प्रदेश में रेफर करने वाले रोगी को भी सहायता दी जाती है।
क्या है जरूरी:
मधुबनी जिला सिविल सर्जन डॉ. ऋषि कांत पांडे ने बताया आवेदन के लिए मरीज के परिजनों को प्राधिकार द्वारा निर्गत आवास प्रमाण पत्र, डीएम, एसडीओ या अंचलाधिकारी से निर्गत आय प्रमाण पत्र तथा राज्य सरकार के अस्पताल या सीजीएचएस से मान्यता प्राप्त अस्पताल के इलाज का पुर्जा और मूल अनुमानित राशि के कागजात जमा करने होते हैं। यह कागजात राज्य के सचिवालय स्थित स्वास्थ्य सेवाओं के निदेशक प्रमुख को समर्पित करना होता है, जिसके बाद योजना के प्राधिकार कमेटी के द्वारा आवेदक को बुलाया जाता और जांच पड़ताल के बाद ही राशि अनुमोदित की जाती है।
अनुदान के लिए न्यूनतम आवश्यक योग्यता:
रोगी बिहार का नागरिक होना अनिवार्य है। रोगी की प्रतिवर्ष आय 2.5 लाख रुपए से कम हो व रोगों से संबंधित इलाज राज्य सरकार के अस्पताल एवं सीजीएचएस से मान्यता प्राप्त सभी अस्पताल में होना चाहिए।
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