पटना : सीबीआई कोर्ट ने OICL में बीमा धोखाधड़ी के मामले में तीन को 3 वर्ष के कठोर कारावास की सजा सुनाई - Live Aaryaavart (लाईव आर्यावर्त)

Breaking

प्रबिसि नगर कीजै सब काजा । हृदय राखि कौशलपुर राजा।। -- मंगल भवन अमंगल हारी। द्रवहु सुदसरथ अजिर बिहारी ।। -- सब नर करहिं परस्पर प्रीति । चलहिं स्वधर्म निरत श्रुतिनीति ।। -- तेहि अवसर सुनि शिव धनु भंगा । आयउ भृगुकुल कमल पतंगा।। -- राजिव नयन धरैधनु सायक । भगत विपत्ति भंजनु सुखदायक।। -- अनुचित बहुत कहेउं अग्याता । छमहु क्षमा मंदिर दोउ भ्राता।। -- हरि अनन्त हरि कथा अनन्ता। कहहि सुनहि बहुविधि सब संता। -- साधक नाम जपहिं लय लाएं। होहिं सिद्ध अनिमादिक पाएं।। -- अतिथि पूज्य प्रियतम पुरारि के । कामद धन दारिद्र दवारिके।।


सोमवार, 30 जून 2025

पटना : सीबीआई कोर्ट ने OICL में बीमा धोखाधड़ी के मामले में तीन को 3 वर्ष के कठोर कारावास की सजा सुनाई

cbi-court-patna
पटना (रजनीश के झा)। पटना की सीबीआई कोर्ट नंबर-1 ने आज, दिनांक 30/06/2025 को, तीन अभियुक्तों, जिनमें अशोक कुमार, तत्कालीन सहायक प्रशासनिक अधिकारी (एएओ), ओआईसीएल, डीओ-II, बैंक रोड, जैतपुर कोठी, पटना; अमरेंद्र कुमार मिश्रा, तत्कालीन सहायक, ओआईसीएल, डिवीजन ऑफिस, पूर्णिया, बिहार और समीर कांत झा, बीमा एजेंट शामिल हैं, को ओआईसीएल में बीमा धोखाधड़ी के मामले में 3 वर्ष के कठोर कारावास (आरआई) और कुल 67,000 रुपये के जुर्माने की सजा सुनाई। सीबीआई ने इस मामले को 03.05.2005 को पांच अभियुक्तों के खिलाफ दर्ज किया था, जिनमें तत्कालीन शाखा प्रबंधक (मृत), ओआईसीएल, सहरसा, बिहार; अशोक कुमार, तत्कालीन एएओ, ओआईसीएल, डीओ-II, बैंक रोड, जैतपुर कोठी, पटना; तत्कालीन डीओ (मृत), ओआईसीएल, सहरसा; अमरेंद्र कुमार मिश्रा, तत्कालीन सहायक, ओआईसीएल, डिवीजन ऑफिस, पूर्णिया, बिहार; मोहन मिश्रा (निजी व्यक्ति) (मृत) शामिल थे। आरोप था कि इन लोगों ने जाली मवेशी बीमा पॉलिसियों का उपयोग करके ओरिएंटल इंश्योरेंस कंपनी लिमिटेड को 50,000 रुपये की ठगी की। जांच के दौरान यह पता चला कि तत्कालीन डीओ (मृत), ओआईसीएल, सहरसा और अशोक कुमार, तत्कालीन एएओ, ओआईसीएल, डीओ-II, बैंक रोड, जैतपुर कोठी, पटना ने जाली दस्तावेजों का उपयोग करके सुपौल के पूर्व विधायक और एक अन्य व्यक्ति के फर्जी नामों पर मवेशी बीमा पॉलिसियां जारी कीं, जिससे ओरिएंटल इंश्योरेंस कंपनी लिमिटेड, सहरसा को 50,000 रुपये का अनुचित नुकसान हुआ। सीबीआई ने 30.09.2005 को अभियुक्तों (1) शिव शंकर गुप्ता (सार्वजनिक सेवक), तत्कालीन शाखा प्रबंधक, ओआईसीएल, सहरसा, बिहार (2) अशोक कुमार, तत्कालीन एएओ, ओआईसीएल, डीओ-II, बैंक रोड, जैतपुर कोठी, पटना (3) नरेंद्र कुमार मिश्रा, तत्कालीन डीओ, ओआईसीएल, सहरसा (4) अमरेंद्र कुमार मिश्रा, तत्कालीन सहायक, ओआईसीएल, डिवीजन ऑफिस, पूर्णिया, बिहार (5) मोहन मिश्रा (निजी व्यक्ति) (6) समीर कांत झा, बीमा एजेंट के खिलाफ आरोप पत्र दायर किया। तीन अभियुक्त (1) शिव शंकर गुप्ता, तत्कालीन शाखा प्रबंधक, ओआईसीएल, सहरसा, बिहार, (2) नरेंद्र कुमार मिश्रा, तत्कालीन डीओ, ओआईसीएल, सहरसा और (3) मोहन मिश्रा (निजी व्यक्ति) का मुकदमे के दौरान निधन हो गया। मुकदमे के बाद, कोर्ट ने अभियुक्तों को दोषी पाया और तदनुसार सजा सुनाई।  


सीबीआई कोर्ट नंबर-1, पटना ने दिनांक 30/06/2025 को अभियुक्तों (1) अशोक कुमार, तत्कालीन एएओ, ओआईसीएल, डीओ-II, बैंक रोड, जैतपुर कोठी, पटना (2) अमरेंद्र कुमार मिश्रा, तत्कालीन सहायक, ओआईसीएल, डिवीजन ऑफिस, पूर्णिया, बिहार और (3) समीर कांत झा, बीमा एजेंट को निम्नलिखित सजा सुनाई। 


1. (ए-2) अशोक कुमार और (ए-4) अमरेंद्र कुमार मिश्रा : (कुल 03 वर्ष कठोर कारावास और 30,000 रुपये का जुर्माना)  

   - धारा 420: 03 वर्ष कठोर कारावास और 5,000 रुपये का जुर्माना (जुर्माना न चुकाने पर 03 माह का साधारण कारावास)  

   - धारा 467: 03 वर्ष कठोर कारावास और 5,000 रुपये का जुर्माना (जुर्माना न चुकाने पर 03 माह का साधारण कारावास)  

   - धारा 468: 03 वर्ष कठोर कारावास और 5,000 रुपये का जुर्माना (जुर्माना न चुकाने पर 03 माह का साधारण कारावास)  

   - धारा 471: 03 वर्ष कठोर कारावास और 5,000 रुपये का जुर्माना (जुर्माना न चुकाने पर 03 माह का साधारण कारावास)  

   - धारा 477-ए: 03 वर्ष कठोर कारावास और 5,000 रुपये का जुर्माना (जुर्माना न चुकाने पर 03 माह का साधारण कारावास)  

   - धारा 13(2) r/w 13(1)(d): 03 वर्ष कठोर कारावास और 5,000 रुपये का जुर्माना (जुर्माना न चुकाने पर 03 माह का साधारण कारावास)  


2. (ए-6) समीर कांत झा: (कुल 03 वर्ष कठोर कारावास और 7,000 रुपये का जुर्माना)  

   - धारा 420: 03 वर्ष कठोर कारावास और 5,000 रुपये का जुर्माना (जुर्माना न चुकाने पर 03 माह का साधारण कारावास)  

   - धारा 471: 01 वर्ष कठोर कारावास और 2,000 रुपये का जुर्माना (जुर्माना न चुकाने पर 03 माह का साधारण कारावास)  


मामला संख्या RC0232005A0012 को सीबीआई ने 03.05.2005 को दर्ज किया था, जिसमें (1) शिव शंकर गुप्ता (सार्वजनिक सेवक), तत्कालीन शाखा प्रबंधक, ओआईसीएल, सहरसा, बिहार (2) अशोक कुमार, तत्कालीन एएओ, ओआईसीएल, डीओ-II, बैंक रोड, जैतपुर कोठी, पटना (3) नरेंद्र कुमार मिश्रा, तत्कालीन डीओ, ओआईसीएल, सहरसा (4) अमरेंद्र कुमार मिश्रा, तत्कालीन सहायक, ओआईसीएल, डिवीजन ऑफिस, पूर्णिया, बिहार (5) मोहन मिश्रा (निजी व्यक्ति) के खिलाफ आरोप लगाए गए थे कि इन्होंने जाली मवेशी बीमा पॉलिसियों का उपयोग करके ओरिएंटल इंश्योरेंस कंपनी लिमिटेड को 50,000 रुपये की ठगी की। जांच के दौरान यह सामने आया कि नरेंद्र कुमार मिश्रा, तत्कालीन डीओ, ओआईसीएल, सहरसा और अशोक कुमार, तत्कालीन एएओ, ओआईसीएल, डीओ-II, बैंक रोड, जैतपुर कोठी, पटना ने जाली दस्तावेजों का उपयोग करके सुपौल के पूर्व विधायक श्री अमरेंद्र मिश्रा और सुश्री लुसी कुमारी के फर्जी नामों पर मवेशी बीमा पॉलिसियां (संख्या 567/03 और 629/03) जारी कीं, जिससे ओरिएंटल इंश्योरेंस कंपनी लिमिटेड, सहरसा को 50,000 रुपये का अनुचित नुकसान हुआ। तदनुसार, सीबीआई ने 30.09.2005 को अभियुक्तों (1) शिव शंकर गुप्ता (सार्वजनिक सेवक), तत्कालीन शाखा प्रबंधक, ओआईसीएल, सहरसा, बिहार (2) अशोक कुमार, तत्कालीन एएओ, ओआईसीएल, डीओ-II, बैंक रोड, जैतपुर कोठी, पटना (3) नरेंद्र कुमार मिश्रा, तत्कालीन डीओ, ओआईसीएल, सहरसा (4) अमरेंद्र कुमार मिश्रा, तत्कालीन सहायक, ओआईसीएल, डिवीजन ऑफिस, पूर्णिया, बिहार (5) मोहन मिश्रा (निजी व्यक्ति) (6) समीर कांत झा, बीमा एजेंट के खिलाफ धारा 120-बी r/w 420, 467, 468, 471, 477-ए, आईपीसी और भ्रष्टाचार निवारण अधिनियम, 1988 की धारा 13(2) r/w 13(1)(d) के तहत आरोप पत्र दायर किया। तीन अभियुक्त (1) शिव शंकर गुप्ता, तत्कालीन शाखा प्रबंधक, ओआईसीएल, सहरसा, बिहार, (2) नरेंद्र कुमार मिश्रा, तत्कालीन डीओ, ओआईसीएल, सहरसा और (3) मोहन मिश्रा (निजी व्यक्ति) का मुकदमे के दौरान निधन हो गया। मुकदमे के दौरान, सीबीआई ने 14 अभियोजन गवाहों की जांच की और अभियुक्तों के खिलाफ आरोपों के समर्थन में कई दस्तावेज और प्रदर्शन प्रस्तुत किए। माननीय कोर्ट ने अभियुक्तों के खिलाफ आरोपों में सत्यता पाई और तदनुसार, उन्हें दोषी ठहराया/सजा सुनाई।

कोई टिप्पणी नहीं: